मलेशिया ने वर्ष 2023 में भारत को 28.4 लाख टन पाम तेल का निर्यात किया था। मलेशियाई पामतेल क्षेत्र को बाजार की गतिशीलता, व्यापार नीतियों और पर्यावरण संबंधी चिंताओं को बदलने से चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है।
इंडोनेशिया और मलेशिया भारत को रिफाइंड पामोलिन और सीपीओ के प्रमुख आपूर्तिकर्ता हैं, जो मुख्य रूप से अर्जेंटीना और ब्राजील से सोया तेल और रूस, रोमानिया, यूक्रेन और अर्जेंटीना से सूरजमुखी तेल का आयात करता है।
भारत दुनिया का सबसे बड़ा खाद्य तेल उपभोक्ता और आयातक देश है। एक साल पहले कुल खाद्य तेल आयात 11.35 लाख टन था। ग्लोबल बाजार में पाम तेल सूरजमुखी तेल की तुलना में 70 डॉलर प्रति टन अधिक महंगा हो गया है।
पाम तेल की खेती पर अस्थाना ने कहा, ‘‘हमारे पास लगभग 64,000 हेक्टेयर जमीन है। हमारे पास पहले से ही एक बड़ा कारोबार है।
मंदी की चपेट में जूझती दुनिया के बीच भारत में महंगाई पर लगाम लगाई जा रही है। सरकार के शानदार नीतियों और मजबूत इरादों के बदौलत आज महंगाई दर कम हुआ है। इस बीच सरकार ने खाने की चीजों से जुड़े प्रोडक्ट की खरीद में भी बढ़ोतरी की है।
बता दें कि भारत में खाने के तेल का आयात मुख्यत: इंडोनेशिया से होता है। इंडोनेशिया ने पिछले महीने निर्यात पर प्रतिबंध लगाया था, जिससे भारत में कीमतों में तेज उछाल आ गया था।
भारत में खाने के तेल में पाम ऑयल की मिक्सिंग की जाती है। इसके अलावा पाम ऑयल का इस्तेमाल डिटर्जेंट, कॉस्मेटिक, लिपस्टिक, साबुन-शैम्पू, टूथपेस्ट और बायो फ्यूल के तौर पर किया जाता है।
भारत अपने कुल आयात का 70 फीसदी पाम ऑयल इंडोनीशिया से खरीदता है। वहीं 30 फीसदी मलेशिया से खरीदता है। मौजूदा वक्त में भारत करीब 90 लाख टन पाम तेल का आयात करता है।
खाद्य तेल- तेल पॉम के राष्ट्रीय मिशन के तहत पॉम तेल की खेती करने वालों के लिये जरूरी सामान के वास्ते सहायता को दुगुना कर 29 हजार रुपये प्रति हेक्टेयर किया है
सरकार ने आंकलन किया है कि देश का कुल लगभग 28 लाख हेक्टेयर क्षेत्रफल और अकेले उत्तर पूर्व में लगभग 9.62 लाख हेक्टेयर क्षेत्र पाम ऑयल की खेती के लिए उपयुक्त है।
भारत मुख्यता इंडोनेशिया और मलेशिया से पाम तेल का आयात करता है और सोयाबीन तेल सहित क्रूड सॉफ्ट ऑइयल की एक छोटी से मात्रा का आयात अर्जेंटीना से किया जाता है।
आज भारत कृषि निर्यात के मामले में पहली बार दुनिया के टॉप 10 देशों में पहुंचा है। कोरोना काल में ही देश ने कृषि निर्यात के नए रिकॉर्ड बनाए हैं।
कच्चे पाम तेल पर मूल सीमा शुल्क को घटाकर 10 प्रतिशत और अन्य पाम तेल पर 37.5 प्रतिशत कर दिया है। यह कटौती 30 सितंबर 2021 तक लागू रहेगी।
मलेशिया के द्वारा पाकिस्तान का पक्ष लेने और भारत के घरेलू मामलें में बयान बाजी के बाद भारत ने पाम तेल के आयात पर सख्त रुख अपनाया था। जिसके जबाव में पाकिस्तान ने मलेशिया से पाम तेल की खरीद बढ़ा दी। हाल ये है कि अब आयात बिल बढ़ने के साथ पाकिस्तान का सरकारी घाटा भी बेकाबू होने जा रहा है।
रबी सीजन के दौरान देश में तिलहन का रिकॉर्ड उत्पादन हुआ है और साथ में खरीफ सीजन में भी रिकॉर्ड उत्पादन का अनुमान है। लेकिन भारत में जितना तिलहन पैदा होता है उससे खाने के तेल की 30-35 प्रतिशत ही जरूरत पूरी होती है
मार्च के दौरान आरबीडी पामोलीन का आयात 90 प्रतिशत घटा है।
भारत ने (नेपाल, इंडोनेशिया और बांग्लादेश) तीन देशों से लगभग पांच लाख टन रिफाइंड पाम तेल आयात करने के लिए 70 लाइसेंस जारी किए हैं।
चीन में कोरोना वायरस का प्रकोप गहराने से दुनियाभर के बाजारों में मंदी का माहौल है, जिससे कृषि उत्पाद बाजार भी प्रभावित हुआ है।
एफएमसीजी कंपनी हिंदुस्तान यूनिलीवर (एचयूएल) चरणबद्ध तरीके से साबुन की कीमतों में छह प्रतिशत की बढ़ोतरी करेगी।
मलेशिया के प्रधानमंत्री महातिर मोहम्मद ने सोमवार को साफ किया कि उनका देश अपने पाम ऑइल के आयात का बहिष्कार किए जाने पर भारत के खिलाफ कोई जवाबी कार्रवाई नहीं करेगा।
संपादक की पसंद
लेटेस्ट न्यूज़