रूस-यूक्रेन युद्ध के दौरान अमेरिका ने मॉस्को पर कई कड़े प्रतिबंध लगाए। अमेरिका ने कहा कि इससे रूस युद्ध के लिए ज्यादा धन नहीं जुटा सका। अमेरिका ने कहा कि उसने कभी भारत पर रूस से तेल न खरीदने का दबाव नहीं डाला था, बल्कि उसके प्रतिबंध से भारत को सस्ता तेल मिला।
रूसी कच्चे तेल पर छूट में गिरावट और पेमेंट संबंधी दिक्कतें पेश आ रही हैं। इसी बीच खबर है कि भारत के सरकार रिफाइनर कच्चे तेल की खरीद के लिए मध्य पूर्व के अपने पुराने तेल निर्यातक देशों की ओर मुड़ रहे हैं।
India on Russian Oil: एस. जयशंकर ने एक प्रश्न के उत्तर में कहा, ‘आज स्थिति ऐसी है कि हर देश अपने नागरिकों के लिए सर्वश्रेष्ठ सौदा करने की कोशिश करेगा, ताकि वह इन उच्च कीमतों का असर झेल सके और हम यही कर रहे हैं।’ उन्होंने कहा कि भारत ‘रक्षात्मक तरीके’ से ऐसा नहीं कर रहा है।
देश में पेट्रोल और डीजल के दाम भले ही रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच चुके हों लेकिन जिस रफ्तार से अमेरिका में ऑयल रिग्स की संख्या में बढ़ोतरी हो रही है उसे देखते हुए लग रहा है कि सस्ते पेट्रोल और डीजल वाले अच्छे दिन फिर से वापस लौट सकते हैं। अमेरिका में ऑयल रिग्स के बारे में आंकड़े जारी करने वाली संस्था बेकर हग्स के ताजा आंकड़ों के मुताबिक ऑयल रिग्स की संख्या 3 साल के ऊपरी स्तर तक पहुंच गई है
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