चीन ने इजरायल हमास के बीच शांति बहाली करने का प्रयास शुरू कर दिया है। इस बाबत चीन ने अपने एक दूत को पश्चिम एशिया भेजा है। वार्ता के जरिये चीन युद्ध में शांति बहाली चाहता है। हालांकि अभी तक चीन ने इजरायल पर हमास के हमले की निंदा नहीं की है।
रूस-यूक्रेन युद्ध के साथ अब इजरायल और हमास युद्ध दुनिया के लिए नया चैलेंज है। तीसरे विश्वयुद्ध के खतरों के बीच दुनिया दो ध्रुवों में बंट रही है। इसके परिणाम कितने घातक होंगे, यह आने वाला वक्त बताएगा। मगर आधुनिक बमों, मिसाइलों और शक्तिशाली परमाणु बमों से मानवता का नामों-निशां मिट जाने का खतरा है।
रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन चीन की यात्रा पर पहुंच चुके हैं। वे मंगलवार को बीजिंग हवाई अड्डे पर उतरे, जहां उनका पारंपरिक स्वागत किया गया। वे बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव फोरम के कार्यक्रम में हिस्सा लेने गए हैं। अंतरराष्ट्रीय कोर्ट द्वारा उनके खिलाफ जारी वारंट के बीच पहली बड़ी विदेश यात्रा है।
भारत चीन के बेल्ट एंड रोड इनिशिएटिव परियोजना के सम्मेलन में शामिल होने से इनकार कर दिया है। यह भारत के चीन पाकिस्तान आर्थिक गलियारा के विरोध को भी दर्शाता है, जो पीओके से गुजर रहा है। भारत ने चीन की इस परियोजना को संप्रभुता के खिलाफ बताया है। चीन के अनुसार भारत के अलावा 140 देश सम्मेलन में शामिल होंगे।
इजरायल पर हमास के हमले ने साल की शुरुआत से वैश्विक शांति का मसीहा बनने की कोशिशें कर रहे चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के सारे किए धरे पर पानी फेर दिया।
अमेरिका और चीन के बीच रिश्तों को सामान्य करने की कवायद की तहत अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच नवंबर में मुलाकात हो सकती है। वॉशिंगटन पोस्ट की खबर के मुताबकि दोनों नेताओं की मुलाकात सेन फ्रांसिस्को में हो सकती है।
नेपाल के प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल प्रचंड ने चीन के साथ संबंधों को गहरा करने के लिए प्रतिबद्धता जताई है। चीन दौरे से लौटने के बाद प्रचंड ने कहा कि दोनों देशों के संबंध पहले से गहरे हुए हैं। उन्होंने नेपाल के पोखरा से चीन के चेंगदू तक सीधी उड़ान शुरू होने की बात भी बताई है।
पिछले दो सप्ताह से चीन के रक्षा मंत्री नहीं देखे गए हैं। इस पर कई तरह के सवाल उठ रहे हैं। इससे पहले चीनी विदेश मंत्री लापता हो गए थे। बाद में उन्हें पद से हटा दिया गया था।
भारत में आयोजित जी20 से निकलकर अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन वियतनाम पहुंचे। यहां उन्होंने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि वे जल्द ही चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग से मुलाकात करने वाले हैं।
इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी चीन के महत्वाकांक्षी BRI प्रोजेक्ट से बाहर निकलना चाहती हैं। जी20 की बैठक के दौरान भारत ने कई देशों के लिए बीआरआई के समान ही नए आर्थिक गलियारे को लॉन्च करने की घोषणा की।
चीन की तरफ से पिछले दिनों एक नया नक्शा जारी किया गया जिसे लेकर न सिर्फ भारत बल्कि रूस, जापान, फिलीपींस और ताइवान ने भी कड़ा एतराज जताया है।
चीन ने अचानक Iphone के इस्तेमाल पर बैन लगाकर पूरी दुनिया को चौंका दिया है। हालांकि चीन ने यह आदेश सिर्फ अपने सरकारी अधिकारियों के लिए दिया है। चीनी सरकार के निर्देश के मुताबिक सरकारी दफ्तर में कोई भी अधिकारी या कर्मचारी आइफोन और अन्य विदेशी फोन का इस्तेमाल नहीं करेगा।
आज़ाद भारत के इतिहास में पहली बार देश में इतना बड़ा इवेंट होने जा रहा है इसलिए जी-20 समिट को लेकर सबकी निगाहें भारत पर हैं। इस समिट से पहले विदेश मंत्री एस जयशंकर ने इंटरव्यू दिया है।
भारत सबसे तेजी से बढ़ती प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में से एक है, जबकि चीन की धीमी गति से,यह बात भी चीन जानता है। जून 2020 में गलवान संघर्ष के बाद से ही चीन और भारत के संबंध सामान्य नहीं हैं।
ताइवान में पिछले दिनों सुरक्षा संवाद समिति में भारतीय सेना के तीन पूर्व सैन्य अधिकारियों ने हिस्सा लिया था। यह बात चीन को बेहद नागवार गुजरी है। चीन ने भारतीय अधिकारियों की मौजूदगी को एक-चीन नीति का उल्लंघन माना है। चीन ने भारत को ताइवान से सीमित संबंध ही रखने की अपील की है।
शी जिनपिंग के नई दिल्ली में होनेवाले जी-20 शिखर सम्मेलन में शामिल होने की संभावना नहीं है। सूत्रों के मुताबिक चीनी राष्ट्रपति 9 से 10 सितंबर तक चलने वाले इस शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेने भारत नहीं आएंगे।
प्रधानमंत्री मोदी ने राष्ट्रपति शी को पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर 'अनसुलझे' मुद्दों पर भारत की चिंताओं से अवगत कराया। भारतीय पक्ष की ओर से इस बात पर जोर देते हुए बात रखी गई कि सीमावर्ती क्षेत्रों में शांति स्थापित रखना दोनों देशों के बीचसामान्य स्थिति बरकरार रखने के लिए जरूरी है।
ब्रिक्स देशों के 15वें शिखर सम्मेलन में संगठन में 6 नए देशों को एंट्री दी गई है। इस सम्मेलन में शी जिनपिंग के साथ एक ऐसा वाकया हुआ जो चर्चा का विषय है।
चीन में हाल के समय में आई विनाशकारी बाढ़ के भारी तबाही मची है। चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने हाल के समय में आई विनाशकारी बाढ़ के दुष्प्रभावों से शीघ्र निपटने और आवश्यक कदम उठाने के निर्देश दिए हैं।
भारत और चीन के बीच जून 2020 में गलवान घाटी में हिंसक झड़प के बाद से ही रिश्ते बेहद तनावपूर्ण हो गए हैं। भारत ने चीन सीमा पर पहले की अपेक्षा कई गुना सैनिकों की तैनाती कर दी है। चीन सीमा पर राफेल और तेजस जैसे लड़ाकू विमानों की भी तैनाती की गई है। विवादित क्षेत्रों में पैट्रोलिंग और सैनिकों की मौजूदगी को लेकर तनाव है।
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