Mutual Fund SIP : जून में कुल 55 लाख नए एसआईपी रजिस्टर हुए। इससे एसआईपी की कुल संख्या बढ़कर 8.98 करोड़ हो गई। वहीं, 32.35 लाख एसआईपी खातों की मियाद पूरी हो गयी या उन्हें बंद कर दिया गया।
एक रेगुलर एसआईपी एक व्यवस्थित निवेश योजना का सबसे आसान रूप है। इसमें आपको नियमित अंतराल पर पैसे डालने होते हैं। आप चाहें तो मासिक, द्वि-मासिक, त्रैमासिक या अर्ध-वार्षिक ऑप्शन चुन सकते हैं।
अगर कोई व्यक्ति किसी म्यूचुअल फंड में निवेश करने के लिए पेटीएम प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल कर रहा है, तो न्यूनतम दैनिक SIP राशि 21 रुपये है। वहीं एक दिन के लिए अधिकतम निवेश 1001 रुपये है। कई फंड ऐप और प्लेटफॉर्म हैं जिन्होंने न्यूनतम दैनिक SIP निवेश राशि 100 रुपये है।
एम्फी ने सोमवार को जारी आंकड़ो में बताया कि यह इक्विटी फंड में शुद्ध निवेश का लगातार 39वां महीना है। इसके अलावा, व्यवस्थित निवेश योजना (एसआईपी) से मासिक योगदान बढ़कर मई में 20,904 करोड़ रुपये हो गया, जो अप्रैल में 20,371 करोड़ रुपये था।
कुछ निवेशक जो अधिक ऑटोमेटेड और उच्च-रिटर्न चाहते हैं, साथ ही ज्यादा रिस्क लेने को तैयार हैं, उन्हें स्मार्ट SIP उपयुक्त लग सकता है। स्मार्ट SIP बाज़ार की स्थितियों के आधार पर आपके निवेश की राशि को समायोजित करने के लिए एल्गोरिदम का उपयोग करते हैं।
फाइनेंशियल एक्सपर्ट का कहना है कि 18x15x12 फॉर्मूला का उपयोग करते समय महंगाई, जोखिम और पोर्टफोलियों का रीबैलेंसिंग का ख्याल रखना जरूरी है।
अगर आप प्रति माह 5,000 रुपये का निवेश करेंगे तो 26 साल (317 महीने) से थोड़ा अधिक समय में 1 करोड़ रुपये बचा लेंगे। अगर आप हर महीने 7,500 रुपये यानी अपने वेतन का 30% निवेश करते हैं, तो आप 23 साल या 276 महीनों में 1 करोड़ रुपये बचा लेंगे।
बहुत सारे एसआईपी निवेशकों की शिकायत रहती है कि उसने सिप में निवेश किया लेकिन मनचाहा रिटर्न नहीं मिला। अगर आप भी उनमें शामिल हैं तो कुछ बातों का ख्याल रखकर शानदार रिटर्न प्राप्त कर सकते हैं।
जैसे-जैसे म्यूचुअल फंड में निवेश करने वालों की संख्या बढ़ी है, उसी अनुपात में गलती करने वाले बढ़े हैं। इसके चलते निवेशकों को भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है।
छोटे निवेशकों के बीच म्यूचुअल फंड तेजी से लोकप्रिय हो रहा है। इसकी वजह एमएफ पर मिलने वाला तगड़ा रिटर्न है। आज हम तीन ऐसे ही म्यूचुअल फंड स्कीम के बारे में बता रहे हैं, जिसने निवेशकों को लखपति से करोड़पति बनाया है।
मार्च, 2024 में एसआईपी खातों की संख्या 8.4 करोड़ के रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गया है। पिछले सात वर्षों में एसआईपी से म्यूचुअल फंड योगदान में चार गुना से अधिक की वृद्धि देखी गई है।
छोटे निवेशकों द्वारा पसंदीदा एसआईपी, मासिक आधार पर या नियमित अंतराल पर म्यूचुअल फंड योजनाओं में एक निश्चित राशि निवेश किया जाता है। एसआईपी का एक प्रमुख लाभ यह है कि यह निवेशकों को बाजार गिरने पर पर अधिक यूनिट्स खरीदने और तेज होने पर कम इकाइयां खरीदने में सक्षम बनाता है।
सोशल मीडिया पर इस समय एक तस्वीर काफी वायरल हो रही है। इसे देखने के बाद आपका हैरान होना तय है। डेस्टिनेशन वेडिंग के लिए निकाले गए SIP की फोटो वायरल हो रही है।
एसआईपी निवेश की खास बात यह है कि आप छोटी बचत राशि के साथ शुरुआत कर सकते हैं। यह बाजार की अस्थिरता और बाजार के समय के बारे में चिंता किए बिना अनुशासित तरीके से निवेश करने में मदद करता है।
आरडी का कार्यकाल 6 महीने से 10 साल तक हो सकता है। जबकि, म्यूचुअल फंड एसआईपी के मामले में, ईएलएसएस के अलावा कोई लॉक-इन अवधि नहीं है
एसआईपी और एकमुश्त निवेश के बीच फैसला लेते समय विचार करने वाला एक महत्वपूर्ण कारक निवेश योग्य सरप्लस की उपलब्धता है। दोनों विकल्पों के अपने-अपने फायदे और नुकसान हैं
Mutual Funds ने पिछले कुछ समय में निवेशकों को बंपर रिटर्न दिया है। इसमें से स्मॉलकैप, मिडकैप और सेक्टोरल फंड्स का प्रदर्शन काफी अच्छा रहा है।
अभी भी बहुत लोग हैं जो यह नहीं जानते हैं कि म्यूचुअल फंड में निवेश करने के लिए वह अपना SIP अकाउंट कैसे खोलें। अगर आप भी उन लोगों में शामिल हैं तो परेशान होने की जरूरत नहीं है।
म्यूचुअल फंड में किए गए निवेश पर रिटर्न की गणना करना बहुत ही आसान है। आप आसानी से अपने किए निवेश पर मिलने वाले रिटर्न को गणना कर जान सकते हैं। इसके लिए कई सरल फॉर्मूला उपलब्ध है। कई ऑनलाइन टूल्स भी आजकल इंटरनेट पर मिल जाएंगे।
एसआईपी के जरिये निवेश में कंपाउंडिंग की शक्ति आपको समय के साथ अपने रिटर्न को बढ़ाने में मदद करती है। एसआईपी के जरिये इक्विटी फंड में निवेश करना समय के साथ पैसे बनाने का एक सुविधाजनक तरीका है।
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