-6.24 में रहने वाली खादी की ग्रोथ को आज 95000 करोड़ से ज्यादा के टर्न ओवर में बदल जा चुका है, यकीन नही होता ना ? खुद सुनिए खादी ग्रामोद्योग के चेयरमैन विनय कुमार सक्सेना से
खादी प्राकृतिक पेंट इस साल जनवरी में लॉन्च किया गया था और इसे किसानों की आय बढ़ाने के उद्देश्य से उतारा गया है। परियोजना प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम के तहत शामिल है।
2015-16 की तुलना में, 2020-21 में खादी और ग्रामोद्योग क्षेत्रों में कुल उत्पादन में 101 प्रतिशत और इसी अवधि के दौरान कुल बिक्री में 128.66 प्रतिशत की वृद्धि हुई है
आईटीबीपी गृह मंत्रालय द्वारा नियुक्त वह नोडल एजेंसी है, जो देश के सभी अर्द्धसैनिक बलों की ओर से सामानों की खरीद करती है।
गृह मंत्रालय ने अर्द्धसैनिक बलों की तरफ से राशन खरीद के लिए आईटीबीपी को नोडल एजेंसी बनाया है।
भारत तिब्बत सीमा पुलिस (ITBP) और खादी विकास एंव ग्रामोद्योग आयोग (KVIC) के बीच बल को आपूर्ति किये जाने वाले उत्पादों के लिए समझौता हुआ है।
केवीआईसी को 10-15 वर्षों में तैयार होने वाले चंदन के पेड़ों से 50 करोड़ रुपए मिलने की उम्मीद है, जबकि बांस के पेड़ों से तीन साल बाद हर साल चार से पांच लाख रुपए मिलने का अनुमान है।
खादी को लोकप्रिय फैशन अपैरल बनाने के लिए पीटर इंग्लैंड और रेमंड्स जैसे लोकप्रिय ब्रांड्स ने खादी और ग्रामोद्योग आयोग के साथ एक समझौता किया है।
एमएसएमई) राज्य मंत्री गिरिराज सिंह का कहना है कि खादी उद्योग में अगले 5 साल के दौरान पांच करोड़ से अधिक लोगों को रोजगार देने की नई योजना सरकार ने बनाई है।
KVIC प्रोडक्ट की डिमांड तेजी से बढ़ती जा रही है। यही कारण है कि, देश में खादी और विलेज प्रोडक्ट की बिक्री 50,000 करोड़ रुपए को पार कर गई है।
KVIC ने हर राज्य में पांच-पांच खादी ग्राम स्थापित करने की आज घोषणा की। इसका उद्देश्य ग्रामीण आबादी को आत्मनिर्भर बना कर गावों से पलायन को रोकना है।
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