शत्रुघ्न सिन्हा ने कहा, "आज 'मीटू' का समय है और इसमें कोई शर्म या संकोच नहीं होनी चाहिए।" शत्रुघ्न सिन्हा ने यह भी कहा कि वह भाग्यशाली हैं कि उनका नाम मीटू आंदोलन में नहीं आया।
साल 2018 खत्म होने वाला है और कुछ ही दिनों में साल 2019 आ जाएगा। यह साल भी कई घटनाओं के लिए हमेशा याद किया जाएगा। 2018 भारत के लिए काफी घटनापूर्ण वर्ष रहा - आपदाजनक बाढ़ और भयानक रेल दुर्घटना और समलैंगिकता को कानूनी स्वीकृति से लेकर MeToo आंदोलन तक भारत ने देखा।
जौहरी को पिछले तीन हफ्ते से छुट्टी पर जाने को बाध्य किया गया लेकिन अब वह काम पर लौट सकते हैं। जांच समिति के एक सदस्य ने हालांकि उनके लिए ‘लैंगिक संवेदनशील काउंसिलिंग’ की सिफारिश की है।
पल्लवी ने अकबर पर निशाना साधते हुए कहा, "एक ऐसा रिश्ता जो खौफ पैदा कर सत्ता का गलत इस्तेमाल कर बनाया जाए तो वह सहमति से बना रिश्ता नहीं होता है।"
कुरुक्षेत्र | 14 अक्टूबर 2018: क्या सफाई से बच जाएगी अकबर की 'सल्तनत'?
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