इस समय भारत और थाईलैंड की आर्मी के बीच अभ्यास मैत्री 2019 किया जा रहा है। ये दोनों सेनाओं के बीच का साझा अभ्यास है जो कि मेघालय के उमरोई में हो रहा है। दोनों देशों के बीच ये 12वीं बार अभ्यास किया जा रहा है।
बताया जा रहा है कि तीन सशस्त्र सीमा गार्ड बांग्लादेश के जवान शनिवार को साइट पर आए और यह कहते हुए काम रोकने का आदेश दिया कि यह स्थान अंतरराष्ट्रीय सीमा से 150 गज की दूरी पर है और निर्माण नियमों का उल्लंघन करता है।
इस राज्य के बीस फरवरी 1987 को बनने के समय से विवादित आफस्पा कानून लागू था। यह कानून असम और केन्द्र शासित प्रदेश मणिपुर में पहले से लागू था।
BJP की तरफ से दी गई जानकारी के मुताबिक छत्तीसगढ़ की 6 सीटों और तेलंगाना, महाराष्ट्र तथा मेघालय की 1-1 सीट के लिए उम्मीदवार घोषित किए गए हैं
भारतीय नौसेना ने रविवार को मेघालय में एक और नरकंकाल बरामद किया जो संभवत: राज्य के पूर्वी जयंतिया पर्वतीय जिले में 370 फुट गहरी कोयला खदान के काफी अंदर तक फंसे एक और लापता खनिक का हो सकता है।
पूर्वोत्तर में नागरिकता विधेयक के बड़े पैमाने पर हो रहे विरोध के बीच नेशनल पीपुल्स पार्टी के अध्यक्ष एवं मेघालय के मुख्यमंत्री कोनराड के संगमा ने धमकी दी है कि अगर यह विधेयक राज्यसभा में पारित होता है तो उनकी पार्टी केंद्र में सत्तारूढ़ राजग से अलग हो जाएगी।
मेघालय के अवैध कोयला खदान में पिछले एक महीने से अधिक समय से खनिक फंसे हुए हैं।
हम आपको बताते एक ऐसी ही जगह के बारें में जहां पर पानी में नाम इस तरह नजर आती है जैसे कि शीशे पर नाव रखी हो। जी हां हम बात कर रहे है मेघालय की। जिसे देश की सबसे साफ नदी 'उमनगोत' का टैग मिला है।
मेघालय में कोयला खदान हादसे को एक महीना बीत जाने के बाद आज नौ सेना के बचाव दल को एक मजदूर का शव मिला है।
मेघालय की खदान में फंसे एक मज़दूर का शव मिला, बचाव कार्य जारी
2019 में BJP को अगर 2014 जैसा प्रदर्शन दोहराना है तो अपनी ताकत बचानी होगी और विपक्ष अगर BJP को हराना चाहता है तो उसे BJP की ताकत छीनकर अपनी ताकत भी बचानी होगी
मेघालय के ईस्ट जयंतिया हिल्स जिले में एक अवैध रैटहोल खदान में अचानक पानी भर जाने से खनिकों के अंदर फंस जाने की घटना को पूरे एक माह हो गए हैं।
मेघालय की जयंतिया पहाड़ी पर एक और अवैध खदान धसक गई। रविवार को हुए इस हादसे में 2 मजदूरों की मौत हो गई है।
राष्ट्रीय हरित अधिकरण (NGT) ने मेघालय में अवैध कोयला खदान पर लगाम लगाने में विफल रहने पर राज्य सरकार पर 100 करोड़ रुपये का शुक्रवार को जुर्माना लगाया।
मेघालय की जयंतिया पहाड़ी स्थित एक खदान में 13 दिसंबर से फंसे मजदूरों को बचाने के लिए राज्य सरकार द्वारा अब तक उठाए कदमों पर सुप्रीम कोर्ट ने नाराजगी जताई है।
खनिक 13 दिसंबर को एक खदान में नजदीकी लैतिन नदी का पानी भर जाने के बाद से अंदर फंसे हैं। ‘रैट होल’ (चूहे का बिल) कही जाने वाली यह खदान पूर्वी जयंतिया हिल्स जिले में पूरी तरह से पेड़ों से ढकी एक पहाड़ी की चोटी पर स्थित है।
मेघालय की 370 फुट गहरी खदान में फंसे 15 मजदूरों को बचाने के लिए रविवार को शुरू हुए अभियान से कोई खास नतीजा नहीं निकल सका क्योंकि भारतीय नौसेना और एनडीआरएफ के गोताखोर खदान की तह तक नहीं पहुंच पाए।
मेघालय की जयंतिया हिल्स की एक खदान में 13 दिसंबर से फंसे 15 मजदूरों के जिंदा होने की उम्मीद अभी भी बाकी है।
ओडिशा दमकल विभाग की एक टीम और विशाखापत्तनम से नौसेना के गोताखोरों की टीम मेघालय में रैट होल कोयला खदान में बाढ़ का पानी भर जाने से उसमें फंसे 15 मजूदरों की तलाश और बचाव अभियान में मदद करने के लिए शुक्रवार को पूर्वोत्तर राज्य के लिए रवाना हो गई।
मेघालय में एक कोयले की खदान में पानी भरने से उसमें पिछले एक पखवाड़े से फंसे 15 लोगों को बचाने के लिए एक निजी कंपनी भी आगे आई है।
संपादक की पसंद