पितृ पक्ष के दौरान पूर्वजों को याद किया जाता है, उन्हें प्रसन्न करने के लिए श्राद्ध और दान इस अवधि में करते हैं। लेकिन कुछ ऐसी वस्तुएं हैं जिनको खरीदना पितृपक्ष में अच्छा नहीं माना जाता, आज हम आपको इन्हीं वस्तुओं की जानकारी अपने इस लेख में देंगे।
पितृ पक्ष के दौरान तीर्थ स्थलों पर श्राद्ध और तर्पण बहुत से लोग करते हैं। लेकिन अगर आप तीर्थ स्थलों पर न जा सकें तो घर पर कैसे श्राद्ध कर सकते हैं, आज हम आपको इसके बारे में बताएंगे।
पितृ पक्ष के दौरान हम अपने पूर्वजों के निमित्त श्राद्ध, तर्पण, दान आदि करते हैं। ऐसे में अगर कभी हमारे सपने में पूर्वज आएं तो इसका असल जीवन में क्या अर्थ लगाया जाता है, आइए जानते हैं।
पितृ पक्ष के दौरान पितरों के निमित्त दीपक जलाने से कई शुभ परिणाम आपको प्राप्त हो सकते हैं। हालांकि आपको दीपक जलाने की सही जगह पता होनी चाहिए, आज हम आपको इसी बारे में जानकारी देने जा रहे हैं।
Pitru Paksha 2024: भाद्रपद माह का 15 दिन पितरों को समर्पित होता है। इन दिनों को पितृ पक्ष कहा जाता है। पितृ पक्ष में पितरों का तर्पण और श्राद्ध किया जाता है। पूर्वजों का आशीर्वाद के लिए गरीबों, जानवर और पक्षियों को भोजन भी कराया जाता है।
Pitra Dosh: अगर किसी जातक की कुंडली में पितृ दोष रहता है तो उसे कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ता है। तो यहां जानिए कि पितृ दोष के लक्षण क्या होते हैं और इससे छुटकारा पाने के उपाय क्या है।
पितृ दोष किन वजहों से लगता है और पितृ पक्ष के दौरान किन कार्यों को करने से पितृ दोष से मुक्ति मिल सकती है, आइए जानते हैं।
Pitru Paksha 2024: कुछ ऐसे संकेत हैं जो अगर पितृपक्ष से पहले आपको मिल रहे हैं, तो ये पितृदोष का कारण हो सकते हैं। इन्हें दूर करने के लिए आपको क्या कार्य करने चाहिए, आइए जानते हैं।
September 2024 Vrat-Tyohar: तीज-त्यौहार के लिहाज से सितंबर का महीना अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है। इस माह में कई तीज-त्यौहार आएंगे। तो यहां देखें सितंबर माह के व्रत-त्यौहार की पूरी लिस्ट।
Pitru Paksha 2023: पितृ पक्ष के दौरान पितरों की आत्मा की शांति के लिए श्राद्ध किया जाता है। मान्यताओं के मुताबिक, पितृ पक्ष में पितरों के तर्पण और श्राद्ध कर्म करने से उनको मोक्ष की प्राप्ति होती है। आइए ज्योतिषि चिराग बेजान दारूवाला से जानते हैं कि पितरों का तर्पण कैसे करना चाहिए।
Pitru Paksha 2023: पितृ दोष से मुक्ति और पूर्वजों का आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए पितृ पक्ष के दौरान इन नियमों का ध्यान रखना बेहद जरूरी है। ऐसे नहीं करने पर आपसे पितृ नाराज हो सकते हैं।
Pitru Paksha 202 Date: हिंदू धर्म में पितृ पक्ष का विशेष महत्व है। इस दौरान श्राद्ध कर्म या पिंडदान करने से पूर्वज प्रसन्न होते हैं और उनका आशीर्वाद प्राप्त होता है। पितृ पक्ष में ब्राह्मण या जरूरतमंद को अन्न, धन्न और वस्त्र का दान करना चाहिए।
Mahalaya 2022: महालया, सर्व पितृपक्ष के आखिरी दिन को अमावस्या पड़ती है। इस दिन आपने पितरों को पूरी श्रद्धा के साथ विदा किया जाता है।
Pitru Paksha 2022: पितृपक्ष की शुरुआत हो गई है। हिंदू धर्म में पितृपक्ष का काफी महत्व माना जाता है। अपने पूर्वजों का आशीर्वाद पाने के लिए पूरे मन और विधि-विधान के साथ श्राद्ध कर्म किया जाता है।
Pitru Paksha 2022: पितरों का तिरस्कार करने से वो नाराज हो जाते हैं और घर में अशुभ घटनाएं घटती हैं।
Pind daan in Gaya: गया में पिंडदान करने का अलग महत्व है। यहां पिंडदान करने से मृत आत्मा को स्वर्ग की प्राप्ति होती है। साथ ही उसकी आत्मा को मोक्ष की प्राप्ति होती है।
आश्विन मास में कृष्ण पक्ष की एकादशी को इंदिरा एकादशी कहते हैं। इस बार ये इंदिरा एकादशी 13 सितंबर को है। जानें इंदिरा एकादशी के व्रत का शुभ मुहूर्त और नियम और कथा।
इस बार श्राद्ध छह सितंबर से शुरू होंगे। 15 दिन बाद 20 सितंबर यानी बुधवार को सर्व पितृ अमावस्या पर श्राद्ध का समापन होगा। पितृपक्ष में गया शहर का क्या महत्व है, यहां जानिए...
धर्म डेस्क: श्राद्ध (Shradh) शुरू हो गए हैं। इस दौरान घर के बड़े सदस्य अपने पितरों के श्राद्ध मनाकर उनकी आत्मा को शांति देंगे। पितृ पक्ष के पूरे 16 दिनों के दौरान श्राद्ध की इन तिथियों के मुताबिक श्राद्ध देंगे। जानिए आखिर श्राद्ध के समय तर्पण और पिंडदान क्यों है जरुरी। इसके साथ ही जानें किस तरह करना होता है शुभ।
आज के दिन कृतिका नक्षत्र भी है। आचार्य इंदु प्रकाश के अनुसार गरुड़ पुराण में बताया गया है कि कुछ ऐसे नक्षत्र हैं, जिनमें किसी पूर्वज के स्वर्गवास की तिथि के अलावा भी श्राद्ध कार्य करके लाभ उठाया जा सकता है और कृतिका नक्षत्र उन नक्षत्रों में से एक है।
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