बांग्लादेश में आर्थिक संकट बढ़ा है। रोजमर्रा की चीजों के दाम भी बढ़े हैं। ऐसे में अब जनता को राहत देने के मकसद से अंतरिम सरकार ने अर्थव्यवस्था पर खास ध्यान देने की बात कही है।
बांग्लादेश में तख्तापलट हो चुका है। शेख हसीना प्रधानमंत्री पद और देश दोनों की छोड़ चुकी है। अंतरिम सरकार का गठन हो चुका है। चलिए जानते हैं कि अब इस अंतरिम सरकार को किन चुनौतियों का सामना करना पड़ सकता है।
बांग्लादेश में आंदोलन और हिंसा के बाद शेख हसीना ने पीएम पद से इस्तीफा दे दिया और अब अंतरिम सरकार का गठन हो गया है। इस बीच शेख हसीना ने बड़ा आरोप लगाया है और कहा है कि मुझे सत्ता से हटाने के लिए साजिश रची गई।
बांग्लादेश में हिंदुओं को निशाना बनाया जा रहा है। लगातार हिंसा के खिलाफ अब अल्पसंख्यक हिंदू समुदाय के लोग सड़कों पर उतर आए हैं। ढाका और चटगांव में प्रदर्शन हुए हैं।
बांग्लादेश में हिंसा अबतक जारी है। गोपालगंज इलाके में पूर्व पीएम शेख हसीना की देश वापसी हो, इस मुद्दे को लेकर हिंसा और प्रदर्शन के बीच भीड़ ने सेना पर हमला कर दिया। इस हमले में कई पुलिसकर्मी घायल हो गए।
बांग्लादेश में हालात तेजी से बदल रहे हैं। विरोध के बाद अब चीफ जस्टिस ओबैदुल हसन ने भी अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। हसन को प्रधानमंत्री शेख हसीना का वफादार माना जाता है।
बांग्लादेश में एक बार फिर विरोध प्रदर्शन शुरू हो गए हैं। अब प्रदर्शनकारियों ने सुप्रीम कोर्ट का घेराव किया। इससे पहले बांग्लादेश में व्यापक प्रदर्शनों के बीच शेख हसीना को प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा था साथ ही उन्हें देश तक छोड़ना पड़ा था।
बांग्लादेश में शेख हसीना की सरकार का तख्तापलट हो गया है। शेख हसीना अब बांग्लादेश छोड़कर भारत आ गई हैं। शेख हसीना की सरकार गिरने के बाद बांग्लादेश में हिंसा की घटनाएं पहले से ज्यादा बढ़ गई हैं।
बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी के नेता अमीर खसरू महमूद चौधरी ने कहा है कि शेख हसीना कई अपराधों में वांछित हैं। उन्होंने यह भी कहा कि बांग्लादेश के लोग सोचते हैं कि भारतीय अधिकारियों को उनकी भावनाओं को ध्यान में रखना चाहिए।
बांग्लादेश में हुए तख्तापलट के बाद अंतरिम सरकार का गठन हो गया है। इस बीच विदेश मामलों के सलाहकार एवं पूर्व विदेश सचिव मोहम्मद तौहीद हुसैन ने सरकार की मंशा साफ कर दी है। हुसैन ने कहा कि वो सभी से अच्छे संबंध रखना चाहते हैं।
बांग्लादेश में हालात धीरे-धीरे बदल रहे हैं। हालात को सुधारने में सेना की तरफ से भी बड़ी भूमिका निभाई जा रही है। सेना की मदद से लगभग 29 पुलिस थानों में गतिविधियां फिर से शुरू हो गई हैं।
बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी के नेताओं का कहना है कि उनके देश के हित में है कि भारत के साथ बांग्लादेश के अच्छे संबंध हों। बीएनपी नेताओं का कहना है कि चुनाव जल्द से जल्द हों ताकि लोकतांत्रिक सरकार की स्थापना हो सके।
बांग्लादेश में सत्ता परिवर्तन हो चुका है। भारत सरकार ने भारत-बांग्लादेश सीमा पर मौजूदा स्थिति की निगरानी के लिए एक कमेटी बनाई है। इस कमेटी के जरिए भारत सरकार बांग्लादेश में रह रहे भारतीय नागरिकों, हिंदुओं और अल्पसंख्यकों की सुरक्षा सुनिश्चित करेगी।
बांग्लादेश में अंतरिम सरकार के गठन के बाद अब पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना पुनः होने वाले चुनाव के लिए अपने देश लौटेंगी। यह दावा उनके बेटे की ओर से किया गया है। हालांकि उन्होंने यह नहीं बताया कि हसीना दोबारा चुनाव लड़ेंगी या नहीं।
बांग्लादेश में फैली हिंसा के बीच अर्थशास्त्री मुहम्मद यूनुस ने अंतरिम सरकार के प्रमुख के तौर पर शपथ ले ली है। यूनुस के शपथ लेने के बाद भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्हें बधाई दी है।
बांग्लादेश में हिंदुओं के साथ हो रही बर्बरता पर विश्व हिन्दू परिषद के नेता गोविन्द शेंडे ने कहा है कि हिन्दू समाज के लोगों को 2 बच्चे पैदा करने चाहिए ताकि भारत में ऐसी स्थिति न आए।
हसीना के बेटे जॉय ने कहा, ‘‘मां देश छोड़ने को तैयार नहीं थीं। प्रधानमंत्री की सुरक्षा टीम अंत तक उनकी सुरक्षा के लिए तैयार थी, लेकिन इससे सैकड़ों प्रदर्शनकारियों की मौत हो जाती जो प्रधानमंत्री आवास की ओर मार्च कर रहे थे। हमने बांग्लादेश की खातिर उन्हें (हसीना) मना लिया। हम उन्हें मरने नहीं देना चाहते थे।
बांग्लादेश में अंतरिम सरकार के गठन से पहले इसके प्रमुख मुहम्मद यूनुस ने भारत के साथ संबंधों और सार्क संगठन को लेकर बड़ा बयान दिया है। इससे यह तय होने वाला है कि बांग्लादेश की विदेश नीति अब किस तरह से बदल जाएगी।
बांग्लादेश में जिस तरह के हालात हैं उसे लेकर शेख हसीना की बेटी ने दुख जताया है। शेख हसीना की बेटी का नाम साइमा वाजिद है। साइमा वाजिद ने कहा है कि जिस बांग्लादेश से मैं प्यार करती हूं वहां लोगों की जान जाने से मेरा दिल टूट गया है।
बांग्लादेश में हुए तख्तापलट के बाद अंतरिम सरकार बनाने की प्रकिया जारी है। इस बीच अमेरिका ने भी बांग्लादेश को लेकर रुख साफ कर दिया है। अमेरिका ने कहा है कि उनकी सरकार बांग्लादेश के घटनाक्रम पर नजर रख रही है।
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