प्रयागराजः माफिया अतीक अहमद और उसके गुर्गो की अवैध संपत्तियां खोज-खोज कर सीज की जा रही है लेकिन माफिया अतीक और उसके गुर्गो की बेनामी सम्पत्ति की कोई थाह नही है। अतीक अहमद की अवैध संपत्तियां लगातार मिल रही हैं। माफिया के गुर्गो के नौकर ने चौकाने वाला खुलासा करते हुए अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ के 4 करीबियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। अतीक के गुर्गो के इस नौकर के नाम पर अलग-अलग कई ज़मीनें खरीदी गई थी ताकि ताकि किसी को कभी शक न हो और जब चाहें रेट बढ़ने पर इन संपत्तियों को बेच कर मोटा मुनाफा कमाया जा सके।
नौकर ने लगाया ये आरोप
प्रयागराज के नवाब गंज के रहने वाले श्याम सरोज का आरोप है कि अतीक के गुर्गे उसे एक होटल में अपहरण करके ले गए और उसके आधार कार्ड और पैन कार्ड का इस्तेमाल करके दबाव बना कर कई ज़मीनों को उसके नाम पर रजिस्ट्री करा दी। इस मामले में पुलिस ने मुकदमा दर्ज करके मामले की जांच शुरू कर दी है।
माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ ने करोड़ो रूपये की प्रॉपर्टी किसी न किसी गरीब आदमी के नाम पर करा रखी थी। पुलिस ने खोजबीन की तो एक किसान हूब लाल सामने आया और उसने कमिशनरेट कोर्ट में अतीक की ज़मीन के सारे पेपर खुद सरेंडर कर दिया था। पुलिस इसी तरह अन्य बेनामी संपत्तियों की जांच कर ही रही थी कि श्याम जी सरोज का भी मामला सामने आ गया। पुलिस ने पीड़ित की तहरीर पर मुकदमा दर्ज किया है। अब इस मामले की जांच राजस्व विभाग द्वारा की जाएगी और ये पता लगाया जाएगा कि किस किस जगह पर अतीक के गुर्गो ने प्रॉपर्टी इस नौकर के नाम कर रखी है।
अतीक के इन करीबियों के खिलाफ केस दर्ज
प्रयागराज के रहने वाले राम जी सरोज ने माफिया अतीक अहमद के करीबी जावेद खान, कामरान अहमद,फ़राज़ अहमद खान,शुक्ला सहित कई अज्ञात लोगों पर अतरसुईया थाने में मुकदमा दर्ज कराया है। श्याम जी सरोज का कहना है कि वो करीब 15 साल से इन लोगो के यहां नौकर है। एक दिन सभी लोग उसका अपहरण करके एक होटल ले गए और कमरे में बन्द कर दिया। फिर अलग अलग जगहों पर ले जाकर कुछ बेनामी सम्पत्तियों की रजिस्ट्री उसके नाम पर करा दिया।
बेनामी संपत्तियां बेचने का बना रहे दबाव
पीड़ित के मुताबिक अतीक और अशरफ की हत्या के बाद ये लोग उसी प्रॉपर्टी को बेचने का दबाव बनाने लगे और इसके लिए ये लोग लगातार मारपीट और धमकियां देते रहे। पुलिस ने पीड़ित श्याम जी की तहरीर पर सभी के खिलाफ गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया। पुलिस अफसरों को इस बात का भी शक है कि अतीक अशरफ के मरने के बाद ये लोग अतीक की बेनामी संपत्ति बेचना चाह रहे ताकि अतीक का करोड़ो रूपये जो बेनामी संपत्ति का हो उसको आपस में बांट लिया जाए। राजस्व विभाग अब इस मामले की पूरी जांच करेगा, तब साफ होगा कि आखिर ये बेनामी सम्पत्ति किसे और कब खरीदी गई थी और इसकी कीमत कितनी है।