उत्तर भारत में शीत लहर के चलते ठंड और अधिक बढ़ गई है। आधा भारत सर्दी के शिकंजे में है। पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी का रिकॉर्ड टूट रहा है तो मैदानी इलाकों में कंपा देने वाली सर्दी पड़ रही है। आज से घना कोहरा और बेमौसम बारिश नई मुसीबत बनने वाले हैं।
उत्तर भारत के अधिकांश हिस्सों में बर्फीली हवाओं से राहत नहीं मिली और पारा नीचे गिरने से ठंड और बढ़ गई है। हाड़तोड़ ठंड के आगे लोग अब लाचार नजर आ रहे हैं। दिल्ली में भी ठंड का प्रकोप जारी है जहां 22 वर्षों में दूसरा सबसे कम अधिकतम तापमान दर्ज किया गया।
लद्दाख और जम्मू-कश्मीर के अधिकतर क्षेत्रों में ताजा बर्फबारी के बाद पारा गिरने से कड़ाके की ठंड पड़ रही है वहीं जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर मंगलवार को भूस्खलन की कई घटनाओं के बाद यातायात प्रभावित है।
पहाड़ों पर ज्यादातर जगहों पर बर्फबारी फिलहाल रुक गई है लेकिन कश्मीर से केदारनाथ तक की पहाड़ियां बर्फ से ढकी हुई है। बाबा केदार की नगरी केदारनाथ में तो कुदरत का अद्भुत नजारा देखने को मिल रहा है।
कश्मीर में भारी बर्फबारी के बीच श्रीनगर-जम्मू राष्ट्रीय राजमार्ग बंद होने के कारण शनिवार को लगातार तीसरे दिन भी कश्मीर घाटी का देश के बाकी हिस्सों से संपर्क टूटा रहा और हवाई यातायात भी बाधित रहा।
मौसम विभाग ने शनिवार को उत्तराखंड के उत्तरकाशी में भारी बारिश और बर्फबारी की आशंका जताई है, जिसके बाद सरकार द्वारा कल उत्तरकाशी के सभी स्कूलों और आंगनबाड़ी केंद्रों को बंद रखने का फैसला लिया है।
मौसम ने बहुत तेज़ी से करवट ली है। ठंड की शुरुआत तो नवंबर में ही हो गई थी लेकिन कल शाम से जारी बारिश ने तापमान को 5 से 7 डिग्री तक नीचे गिरा दिया है। पहाड़ों में बर्फबारी हो रही है तो मौदानी इलाकों में भारी बारिश हुई है।
उत्तर भारत में ठंड का कहर जारी रहा है। जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में नये सिरे से बारिश और बर्फबारी हो रही है जबकि श्रीनगर हवाईअड्डे पर विमानों का परिचालन अत्यधिक कोहरे की वजह से दृश्यता घटने के कारण लगातार तीसरे दिन बंद रहा।
उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के आस-पास के इलाकों में बादलों की आवाजाही का दौर जारी है। एक-दो दिनों में तेज हवा के साथ ठंड भी बढ़ेगी। शनिवार को लखनऊ का न्यूनतम तापमान 14 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
श्रीनगर से लेकर मनाली तक भारी बर्फबारी हो रही है। भारी बर्फबारी की वजह से रास्ते ब्लॉक हैं, जिंदगी की रफ्तार थम गई है। वहीं देश के पश्चिम तट पर बुलबुल तूफान ने भयंकर तबाही मचाई है।
शिमला मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक मनमोहन सिंह ने रविवार को बताया कि 14 से 16 नवंबर तक ऊंचे पहाड़ी इलाकों में बारिश और बर्फबारी हो सकती है, जबकि बीच वाले पहाड़ी इलाकों में आंधी-तूफान के साथ बारिश हो सकती है।
कश्मीर के गुलमर्ग और सोनमर्ग कल सीजन की पहली बर्फबारी हुई और इसका लुत्फ उठाने के लिए सैलानी भी पहुंचने लगे हैं। कोई पंजाब से आया तो कोई महाराष्ट्र से कश्मीर पहुंचा है।
मनाली जिले में झमाझम बारिश हुई जिससे सूबे की ऊंची चोटियां अब सफेद नजर आने लगी हैं। रोहतांग पास की तस्वीर रोमांच से भर देगी। बर्फ़बारी की वजह से मनाली-लेह मार्ग पर सफर करना अब खतरनाक हो गया है क्योंकि बर्फ सड़क तक फैल गई है।
कश्मीर के श्रीनगर समेत कई इलाकों में बुधवार को ताजा बर्फबारी हुई। हालिया कुछ वर्षों में मार्च के महीने में बर्फबारी की यह दुर्लभ घटना है।
कल्पा और लाहौल-स्पीति के केलॉन्ग में भी बर्फबारी हुई है। शून्य से आठ डिग्री कम तापमान के साथ केलॉन्ग राज्य में सबसे ठंडा रहा जबकि कल्पा में तापमान शून्य से 3.6 डिग्री नीचे रहा।
पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में बर्फबारी और बारिश के कहर से जनजीवन अस्त-व्यस्त है।
राष्ट्रीय राजधानी में रविवार सुबह बादल छाए रहे और बारिश हुई। दिल्ली में अलग-अलग स्थानों पर ओलावृष्टि होने की संभावना है। वहीं, दूसरी ओर पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी हो रही है।
हिमाचल प्रदेश के किन्नौर जिले में हिमस्खलन के बाद 10 दिन से लापता पांच सैनिकों में से एक का शव शनिवार को बरामद हो गया।
इस साल सर्दी का मौसम जाते जाते एक बार फिर से अपना रंग दिखाने जा रहा है, भारतीय मौसम विभाग ने पूरे उत्तर भारत के लिए चेतावनी जारी की है
निवासियों और पर्यटकों को ऊंची पहाड़ियों पर न जाने की सलाह दी गई है क्योंकि मनाली स्थित स्नो एंड अवलांचे स्टडी इस्टेब्लिशमेंट ने हिमस्खलन की चेतावनी जारी की है।
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