यूक्रेन ने पश्चिमी देशों से फिर हथियार हासिल करने के बाद हमलावर हो गया है। रूसी दावे के अनुसार यूक्रेन ने सीमा क्षेत्रों में अब तक का सबसे बड़ा ड्रोन हमला किया है। हालांकि रूसी सेना का दावा है कि उसने यूक्रेन के 31 ड्रोनों को मार गिराया है।
रूस-यूक्रेन युद्ध के 18 महीने से अधिक हो चुके हैं। मगर शनिवार को रूस ने यूक्रेन के 4 क्षेत्रों को अपने देश का हिस्सा बनाने को लेकर सालगिरह मनाई। इसके लिए पुतिन की सेना ने यूक्रेन पर रात भर ड्रोन से हमले किए। पुतिन ने कहा कि लुहांस्क, दोनेत्स्क, खेरसॉन और जापोरिज्जिया के लोग रूस के साथ रहना चाहते हैं।
रूस-यूक्रेन युद्ध के बीच पुतिन, चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन के बीच कुछ न कुछ खिचड़ी तो जरूर पक रही होगी। क्या पुतिन अब यूक्रेन पर परमाणु हमला करना चाहते हैं, जिसके बाद यूरोप और अमेरिका के रिएक्शन का अंदाजा लगाकर उन्होंने अपने मित्र चीन और उत्तर कोरिया के साथ कोई गुप्त डील की है।
भीषण जंग के बीच रूस ने पश्चिमी देशों पर बड़ा आरोप लगाया है। रूस ने कहा कि यूक्रेन ने काला सागर में जो हमला किया था, उसमें पश्चिमी देशों का भी हाथ है। खबर है कि हमले में ब्रिटेन और फ्रांस द्वारा यूक्रेन को दी गई स्टॉर्म शैडो मिसाइलों का इस्तेमाल किया गया था।
रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीन पुतिन ने रूस की इकोनॉमी को लेकर हताशाभरा बयान दिया है। यूरोप और अमेरिकी देशों द्वारा थोपे गए आर्थिक प्रतिबंधोंपर पुतिन ने कहा कि ''रूस ने पश्चिमी प्रतिबंधों का अभूतपूर्व दबाव को झेला है।'
उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन ने रूस का ऐतिहासिक दौरा किया। इस दौरान रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीन पुतिन से कई अहम मसलों पर चर्चा की। पुतिन ने किम जोंग को कई अहम तोहफे दिए। वहीं किम ने भी पुतिन को एक खास गन दी। जानिए किम जोंग को मिले हैरान करने वाले तोहफों के बारे में।
करीब 6 दिनों तक रूस में रहने के बाद उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन रविवार को स्वदेश रवाना हो गए हैं। रूस की सरकारी मीडिया ने उनके रवानगी की खबर दी है। रूस यात्रा के दौरान किम जोंग ने राष्ट्रपति पुतिन और रक्षामंत्री सर्गेई शोइगू से वार्तालाप की। उन्होंने रूसी बमवर्षक, किंझल मिसाइल और युद्धपोत देखे।
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनॉल्ड ट्रंप ने रूस-यूक्रेन युद्ध को लेकर बड़ा दावा किया है। उन्होंने कहा कि यदि वह दोबारा अमेरिका के राष्ट्रपति चुने जाते हैं तो रूस-यूक्रेन युद्ध को खत्म करवा देंगे। उन्होंने कई मामलों में पुतिन की तारीफ भी की। पुतिन ने भी डोनॉल्ड ट्रंप की तारीफ की। उन पर लगे आरोपों को राजनीति बताया।
रूस की यात्रा पर चल रहे उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन रूसी बमवर्षकों को देखने के बाद प्रशांत बेड़े में पहुंच गए। वहां रूसी युद्ध पोतों पर उनका दिल आ गया। उन्होंने रूसी फैक्ट्री में किंझल मिसाइल भी देखी, जिसे तबाही का दूसरा नाम भी कहा जाता है।
उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन ने अमेरिका और दक्षिण कोरिया की बर्बादी का सामान जुटाना शुरू कर दिया है। ये दोनों ही देश उत्तर कोरिया के जानी दुश्मन हैं। अक्सर इन देशों से किम की ठनी रहती है। रूस-यूक्रेन युद्ध में मास्को को परमाणु मिसाइल और गोला-बारूद की आपूर्ति के बदले उन्हें पुतिन से परमाणु बमवर्षक विमान चाहिए।
रूस की यात्रा पर गए उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन अब रूसी फाइटर प्लेन बनाने वाली फैक्ट्री में पहुंच गए हैं। ऐसा माना जा रहा है कि किम जोंग को उन्नत किस्म के फाइटर प्लेन की जरूरत है। बदले में रूस उनसे बैलिस्टिक मिसाइलें और गोला-बारूद ले सकता है।
पुतिन और किम जोंग की मुलाकात का जवाब देने के लिए अमेरिका में अब जो बाइडेन और जेलेंस्की की मुलाकात भी जल्द होने जा रही है। इसका मतलब साफ है कि रूस को अमेरिकी और यूक्रेन उसी के लहजे में जवाब देना चाहता है।
नाटो संगठन के ये देश रूस की सीमा पर करीब 41 हजार सैनिकों के साथ जुटेंगे और आने वाले समय में किसी भी नाटो कंट्री पर होने वाले रूसी हमले को नेस्तनाबूद करने का अभ्यास करेंगे।
अमेरिका और पश्चिमी देशों के साथ जारी टकराव के बीच रूस और उत्तर कोरिया के नेताओं की मुलाकात बेहद अहम मानी जा रही है। पुतिन ने किम जोंग का गर्मजोशी से स्वागत किया।
उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग रूस के राष्ट्रपति पुतिन से मुलाकात के लिए मॉस्को पहुंचे हैं। इस दौरान दोनों देशों के बीच हथियार सप्लाई को लेकर बातचीत हो सकती है। इसी बीच उत्तर कोरिया ने एक बार फिर बैलिस्टिक मिसाइल दाग दी है। इस पर जापान की ओर से बड़ा रिएक्शन आया है।
नई दिल्ली में आयोजित दो दिन का जी-20 शिखर सम्मेलन कई मायनों में भारत के लिए सफल रहा। भारत के लिए कई उपलब्धियां रहीं। इसी बीच जी20 समिट में भारत के इस कदम से दोस्त रूस हैरान हो गया। रूस को अपने दोस्त से इस बात की उम्मीद नहीं थी। लेकिन भारत ने जो किया, उससे रूस खुश हो गया। रूसी विदेश मंत्री ने भारत के लिए बड़ी बात कही।
रूस-यूक्रेन युद्ध विराम को लेकर जी-20 सम्मेलन के इतर पूछे गए एक सवाल के जवाब में रक्षामंत्री सर्गेई ने बड़ा बयान दिया है। सर्गेई लावरोव ने युद्ध मां शांति की बात करते हुए कहा कि हर कोई युद्ध में शांति चाहता है। हमने शांति के लिए 18 महीने पहले एक समझौते पर हस्ताक्षर किया था। मगर जेलेंस्की को इस पर हस्ताक्षर नहीं किया।
रूस के दुश्मन नंबर 1 यूक्रेन के राष्ट्रपति ने भी बड़ा दावा कर दिया है कि पुतिन ने वैगनर चीफ येवेगनी प्रिगोझिन को मारा है।' हालांकि उन्होंने अपने दावे को लेकर कोई सबूत नहीं दिया।
रूस ने अपने कब्जे वाले जापोरिज्जिया, लुहांस्क, खेरसॉन और दोनेत्सक में चुनाव आरंभ करवा दिया है। यह शुक्रवार से रविवार तक चलेगा। पुतिन की मंशा इन 4 क्षेत्रों पर अपना पूर्ण नियंत्रण स्थापित करके युद्ध विराम की घोषणा करना हो सकता है। पुतिन ने जोहॉन्सबर्ग के ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में युद्ध खत्म करने का ऐलान भी किया था।
रूस ने भले ही यूक्रेन को हराने के लिए अपनी पूरी ताकत झोंक दी है। मगर अमेरिकी यूक्रेन युद्ध जीतने के लिए पुतिन की राह का बड़ा रोड़ा बनकर खड़ा है। युद्ध के आरंभ से ही अमेरिका यूक्रेन को लगातार रक्षा पैकेज देता आ रहा है। जो बाइडेन ने फिर यूक्रेन को 60 करोड़ डॉलर का नया रक्षा पैकेज दिया है।
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