फिलिपीन दक्षिण चीन सागर में अपने देश के विशिष्ट आर्थिक क्षेत्र (ईईजेड) में चीनी मौजूदगी को बार बार चुनौती देता रहा है और आगे भी ऐसा करेगा। भारत की चार दिवसीय यात्रा पर आए मनालो ने कहा था कि दक्षिण चीन सागर के लिए आसियान (दक्षिण पूर्व एशियाई देशों के संघ) के 10 देश और चीन आचार संहिता तैयार करने में जुटे हुए हैं।
भारत और फिलीपींस के बीच मजबूत रक्षा साझेदारी से चीन में चिंता छाने लगी है। दरअसल चीन अभी तक दक्षिण चीन सागर में फिलीपींस से लेकर वियतनाम, ब्रुनेई, ताईवान, मलेशिया जैसे देशों पर दादागिरी दिखाता रहा है। वियतनाम को हाल ही में भारत ने युद्धपोत गिफ्ट में दिया है। अब फिलीपींस से रक्षा गठबंधन ने चीन में खलबली मचा दी है।
फिलीपींस के विदेश मंत्री का भारत दौरा ऐसे वक्त में हो रहा है, जब अभी कुछ दिन पहले ही हिंदुस्तान ने चीन के दुश्मन वियतनाम को अपनी तरफ से एक युद्ध पोत समुद्री सुरक्षा के लिए से गिफ्ट में दिया है। अब फिलीपींस के साथ भी समुद्र, रक्षा और नौवहन को लेकर द्विपक्षीय सहयोग पर बात हो रही है। इससे चीन को दौरा पड़ने लगा है।
फिलीपींस में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 6.2 मापी गई है। भूकंप का केंद्र हुके में सतह से करीब 120 किलोमीटर की गहराई पर था।
फिलीपींस के सैंटो डोमिंगो में मायोन ज्वालामुखी अचानक लावा राख उगलने लगा है। ज्वालामुखी का उग्र रूप देखकर स्थानीय लोगों में दहशत फैल गई है। अब तक 15 हजार से भी अधिक लोग घर छोड़कर सुरक्षित स्थानों की ओर पलायन कर गए हैं।
दक्षिण चीन सागर पर अपना आधिपत्य जमाने वाले चीन ने एक बार फिर दादागीरी दिखाई है। इस बार चीन ने दक्षिण चीन सागर में फिलीपींस का एक जहाज रोक लिया है। इससे दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ गया है। जबकि इससे कुछ दिनों पहले ही चीन ने फिलीपींस से अपने रिश्ते सुधारने की पहल करने का दावा किया था।
ताइवान पर तकरार के बीच चीन अब फिलीपींस को किसी फांस में फंसाने से बच रहा है। इस तनावपूर्ण हालात में वह फिलीपींस से पंगा नहीं लेना चाहता। ड्रैगन को ऐसा करने पर अमेरिका का डर सता रहा है। इसलिए चीन ने अब फिलीपींस से रिश्ते सुधारने की पहल शुरू कर दी है।
अमेरिका और फिलिपींस ने दक्षिण चीन सागर में बड़ा जंगी अभ्यास शुरू कर दिया है। इस बीच चीन के राष्ट्रपति ने देश के सशस्त्र बलों को अपनी ट्रेनिंग एक असली जंग की तरह करने का आदेश दिया है। यह जानकारी चीनी मीडिया ने दी।
चीन की कड़ी आपत्ति के बावजूद फिलीपींस सरकार ने सोमवार को चार नए स्थानीय सैन्य क्षेत्रों की पहचान की, जहां अपने साजो सामान के साथ अमेरिकी सैन्यकर्मियों को बारी बारी से अनिश्चित काल तक रहने दिया जाएगा।
