विशेषज्ञों का कहना है कि आरबीआई की मानसून की प्रगति पर भी नजर है और अल नीनो खरीफ की फसल पर दुष्प्रभाव डाल सकता है, जिससे कीमतों पर भी प्रभाव पड़ सकता है।
RBI Repo Rate: आज कार से लेकर होम लोन लेने वालों के लिए एक बुरी खबर आने वाले है। आरबीआई रेपो रेट में बड़ा बदलाव करने जा रहा है। आइए जानते हैं कि इससे किसे फायदा तो किन लोगों को नुकसान होने वाला है।
वित्त वर्ष 2022-23 में आरबीआई ने छह बार में रेपो रेट में वृद्धि कर चुका है। पिछले साल मई से लेकर रेपो रेट में ढ़ाई फीसदी की वृद्धि हो चुकी है।
बैंकिंग क्षेत्र के जानकारों का कहना है कि एफडी पर ज्यादा ब्याज पाने के लिए बैंकों की ओर से दी जा रही ब्याज दर की तुलना करें।
आपको बता दें कि पिछले 11 महीने में आरबीआई ने रेपो रेट में 250 आधार अंकों की बढ़ोतरी किया है।
RBI Repo Rate: महंगाई का मेवा खाने के लिए तैयार हो जाइए। आरबीआई अगले MPC की बैठक में फिर से रेपो रेट बढ़ा सकती है। रेपो रेट बढ़ने का सीधा असर आम जनता के जेब पर पड़ता है और लोन महंगे हो जाते हैं।
RBI Repo Rate: RBI ने इस वित्त वर्ष में होने वाली मौद्रिक नीति समिति की बैठक को लेकर आदेश जारी कर दिया है। बता दें कि आरबीआई को विकास के उद्देश्य को ध्यान में रखते हुए मूल्य स्थिरता बनाए रखने के लिए मौद्रिक नीति संचालन की जिम्मेदारी सौंपी गई है।
महीने की शुरुआत में रिजर्व बैंक ने नीतिगत ब्याज दर रेपो में 0.25 प्रतिशत की बढ़ोतरी की थी। इसके साथ ही रेपो दर बढ़कर 6.25 प्रतिशत हो गई है।
भारतीय रिजर्व बैंक के नीतिगत दर रेपो में 0.25 प्रतिशत वृद्धि के बाद बैंकों ने यह कदम उठाया। दोनों ही बैंकों ने कर्ज पर लगने वाले ब्याज में 0.25 प्रतिशत तक की वृद्धि की है।
आरबीआई ने बुधवार को रेपो दर में 0.25 प्रतिशत की एक और वृद्धि करते हुए इसे 6.50 प्रतिशत पर पहुंचा दिया।
आरबीआई द्वारा रेपो रेट में बढ़ोतरी पर प्रतिक्रिया देते हुए बैंकिंग विशेषज्ञों ने कहा कि फिक्स्ड डिपॉजिट निवेशकों के लिए यह एक अच्छी खबर है क्योंकि बैंक डिपॉजिट दरें बढ़ाएंगे।
आरबीआई ने रेपो रेट में 25 बीपीएस की न्यूनतम वृद्धि की घोषणा करके इसे 6.50% तक ले जाने का कदम उठाया है। यह बढ़ोतरी थोड़ी निराशाजनक है क्योंकि केंद्रीय बजट में रियल एस्टेट सेक्टर को कोई बड़ा पुश नहीं दिया गया था।
Home, car and Personal Loan EMI: आरबीआई के इस कदम से आम जनता पर सीधा असर पड़ेगा। होम, कार और पर्सनल लोन की ईएमआई अधिक हो जाएगी। आइए समझते हैं कि पहले से चल रही आपकी ईएमआई पर इसका कितना असर पड़ेगा? इसके पीछे की गणित क्या है?
ब्याज दरों की समीक्षा के लिए RBI हर दो महीने में बैठक करता है। यह उन महत्वपूर्ण घटनाओं में से एक है, जिन पर शेयर मार्केट की नजर है।
बैंक से होम, पर्सनल या कार लोन लेने के बाद कई बार इसकी दरें बढ़ जाती है। आरबीआई के द्वारा रेपो रेट में कमी और बढ़ोतरी करने के कारण इसका असर सीधे तौर पर ईएमआई पर होता है। अगर आप के नाम पर भी कोई लोन हो तो रेपो रेट के बारे में जरूर जान लें।
Home and Car Loan EMI: आम जनता पर एक बार फिर महंगाई की मार पड़ने वाली है। आरबीआई एक बार फिर रेपो रेट में बढ़ोतरी करने की तैयारी कर रहा है। इससे होम लोन और कार लोन की ईएमआई की राशि बढ़ेगी।
रेग्युलेटरी फाइलिंग के मुताबिक, नई दरें गुरुवार, 12 जनवरी से लागू हो गई हैं। इसस पहले दिसंबर 2022 में बैंक ने 30-आधार अंकों की बढोत्तरी की थी।
रिजर्व बैंक द्वारा रेपो रेट बढ़ाने के बाद बैंकों में ब्याज दरें बढ़ाने की होड़ लगी हुई है। सरकारी बैंक से लेकर स्मॉल फाइनेंस बैंक और एनबीएफसी तक फिक्स डिपॉजिट पर अच्छा ब्याज दे रहे हैं।
रिलायंस इंडस्ट्रीज, बजाज फिनसर्व एवं टाटा स्टील के शेयरों में बिकवाली होने के अलावा विदेशी निवेशकों के भी मुंह मोड़ने से घरेलू बाजारों में गिरावट रही
यदि किसी व्यक्ति ने 20 साल के लिए 30 लाख का लोन लिया है तो अब ताजा बढ़ोत्तरी के बाद उसकी होम लोन की ब्याज दर क्रेडिट स्कोर के अनुसार 9 से 9.30 फीसदी हो जाएगी।
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