साल 2020 में पालघर के गढ़चिंचले गांव में साधुओं की मॉब लिंचिंग हुई थी। ग्रामीणों ने दो साधुओं और उनके ड्राइवर की पीट-पीट कर हत्या कर दी थी। 2 अप्रैल को भी ऐसी ही एक घटना होते-होते बची। वांगांव इलाके में दो साधुओं को वहां के लोगों ने बच्चा चोर समझकर घेर लिया था।
Viral News: देश के कई हिस्सों से बच्चा चोरी करने के शक में आम लोगों को पीटे जाने की खबरें लगातार सुर्खियों में आ रही हैं। इस तरह के कई मामले सामने आए और जब जांच किया गया तो आरोपी निर्दोष निकला।
महाराष्ट्र सीआईडी ने 2 साधुओं और उनके ड्राइवर की भीड़ द्वारा पीट-पीटकर हत्या किए जाने के मामले में 208 नए अभियुक्तों को नामित किया है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, सीआईडी ने इनमें से 50 को गिरफ्तार गिरफ्तार भी कर लिया है।
अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की संदिग्ध मौत की सीबीआई जांच शुरू होने के बाद विश्व हिंदू परिषद ने अब महाराष्ट्र में चार महीने पहले हुई दो साधुओं सहित तीन लोगों की हत्या की भी सीबीआई जांच की मांग की है।
विश्व हिंदू परिषद (VHP) ने जनता से अपील की है कि वे पालघर हिंसा में हुई दो संतों की मौत के मामले में 28 अप्रैल शाम सात बजे एक मिनट का मौन रखें।
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC) ने महाराष्ट्र के पालघर में हुई मॉब लिंचिग के मामले पर राज्य के DGP को नोटिस जारी किया है।
महाराष्ट्र की पुलिस सोशल मीडिया पर वीडियो वायरल होने के बाद ही कार्रवाई क्यों की और उसके पहले 3 दिन तक खामोश क्यों रही? यदि वहां लॉकडाउन लागू था तो साधुओं की लिंचिंग के लिए लगभग 300 लोगों की भीड़ कैसे इकट्ठा हो गई?
राज्य सरकार के गृह मंत्री अनिल देशमुख ने रविवार को कहा कि महाराष्ट्र सरकार ने पालघर में भीड़ की घटना की उच्च-स्तरीय जांच का आदेश दिया है, जिसमें गुरुवार रात तीन लोग मारे गए थे।
संपादक की पसंद