हिमाचल प्रदेश मंत्रिमंडल ने सरकारी सेवाओं में श्रेणी एक, दो, तीन और चार के पदों पर सामान्य श्रेणी के आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग को 10 प्रतिशत आरक्षण देने का शनिवार को फैसला किया।
तेजस्वी ने कहा- सदियों से चली आ रही वर्ण व्यवस्था के सवर्णों के प्रतिनिधित्व के तहत यह आरक्षण दिया गया। इससे गरीब सवर्ण को लाभ नहीं मिल पाएगा।
केन्द्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री प्रकाश जावडेकर ने सामान्य श्रेणी में आर्थिक रूप से पिछडे लोगों को दस प्रतिशत आरक्षण के निर्णय को गरीबों के आर्थिक और सामाजिक सशक्तिकरण की तरफ उठाया गया क्रांतिकारी कदम।
गुजरात सरकार ने रविवार को कहा कि वह सरकारी नौकरियों और उच्च शिक्षा में सामान्य श्रेणी के आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के लोगों के लिए 10 फीसदी आरक्षण को लागू करेगी।
सामान्य वर्ग के आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के लोगों लिए शिक्षण संस्थानों में नामांकन और सरकारी नौकरियों में 10% आरक्षण वाले बिल को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने मंजूरी दे दी है।
वित्त मंत्री अरूण जेटली ने शुक्रवार को कहा कि सरकारी नौकरियों और शैक्षणिक संस्थानों में आर्थिक रूप से पिछड़े तबके के लोगों को दस फीसदी आरक्षण देना संविधान के मूल ढांचे के विपरीत नहीं है।
केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान ने शुक्रवार को कहा कि नरेन्द्र मोदी सरकार ने सामान्य वर्ग में आर्थिक रूप से पिछड़े लोगों को दस फीसदी आरक्षण देने के लिए संविधान संशोधन में पर्याप्त सावधानियां बरती हैं ताकि यह न्यायिक समीक्षा में सफल रहे।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को आरक्षण विधेयक के पारित होने को सामाजिक न्याय की जीत बताया और कहा कि यह देश की युवा शुक्ति को अपना कौशल दिखाने के लिए व्यापक मौका सुनिश्चित करेगा तथा देश में एक बड़ा बदलाव लाने में सहायक होगा।
सामान्य वर्ग के आर्थिक रूप से कमजोर लोगों को शिक्षा एवं रोजगार में 10 प्रतिशत आरक्षण देने के प्रावधान वाले ऐतिहासिक संविधान संशोधन विधेयक को बुधवार को संसद की मंजूरी मिल गयी।
देश के लगभग हर हिस्से में आयकर न देने वालों को सरकारी योजनाओं का लाभ मिलता है। अब सरकार ने सामान्य वर्ग के गरीबों को 10 प्रतिशत आरक्षण देने का ऐलान किया है।
केन्द्रीय मंत्री रामविलास पासवान ने बुधवार को कहा कि यह आरक्षण एससी, एसटी और ओबीसी के आरक्षण को काटकर नहीं दिया जा रहा है।
कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि सामान्य वर्ग के गरीबों को 10 प्रतिशत आरक्षण दिए जाने से देश में सामाजिक समरसता का ताना-बाना मजबूत होगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आरक्षण की वह दीवार एक झटके में तोड़ दी जो अगड़ी जातियों को अन्य पिछड़ी जातियों, अनुसूचित जातियों एवं अनुसूचित जनजातियों से अलग करती थी।
सामान्य वर्ग के आर्थिक रूप से कमजोर लोगों को 10 प्रतिशत आरक्षण देने के प्रावधान वाले ऐतिहासिक संविधान संशोधन विधेयक को मंगलवार को 3 के मुकाबले 323 मतों से लोकसभा की मंजूरी मिल गयी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोकसभा में सामान्य वर्ग के आर्थिक तौर पर कमजोर तबकों के लिए पास हुए आरक्षण बिल पर प्रसन्नता जताई है और इसे एक ऐतिहासिक अवसर करार दिया है।
केंद्रीय मंत्री राम विलास पासवान ने सामान्य वर्ग के गरीबों को 10 प्रतिशत आरक्षण का स्वागत करते हुए कहा कि विधेयक को संविधान की नौवीं अनुसूची में डाला जाना चाहिए ताकि यह न्यायिक समीक्षा के दायरे से बाहर हो जाए ।
पहली नजर में यह बेहद सोच समझकर लिया गया फैसला है जिसके तहत उन सभी जातियों के आर्थिक तौर पर पिछड़े लोगों को नौकरियों में आरक्षण देना है, जो लोग अभी तक इस दायरे से बाहर थे।
मानव संसाधन विकास मंत्रालय उच्च शैक्षिक संस्थानों में सामान्य वर्ग के ‘‘आर्थिक रूप से कमजोर’’ लोगों के लिए 10 फीसदी आरक्षण लागू करने की रूपरेखा पर काम कर रहा है।
केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा है कि सामान्य वर्ग के पिछड़े वर्गों को 10 प्रतिशत आरक्षण के लिए जो संविधान संशोधन किया जा रहा है उसके लिए राज्यों की सहमति की जरूरत नहीं होगी
वित्त मंत्री अरुण जेटली ने जनरल कोटा को आर्थिक आधार पर 10 फीसदी आरक्षण को लेकर लोकसभा में चर्चा के दौरान कहा कि सवर्ण आरक्षण पर पिछली सरकारों ने सही प्रयास नहीं किए।
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