उद्योग मंडल एसोचैम के अध्यक्ष संजय नायर ने भी उम्मीद जताई कि आगामी एमपीसी बैठक में रेपो दर को अपरिवर्तित रखने की उम्मीद है। मुद्रास्फीति पर चिंता बनी हुई है और गर्मी ने विशेष रूप से सब्जियों की कीमतों को प्रभावित किया है।
Online Payment Fraud के मामलों में बेतहाशा बढ़ोतरी हुई है। भारतीय रिजर्व बैंक ने पिछले वित्त वर्ष में होने वाले फ्रॉड का डेटा शेयर किया है, जो चौंकाने वाला है। जितनी तेजी से UPI पेमेंट की संख्यां बढ़ी है, उतनी ही तेजी से ऑनलाइन फ्रॉड के मामलों में भी इजाफा हुआ है।
रिजर्व बैंक उन केंद्रीय बैंकों में से है, जिन्होंने हाल के वर्षों में सोना खरीदा है, जिसने पिछले वित्तीय वर्ष में 27.5 टन जोड़ा है।
भारतीय रिजर्व बैंक का यह कदम घरेलू मुद्रा के अंतरराष्ट्रीय लेवल पर महत्वपूर्ण मुद्रा बनाने की रणनीतिक योजना का हिस्सा है। आरबीआई ने कहा कि उसने 2024-25 के लिए रणनीतिक कार्ययोजना को आखिरी रूप दे दिया है।
भारतीय रिजर्व बैंक के बही-खाते का आकार मार्च, 2024 तक 11.08 प्रतिशत बढ़कर 70.47 लाख करोड़ रुपये हो गया है। यह पाकिस्तान के कुल सकल घरेलू उत्पाद (करीब 340 अरब अमेरिकी डॉलर) का करीब 2.5 गुना है।
अधिकारी ने बताया कि जब ठाकुर ने विज्ञापन पर क्लिक किया तो उसे एक नंबर दिया गया। यह नंबर डायल किया, तो दूसरी तरफ से संबंधित व्यक्ति ने कहा कि वह उन्हें अपनी योजना के तहत दो लाख रुपये के बदले आठ लाख रुपये देंगे।
देश के हर तरह के बैंकों में ऐसे बैंक अकाउंट हैं जो 10 साल या इससे भी ज्यादा समय से ऑपरेट नहीं हुए हैं। इन अकाउंट्स में बड़ी मात्रा में पैसे पड़े हैं। इनका कोई दावेदार बैंकों को अभी तक नहीं मिला है।
इससे पहले, आईआईएफएल फाइनेंस को स्वर्ण ऋण देने से रोक और जे एम फाइनेंशियल प्रोडक्ट्स पर प्रतिबंध लगाया गया था।
वित्तीय सुविधाओं को अंतिम व्यक्ति तक पहुंचाने में मदद मिलेगी और ग्राहकों की संतुष्टि भी बढ़ेगी। फिनटेक फर्म, डेटा आधारित इनसाइट्स, संचालन में कार्यकुशलता लाने के साथ ग्राहकों को अधिक व्यक्तिगत और कुशल अनुभव प्रदान कर सकती है।
केंद्रीय बैंक ने बयान में कहा कि यह पोर्टल रिजर्व बैंक की तरफ से नियामकीय मंजूरी देने से संबंधित विभिन्न प्रक्रियाओं को सुगम बनाएगा। इसके अलावा आरबीआई ने ‘फिनटेक रिपॉजिटरी’ पहल की है।
देश में राजकोषीय घाटा पिछले पांच साल में छह प्रतिशत से अधिक रहा है। वित्त वर्ष 2024-25 में इसके 5.1 प्रतिशत रहने का अनुमान रखा गया है। यदि सरकार इसका उपयोग राजकोषीय घाटे को कम करने के लिए करती है, तो यह घटकर लगभग 4.8 प्रतिशत हो जाएगा।
देश के विदेशी मुद्रा भंडार में लगातर उछाल देखने को मिल रहा है। भारतीय अर्थव्यवस्था पर विदेशी निवेशकों के बढ़ते भरोसा को यह दर्शता है।
भारतीय रिजर्व बैंक की तरफ से सरकार को 2.1 लाख करोड़ रुपये का डिविडेंड (लाभांश) देने का फैसला किया गया है। यह सरकार द्वारा निर्धारित बजट 1.02 लाख करोड़ रुपये से दोगुने से भी अधिक है।
कारोबार के अंत में सेंसेक्स 1196.98 अंक उछलकर 75,418.04 अंक पर बंद हुआ। इसी तरह एनएसई निफ्टी 369.85 अंक चढ़कर 22,967.65 अंक पर पहुंच गया। शेयर बाजार में जबरदस्त तेजी लौटने से निवेशकों की आज बंपर कमाई हुई।
केंद्रीय बैंक ने एक बयान में कहा, ‘आकस्मिक जोखिम बफर’ को छह प्रतिशत रखने का फैसला करते हुए वित्त वर्ष 2023-24 के लिए केंद्र सरकार को 2.11 लाख करोड़ रुपये के लाभांश देने की मंजूरी दी।
घरेलू और व्यक्तिगत देखभाल से जुड़े उत्पादों की मजबूत मांग से एफएमसीजी वस्तुओं की मात्रा में वृद्धि 6.5 प्रतिशत रही। इस वृद्धि को 7.6 प्रतिशत की ग्रामीण वृद्धि से गति मिली। वहीं शहरी क्षेत्रों में वृद्धि 5.7 प्रतिशत थी।
रिजर्व बैंक ने कहा कि समीक्षाधीन सप्ताह के दौरान स्वर्ण आरक्षित भंडार का मूल्य 1.07 अरब डॉलर बढ़कर 55.95 अरब डॉलर हो गया। विशेष आहरण अधिकार (एसडीआर) 50 लाख डॉलर बढ़कर 18.06 अरब डॉलर हो गया।
डिप्टी गवर्नर ने कहा कि कुछ उत्पादों या असुरक्षित ऋण जैसे क्षेत्रों के लिए जोखिम काफी ज्यादा हैं और यह लंबे समय तक टिकने वाला नहीं है। उनका यह भी कहना है कि उधार के बारे में निर्णय लेने के लिए ‘एल्गोरिदम’ पर अत्यधिक निर्भरता भी चुनौतीपूर्ण हो सकता है।
रिजर्व बैंक के आंकड़ों के मुताबिक, तीन मई को समाप्त सप्ताह में मुद्रा भंडार का अहम हिस्सा मानी जाने वाली विदेशी मुद्रा आस्तियां 4.46 अरब डॉलर बढ़कर 564.16 अरब डॉलर रही।
कुछ सप्ताह पहले केंद्रीय बैंक ने आईआईएफएल फाइनेंस के निरीक्षण के दौरान कुछ चिंताएं नजर आने के बाद उसे स्वर्ण ऋण स्वीकृत करने या वितरित करने से रोक दिया था।
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