एक ओर विधायक कृष्णानंद राय की हत्या के जिम्मेदार मुख्तार अंसारी की मौत हो गई है तो वहीं, प्रयागराज के बहुचर्चित राजू पाल हत्याकांड मामले में भी CBI की स्पेशल लखनऊ कोर्ट ने 7 आरोपियों को दोषी करार दिया है। इस केस में उत्तर प्रदेश का मशहूर माफिया और उसका भाई अतीक अहमद भी आरोपी था। सीबीआई की स्पेशल कोर्ट ने राजू पाल हत्याकांड में आरोपी आबिद, फरहान, जावेद, अब्दुल, गुल हसन, इसरार और रंजीत को दोषी करार दिया है। जल्द ही कोर्ट सजा का ऐलान कर सकता है।
2005 में हुई थी राजू पाल की हत्या?
जनवरी 2005 में प्रयागराज जिले में बसपा के तत्कालीन विधायक राजू पाल की हत्या कर दी गयी थी। इसमें बाहुबली पूर्व सांसद अतीक अहमद, उसके भाई पूर्व विधायक अशरफ समेत कई आरोपी बनाये गये थे। राजू पाल की पत्नी पूजा पाल ने थाना धूमनगंज (प्रयागराज) में हत्या के मामले में प्राथमिकी दर्ज कराई थी और पूर्व सांसद अतीक अहमद व उसके भाई अशरफ उर्फ खालिद अजीम को नामजद किया था। छह अप्रैल, 2005 को पुलिस ने इस हत्याकांड मामले की विवेचना के बाद अतीक व अशरफ समेत कई लोगों को आरोपी बनाया था।
केस के गवाह को भी मारा गया
राजू पाल हत्याकांड के मुख्य गवाह उमेश पाल की भी गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। धूमनगंज थानाक्षेत्र में उमेश पाल के घर के बाहर अज्ञात हमलावरों ने बम और गोली से उन पर हमला किया। इस हमले में उमेश पाल के अलावा उनके दो सुरक्षाकर्मी भी घायल हुए थे। इस हत्या का आरोप भी अतीक अहमद पर ही लगा था।
अतीक-अशरफ की हो चुकी मौत
कुख्यात माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ दोनों की मौत हो चुकी है। बीते साल पुलिस हिरासत के दौरान दोनों भाई मीडिया को बाइट दे रहे थे। इस बीच तीन वीडियो कैमरा, माइक और मीडिया आईडी वाले लोग उनके पास पहुंचे और अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी। इसके बाद घायल अतीक और अशरफ को अस्पताल ले जाया गया, जहां उन्हें मृत घोषित कर दिया गया।
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