लद्दाख में सीमा पर भारत और चीन की सेनाओं का आक्रामक रुख बरकरार है और आने वाले कुछ दिनों में इस गतिरोध को खत्म करने का समाधान तलाशने के लिये बातचीत के कई दौर होंगे। इसी मुद्दे पर दोनों पक्ष आज एक और दौर की मेजर जनरल स्तर की वार्ता करने वाले हैं।
विशेषज्ञ ने कहा है कि भारत के पास पठार और पर्वतीय इलाकों के मामले में विश्व में सबसे बड़ी और सर्वाधिक अनुभवी सैन्य टुकड़ी है जो तिब्बत सीमा पर इस तरह के क्षेत्र में उपयुक्त कुछ सर्वश्रेष्ठ हथियारों से लैस है।
जो क्षेत्र अभी तक भारतीय नियंत्रण में हैं, वहां चीनी सैनिकों ने शिविर लगाकर यथास्थिति को बदलने का प्रयास किया है। इससे पहले दोनों देशों के मेजर जनरल रैंक के अधिकारियों के बीच दो जून को वार्ता हुई थी, जिसका कोई निर्णय नहीं निकल पाया था।
पैंगोंग झील के उत्तरी किनारे पर विवादित फिंगर 5 से फिंगर 8 इलाके में 15 अगस्त 2017 को भी दोनों देशों के सैनिकों में झड़प हुई थी, जिसमें पत्थरों और लोहे के रॉड्स का भी एक दूसरे के खिलाफ इस्तेमाल किया गया था।
चीन ने सोमवार को भारतीय सैनिकों पर 15 अगस्त को लद्दाख की पंगोंग झील में एक गतिरोध के दौरान उसके सैनिकों के खिलाफ हिंसक कार्रवाई का आरोप लगाया और भारत के समक्ष विरोध दर्ज कराया।
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