पाकिस्तान ने कहा कि जयशंकर की इस्लामाबाद यात्रा से दोनों देशों के बीच जमी बर्फ पिघली है। बताया जा रहा है कि दोनों देशों के विदेश मंत्रियों ने क्रिकेट संबंध सुधारने पर चर्चा की।
कश्मीर से 370 हटाना और फिर लद्दाख को अलग प्रदेश बनाने का फैसला कितना सही था, इस बात का अंदाजा आपको एससीओ शिखर वार्ता में चीन और पाकिस्तान को रोने से हो जाएगा। जाहिर है कि चीन- पाकिस्तान ने माना है कि भारत के इस फैसले से उनकी संप्रभुता कमजोर हुई है।
पाकिस्तान ने एससीओ शिखर सम्मेलन में चीन के बीआरआई यानि ओबीओआर का समर्थन किया है। मगर भारत ने इसे पीओके क्षेत्र में बनने के कारण क्षेत्रीय अखंडता और प्रभुता के खिलाफ बताते हुए खारिज कर दिया है।
विदेश मंत्री एस जयशंकर एससीओ शिखर वार्ता में शामिल होने के बाद आज इस्लामाबाद से भारत के लिए रवाना हो गए। उन्होंने पाकिस्तान में आतंकवाद, उग्रवाद और अलगाववाद का मुद्दा उठाया। साथ ही पाकिस्तान और चीन जैसे पड़ोसियों को आत्मावलोकन करने की सलाह भी दी।
पाकिस्तान को उसी की धरती पर विदेश मंत्री जयशंकर ने पस्त कर दिया है। आतंकवाद, उग्रवाद और बुरी नीयत के मसले पर उन्होंने पाकिस्तान के साथ चीन को भी निशाने पर लिया है। साथ ही दोनों देशों का नाम लिए बिना उनको आत्मावलोकन की सलाह भी दी है।
इस्लामाबाद में एससीओ शिखर सम्मेलन का आज समापन हो गया। इस दौरान भारतीय विदेश मंत्री ने एससीओ के अहम दस्तावेजों पर हस्ताक्षर किए। साथ ही भारत की ओर से 8 प्रमुख बिंदु प्रस्तुत किए गए।
एससीओ समिट में एस जयशंकर ने एससीओ परिषद के शासनाध्यक्षों की 23वीं बैठक को संबोधित किया है। इस दौरान उन्होंने कहा कि भारतीय दृष्टिकोण से, हमारी अपनी वैश्विक पहल और राष्ट्रीय प्रयास भी SCO के लिए दृढ़ता से प्रासंगिक हैं।
इस्लामाबाद में एससीओ की मुख्य बैठक होने जा रही है। इस बीच पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने एससीओ शिखर सम्मेलन के आयोजन स्थल पर डॉ एस जयशंकर का स्वागत किया है।
शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर पाकिस्तान में है। एससीओ समिट के दूसरे दिन जयशंकर व्यापार और अर्थव्यवस्था को लेकर होने वाली वार्ता में भाग लेंगे।
पाकिस्तान के राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी और चीन के प्रधानमंत्री ली कियांग के बीच मुलाकात हुई है। इस दौरान जरदारी ने कहा कि चीन की आर्थिक वृद्धि का पूरी तरह से लाभ उठाने का समय आ गया है।
शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन से पहले पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ ने बड़ा फैसला लिया है। सरकार से आश्वासन मिलने के बाद PTI ने विरोध प्रदर्शन रोक दिया है।
शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद में हो रहा है। भारत के विदेश मंत्र एस जयशंकर इसमें शामिल होंगे। चलिए आपको बताते हैं कि SCO समिट क्या है और भारत की इसमें भूमिका क्या है।
शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर आज पाकिस्तान जाएंगे। एससीओ समिट को लेकर इस्लामाबाद में सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं।
शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर मंगलवार को पाकिस्तान पहुंचेंगे। ऐसी सूचना है कि जयशंकर पाकिस्तान में 24 घंटे से भी कम समय रुकेंगे।
शंघाई सहयोग संगठन शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए मेहमानों के पाकिस्तान पहुंचने का सिलसिला शुरू हो गया है। भारत के विदेश मंत्री डॉ एस जयशंकर के इस्लामाबाद पहुंचने से पहले पुख्ता सुरक्षा इंतजाम किए गए है। बड़ी संख्या में सेना के जवानों को तैनात किया गया है।
विदेश मंत्री एस जयशंकर अगले हफ्ते पाकिस्तान के एससीओ शिखर वार्ता में भाग लेने इस्लामाबाद जा रहे हैं। जयशंकर को उनके बेबाक अंदाज के लिए जाना जाता है। ऐसे में पाकिस्तान भी जयशंकर की प्रतिक्रियाओं को लेकर बेहद सतर्क है।
पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में बंदूकधारियों ने बड़ा हमला किया है। बलूचिस्तान के डुकी जिले में कोयला खदानों के पास बने आवासों पर धावा बोलते हुए ताबड़तोड़ फायरिंग की। इस हमले में कम से कम 20 लोगों की मौत हो गई है।
पाकिस्तान में शंघाई कॉर्पोरेशन ऑर्गेनाइजेशन की बैठक से पहले प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने बड़ी बात कही है। पीएम शरीफ ने कहा है कि पीटीआई को 2014 का धरना दोहराने की इजाजत नहीं दी जाएगी।
पाकिस्तान में इसी महीने की 15 और 16 तारीख को शंघाई कॉर्पोरेशन ऑर्गेनाइजेशन की बैठक होनी है। भारत और पाकिस्तान के बीच इस दौरान द्विपक्षीय वार्ता नहीं होगी। अब इस मामले में पाकिस्तान का बयान भी सामने आ गया है।
पाकिस्तान में 15 और 16 अक्टूबर को होने वाले संघाई सहयोग शिखर सम्मेलन का निमंत्रण भारत ने स्वीकार कर लिया है और विदेश मंत्री इसके लिए इस्लामाबाद जाएंगे। मगर अब पूर्व पीएम इमरान खान की पार्टी ने एक अलग तरीके का न्योता विदेश मंत्री को भेजकर सबको हैरान कर दिया है।
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