चीन का दुश्मन फिलीपींस इन दिनों भारत के प्रमुख रक्षा साझेदारों के रूप में उभर रहा है। यह बात चीन को बेहद नागवार गुजर रही है। मगर इस दौरान शुक्रवार को नई दिल्ली में भारत और फिलीपींस के बीच चौथी संयुक्त रक्षा सहयोग समिति की अहम बैठक हुई है।
फिलिपींस के मस्बेट प्रांत में भूकंप आया है। यूनाइटेड स्टेट्स जियोलॉजिकल सर्वे के अनुसार रिक्टर पैमाने पर भूकंप की तीव्रता 6.1 आंकी गई है, लेकिन फिलहाल, नुकसान या हताहतों की कोई जानकारी सामने नहीं आई है।
सोमवार को लाईबेरिया के झंडे वाला मालवाहक जहाज ‘आइरीन रे’ श्रीलंका से पाकिस्तान जा रहा था, और इसी दौरान फिलीपींस के नागरिक को चोट लग गई।
फिलीपींस तटरक्षक ने एक बयान में कहा कि फिलीपींस के कब्जे वाले दूसरे थॉमस शोल के पास छह फरवरी को फिलीपीन तटरक्षक के बीआरपी मलपास्कुआ गश्ती जहाज को रोकने के लिए चीनी तटरक्षक जहाज खतरनाक तरीके से उससे लगभग 150 गज की दूरी पर आ गया था।
रक्षामंत्री लॉयड ऑस्टिन ने गुरुवार को फिलिपींस की राजधानी मनीला पहुंचे और फिलीपींस के राष्ट्रपति बोंगबोंग मार्कोस से मुलाकात की। चीन के लिए यह बहुत बड़ा झटका है। इस समझौते को अमेरिका का चीन के खिलाफ एक मजबूत कदम माना जा रहा है।
Teen Pregnancy in Philippines: फिलीपींस में नाबालिगों के गर्भवती होने की घटना से पूरी दुनिया हैरान है। संयुक्त राष्ट्र संघ ने भी इस रिपोर्ट को लेकर चिंता जाहिर करने के साथ ही इसे कम करने के उपायों पर जोर दिया था। शिक्षा और जागरूकता में कमी के चलते फिलीपींस में नाबालिगों के गर्भवती होने का चलन रहा है।
फिलीपींस में पिछले साल भयानक तूफान आया था, जिसने बड़े पैमाने पर कृषि को तबाह कर दिया था। विदेशों से लोग सूटकेस में भरकर प्याज की तस्करी कर रहे हैं।
India Vs China : चीन ने अपनी विस्तारवादी नीति और खोटी नीयत के चलते सिर्फ भारत के साथ ही नहीं, बल्कि कई अन्य देशों के साथ भी रिश्तों को बेहद तनावपूर्ण बना रखा है। इसमें भारत के अलावा ताईवान से लेकर फिलीपींस, मलेशिया, वियतनाम, जापान, नेपाल, भूटान, लाओस, दक्षिण कोरिया, हांगकांग, मकाऊ जैसे 20 देशों के साथ चीन विवाद है।
US China Philippines: कमला हैरिस के फिलीपींस दौरे से अमेरिका और चीन के बीच एक बार फिर तनाव बढ़ सकता है। जो हाल में ही दोनों देशों के राष्ट्रपति जो बाइडेन और शी जिनपिंग की मुलाकात के बाद कम होता नजर आ रहा था।
सुरक्षा के लिहाज से जिन इलाकों में बाढ़ या भूस्खलन की संभावना है वहां से भी लोगों को निकालकर सुरक्षित जगहों पर ले जाया जा रहा है। फिलीपींस की सरकार के साथ ही स्थानीय संस्थाएं और लोग भी एक दूसरे की मदद में लगे हुए हैं।
Philippines & US in South China Sea: अमेरिका और चीन के बीच ताइवान पर तनाव का दौर जारी है। ताइवान पर अमेरिका जिस तरह से लगातार दखलंदाजी कर रहा है और चीन उसे रोकने का प्रयास कर रहा है, उससे दोनों देशों में युद्ध की स्थिति बनती जा रही है।
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