विश्व हृदय दिवस या वर्ल्ड हार्ट डे हर साल 29 सिंतबर को मनाया जाता है। आज के दिन लोगों दिल से जुड़ी बीमारी और समस्याओं को लेकर जागरूक किया जाता है। आपको मालूम हो कि दुनियाभर में हर साल करीब 17 मिलियन लोग दिल की बीमारी (सीवीडी) की वजह से मौत के मुंह में चले जाते हैं।
दुनिया के 53 करोड़ से ज़्यादा लोग कमज़ोर दिल के साथ जी रहे हैं, हर 5वें शख्स पर हार्ट अटैक का खतरा मंडरा रहा है। अगर इन आंकड़ों ने आपको अब तक नहीं डराया है तो हम आपको बता दें कि दुनिया में हर साल तकरीबन 2 करोड़ लोगों की जान कार्डियो वास्कुलर डिज़ीज़ से जाती है।
एक रिपोर्ट के मुताबिक, साल 2019 में दुनियाभर में 1.79 करोड़ लोगों की मौत दिल से जुड़ी बीमारी के कारण हुई थीं। 80 प्रतिशत से ज्यादा लोगों की मौत सिर्फ हार्ट अटैक (दिल का दौड़ा) और स्ट्रोक से हुई थी।
World Health Day 2022: WHO के मुताबिक ये हैं दुनिया की 5 सबसे घातक बीमारियां जिनकी चपेट में आकर हर साल सबसे ज्यादा लोगों की मौत होती है।
29 सितंबर को 'विश्व हृदय दिवस' मनाया जा रहा है। इस दिन का उद्देश्य लोगों को हृदयरोग के बारे में जागरूक करना है।
दुनियाभर में और भारत में दिल की बीमारियों (कार्डियोवैस्कुलर रोगों) के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। देश के गांवों में रहने वाले लोग भी हाइपरलिपिडेमिया, हाइपरटेंशन, मधुमेह अैर तनाव के कारण दिल की बीमारियों का शिकार हो रहे हैं।
देश में ह्रदयधमनी रोगों यानी कार्डियोवैस्कुलर डिसीज (सीवीडी) के कारण होने वाली मृत्यु की कुल संख्या 1990 में 15 फीसदी थी, जो 2016 में बढ़कर 28 फीसदी हो गई है। हार्ट फेलियर इन सभी सीवीडी में मृत्यु दर का प्रमुख कारण है,
इस भागदौड़ भरी जिंदगी में थोड़ा व्यायाम और अच्छा खानपान दोनों ही जरूरी हैं। इससे आपका दिल तंदुरुस्त रहता है और आपकी उम्र भी लंबी हो सकती है। इसके लिए न्यूट्रिशनिस्ट और बेलैंस को न्यूट्री एक्टीवेनिया की प्रमुख अवनि कौल ने दिल को स्वस्थ रखने के लिए ये पांच सुझाव दिए हैं।
अनियमित आहार के कारण 30 से 40 साल की उम्र के लोगों को दिल संबंधी रोगों की बीमारियों होने लगी हैं। समस्या इतनी आम हो चुकी है कि छोटी उम्र के बच्चे भी इस बीमारी का शिकार होते जा रहे हैं।
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