सुप्रीम कोर्ट ने पिछले हफ्ते आधिकारिक परिणामों को चुनौती देने वाली याचिकाओं को खारिज कर दिया था।
जब मतपेटियां और मतपत्र राज्यों की राजधानियों में पहुंच जाते हैं, तो इन्हें पहले से निरीक्षण किए गए और ठीक से सील किए गए स्ट्रांग रूम में रखा जाता है और प्रक्रिया की वीडियोग्राफी की जाती है।
द्रौपदी मुर्मू ने कहा, “मैंने सुभद्रा (बहन) की तरह जगन्नाथ (पटनायक) की कलाई में राखी बांधी थी। बहन के कुछ मांगने से पहले, भाई ने उसे समर्थन देने की घोषणा कर दी।” उन्होंने कहा, ओडिशा की इस बेटी के प्रति उनके व्यवहार के लिए मैं उनकी ऋणी रहूंगी।
President Election: राष्ट्रपति पद के लिए बीजेपी नीत एनडीए उम्मीदवार द्रोपदी मुर्मू ने तमिलनाडु में बीजेपी के सहयोगी दलों से मुलाकात की और उनका समर्थन मांगा।
President Election: विनोद ने कहा कि देश के 10 राज्यों के सांसदों से मेरी बात हुई है। सभी ने मेरा समर्थन करने का भरोसा दिया है।
विपक्ष को एकजुट करने में लगी पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी को बड़ा झटका लगा है। दिल्ली में हुई इस बैठक से कई विपक्षी दलों ने दूरी बना ली है। केजरीवाल की आम आदमी पार्टी ने भी ममता की मीटिंग से किनारा कर लिया।
दोनों सदनों के वर्तमान कुल 772 सदस्यों में, भाजपा के पास बहुमत है। चूंकि लोकसभा में अभी तीन और राज्यसभा में 13 सीट खाली हैं, लिहाजा चुनाव की तारीख तक इन आकंड़ों में बदलाव होना लाजिमी है।
President Election: राष्ट्रपति कोविंद का कार्यकाल 24 जुलाई को समाप्त हो रहा है और उनके उत्तराधिकारी को इससे पहले नियुक्त किया जाएगा। चुनाव के लिए अधिसूचना 15 जून को जारी की जाएगी और 29 जून नामांकन पत्र दाखिल करने की आखिरी तारीख होगी।
मायावती ने आरोप लगाया कि भाजपा और आरएसएस ने उनके समर्थकों को गुमराह करने के लिए यह झूठा प्रचार किया था कि अगर उत्तर प्रदेश विधानसभा में भाजपा को जीतने दिया गया, तो उनकी बहन जी (मायावती) को राष्ट्रपति बनाया जाएगा।
ममता बनर्जी ने कहा कि जिनके पास देश में कुल विधायकों की संख्या का आधा भी नहीं है, उन्हें बड़ी बात नहीं करनी चाहिए क्योंकि विधानसभा चुनावों में हार के बावजूद समाजवादी पार्टी जैसी पार्टियां पिछली बार की तुलना में मजबूत हैं।
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का कार्यकाल 24 जुलाई को समाप्त होगा और 10 मार्च को उत्तर प्रदेश, पंजाब, उत्तराखंड, मणिपुर और गोवा विधानसभाओं के चुनाव परिणाम फैसला करेंगे कि राष्ट्रपति पद के चुनाव में किस पार्टी या गठबंधन की निर्णायक भूमिका होगी।
नीतीश कुमार के राष्ट्रपति उम्मीदवार बनने की चर्चा के बाद राज्य की सियासत एकबार फिर गर्म हो गई है। हालांकि नीतीश कुमार दोनों मामले में दिलचस्पी नहीं होने की बात कहकर इन चर्चाओं को नकारते रहे हैं।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, प्रशांत किशोर ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात के दौरान उनके सामने इसका प्रस्ताव रखा है। प्रशांत किशोर राष्ट्रपति पद के लिए नीतीश कुमार की उम्मीदवारी चाहते हैं और नीतीश के समर्थन के लिए दूसरे दलों के नेताओं से भी संपर्क साधा है।
एनसीपी नेता ने दावा किया कि भाजपा को पांचों राज्यों- उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, गोवा और मणिपुर में विधानसभा चुनाव में हार का सामना करना पड़ेगा। उन्होंने यह भी कहा कि उत्तर प्रदेश में भगवा पार्टी को 403 सदस्यीय विधानसभा के लिए चुनाव में 150 से कम सीटें मिलेंगी।
दक्षिणी राज्यों और महाराष्ट्र में 200 से अधिक लोकसभा सीटें हैं, जो अगले लोकसभा चुनावों में महत्वपूर्ण हो सकती हैं और राज्यों में बड़े निर्वाचक मंडल हैं, क्योंकि संसद और राज्यों में इसका आधा हिस्सा है और यदि क्षेत्रीय दल मिलकर काम करते हैं, तो इसकी संभावना नहीं है कि राष्ट्रपति चुनाव में भाजपा की राह आसान होगी।
लीबिया के पूर्व तानाशाह के बेटे सैफ ने 14 नवंबर को त्रिपोली की राजधानी से 650 किमी (400 मील) दक्षिण में सभा शहर में अपनी उम्मीदवारी के कागजात जमा किए। यह पहली बार है जब 49 वर्षीय सैफ अल-इस्लाम वर्षों बाद सार्वजनिक रूप से सामने आये।
कई सालों में यह पहली बार है जब अल-इस्लाम सार्वजनिक रूप से सामने आए। गद्दाफी के बेटे को 2011 हुए विद्रोह के दौरान पकड़ा गया था और जब उनके पिता को 40 साल सत्ता में रहने के बाद हटा दिया गया था। गद्दाफी को बाद में मार दिया गया था।
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने व्हाइट हाउस से जाने के बाद पहली बार प्रचार मुहिम अंदाज में शनिवार को की गई अपनी रैली में राष्ट्रपति पद के चुनाव में गड़बड़ी के आरोप फिर से लगाए और डेमोक्रेटिक पार्टी के शासन में देश का भविष्य चिंताजनक होने की आशंका जताई।
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दावा किया है कि अगर पूर्व उपराष्ट्रपति जो बाइडन और कैलिफोर्निया की सीनेटर कमला हैरिस उन्हें हरा देते हैं और शीर्ष पद पर काबिज हो जाते हैं, तो हैरिस बाइडन की बॉस होंगी।
आतंकवादी संगठन ने चुनावी रैलियों और चुनावी दफ्तरों को निशाना बनाने के लिये आत्मघाती हमले किए। जिनमें बड़ी संख्या में लोग मारे गए। इसको देखते हुए अफगान अधिकारियों ने सुरक्षा की पुख्ता तैयारियां की हैं।
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