परमाणु प्रतिक्रिया के संकेत देकर पुतिन ने उन आशंकाओं को बल दे दिया है कि यूक्रेन में जारी लड़ाई आगे चलकर रूस और अमेरिका के बीच परमाणु युद्ध में तब्दील हो सकती है।
वाशिंगटन। अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन के प्रशासन ने शुक्रवार को ईरानी परमाणु कार्यक्रम के लिए प्रतिबंधों में कुछ राहत बहाल की। ईरान और विश्व के कुछ शक्तिशाली देशों के बीच हुए 2015 के परमाणु समझौते को बचाने के उद्देश्य से जारी वार्ता के एक महत्वपूर्ण चरण में प्रवेश करने के बीच यह राहत प्रदान की गई है।
‘‘यदि हम वार्ता प्रक्रिया में ऐसे चरण पर पहुंचते हैं, जहां ठोस गारंटी के साथ अच्छा समझौता करने के लिए अमेरिकियों से वार्ता करने की आवश्यकता होगी, तो हम इसे नजरअंदाज नहीं करेंगे।’’
‘‘यदि हम वार्ता प्रक्रिया में ऐसे चरण पर पहुंचते हैं, जहां अच्छी गारंटी के साथ अच्छा समझौता करने के लिए अमेरिकियों के साथ वार्ता करने की आवश्यकता होगी, तो हम इसे नजरअंदाज नहीं करेंगे।’’
उत्तर कोरिया ने परमाणु हथियारों और लंबी दूरी की मिसाइलों का परीक्षण फिर से शुरू करने का संकेत दिया है।
एक आतंकवाद विरोधी विशेषज्ञ ने कहा, "मुझे लगता है कि यह एक वास्तविक चिंता है। हमें पाकिस्तानी अधिकारियों से नियमित रूप से आश्वासन मिलता है कि उनके पास परमाणु हथियार कड़े नियंत्रण में हैं, लेकिन चिंता की बात तो है।"
अमेरिका के पास अभी 3,750 परमाणु हथियार हैं और इसे बढ़ाने की उसकी कोई योजना नहीं है। 2003 तक अमेरिका के परमाणु हथियारों की कुल संख्या लगभग 10,000 थी।
ईरान के परमाणु कार्यक्रम को इजराइल मौजूदा खतरा मानता है और उसने ईरान की परमाणु महत्वाकांक्षाओं को नाकाम करने का संकल्प लिया है।
भारत ने सोमवार को इस बात को रेखांकित किया कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय को परमाणु हथियारों, उनकी आपूर्ति प्रणाली, कलपुर्जों और संबंधित प्रौद्योगिकियों के नेटवर्कों के अवैध प्रसार पर ध्यान देने की जरूरत है।
दरअसल, भारत की अग्नि-5 मिसाइल की पहुंच में पूरा चीन है। इसलिए भारत की अग्नि-5 मिसाइल चीन के लिए चिंता का विषय है। यह मिसाइल बेहद शक्तिशाली है, और 5,000 किलोमीटर तक मार कर सकती है।
ईरान के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी ने फ्रांस के अपने समकक्ष इमैनुएल मैक्रों के साथ फोन पर बातचीत के दौरान वैश्विक शक्तियों के साथ हुए तेहरान के परमाणु समझौते को पुनजीर्वित करने के लिए फिलहाल रुकी हुई वार्ताओं में ईरान के अधिकार सुरक्षित रखने में मदद करने का आग्रह किया।
ईरानी अधिकारियों ने राजधानी तेहरान के निकट असैन्य परमाणु केंद्र को ‘नुकसान पहुंचाने वाले हमले’ को नाकाम कर दिया है।
भारत परमाणु शस्त्रों के मामले में अपने चिर प्रतिद्वंदियों, चीन और पाकिस्तान से पीछे है। स्टॉकहोम इंटरनैशनल पीस इंस्टिट्यूट (SIPRI) ने सोमवार को ताजा आंकड़े जारी किए हैं जिनके अनुसार, चीन के पास अभी 350, पाकिस्तान के पास 165 जबकि भारत के पास 156 परमाणु शस्त्र हैं।
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने देश की रक्षा करने में इसकी परमाणु क्षमता पर शनिवार को पूरा भरोसा जताया। खान ने सामरिक बल कमान के एक परमाणु केन्द्र का दौरा किया, जो परमाणु सामग्री की सुरक्षा के लिए जिम्मेदार है।
खबरों के मुताबिक इजरायल की खुफिया एजेंसी मोसाद के खुफिया दस्ते ने बम विस्फोट करके ईरान के मुख्य परमाणु संयंत्र नातान्ज के बिजली आपूर्ति व्यवस्था को बुरी तरह से तबाह कर दिया है।
के-2 पाकिस्तान में पहला न्यूक्लियर पावर प्लांट है और इसकी उत्पादन क्षमता 1100 मेगावॉट है, जो निश्चित रूप से देश की अर्थव्यवस्था को सुधारने में मदद करेगा।
रक्षा मंत्री बेंजी गाट्ज ने अमेरिकी समाचार चैनल ‘फॉक्स न्यूज’ से कहा कि इस्राइल अब भी अपनी योजनाओं पर काम कर रहा है लेकिन ‘फिलहाल सब कुछ हमारे हाथों में है।’
ईरान के एक प्रमुख परमाणु वैज्ञानिक की अज्ञात हमलावरों ने शुक्रवार को हत्या कर दी। चश्मदीदों के मुताबिक, इस घटना में 3-4 हमलावर भी मारे गए हैं।
रूस ने मंगलवार को कहा कि वह परमाणु आयुधों की संख्या को मौजूदा सीमा पर ही बरकरार रखने तथा दोनों देशों के बीच पिछले हथियार नियंत्रण समझौते को एक वर्ष के लिये और बढ़ाने के अमेरिका के प्रस्ताव को स्वीकार करने के लिये तैयार है।
अमेरिका और चीन के बीच उपजे हालिया तनावों के चलते अब दोनों देशों के बीच हथियारों की जंग भी शुरू होती दिखाई दे रही है।
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