कश्मीरी पंडित राहुल भट्ट की हत्या के विरोध में आज जम्मू-कश्मीर में जबरदस्त हंगामा हो रहा है. बडगाम में प्रदर्शन के दौरान बवाल हुआ. मामला बढ़ने पर पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज किया और आंसू गैस के गोले दागे.#RahulBhatt #KashmiriPandit #IndiaTV
बड़गाम स्थित तहसीलदार के दफ्तर में कुछ दिन पहले कश्मीरी पंडित राहुल भट्ट की हत्या कर दी गई थी. इसके बाद आज नाराज सरकारी कर्मचारियों ने जोरदार प्रदर्शन किया. लोगों ने लेफ्टिनेंट ऑफिस जाने की मान की तो पुलिस ने उन पर लाठीचार्ज कर दिया. #JammuKashmir #Kashmir #RahulPandit #KashmirFiles
जम्मू कश्मीर में एक बार फिर कश्मीरी पंडित का खून बहा है.. बडगाम में कश्मीरी पंडित राहुल भट्ट की हत्या से हड़कंप है..Rahul Bhat की हत्या पर बडगाम में प्रदर्शन के दौरान हंगामा, बेखौफ आतंकियों ने तहसील ऑफिस में घुसकर राजस्व अफसर राहुल भट्ट की हत्या कर दी.. दो आतंकियों ने हत्या की वारदात को अंजाम दिया.#Budgam #KashmiriPandit #RahulBhat
घाटी में विरोध प्रदर्शनों का दौर शुरू हो गया। बडगाम से लेकर श्रीनगर तक लोग सड़कों पर उतर पड़े हैं और कश्मीरी पंडितों की हत्या पर विरोध जता रहे हैं।
आतंकवादियों ने चदूरा में तहसील कार्यालय में घुसे और अचानक से ही राहुल भट को गोली मार दी। इस घटना को अंजाम देकर आतंकी घटनास्थल से फरार हो गए।
आपको बता दें कि बिट्टा कराटे कश्मीर घाटी में पंडितों के खिलाफ नरसंहार का चेहरा रहा है। उसने एक वीडियो शो में यह कबूल किया कि सतीश टिक्कू उसके हाथ से मारे गए पहले कश्मीरी पंडित थे।
जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारियों के अनुसार, 2015 से बड़ी संख्या में कश्मीरी युवा उच्च अध्ययन के बहाने, अपने रिश्तेदारों से मिलने या यहां तक कि शादी के उद्देश्य से पाकिस्तान जा रहे हैं।
पाकिस्तान के नए प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बधाई संदेश पर धन्यवाद दिया है।
सोमवार को पाकिस्तान का प्रधानमंत्री चुने जाने के बाद शहबाज शरीफ ने पहले ही भाषण में कश्मीर का मुद्दा उठाया। उन्होंने अनुच्छेद 370 को खत्म करने का जिक्र करते हुए आरोप लगाया कि घाटी में लोगों का खून बह रहा है।
केंद्र सरकार ऐसे लोगों की संपत्ति वापस लौटाने के लिए पूरी तरह से प्रयासरत है और अब तक पोर्टल पर आवेदन करने वाले 610 आवेदकों की संपत्ति वापस की गयी है।
ऐसे लोगों की समस्याओं के समाधान के लिए पिछले साल एक पोर्टल की शुरूआत की है जो अत्याचार के कारण घाटी छोड़ने के लिए विवश हुए और जिनकी संपत्ति जबरन ले ली गई।
बाल कृष्ण के पिता पंडित जानकीनाथ भट ने मंगलवार को अपने घर आए पड़ोसियों से बातचीत की। पड़ोसियों ने परिवार से घाटी न छोड़ने की गुहार लगाई। आज बड़ी संख्या में पड़ोसी भट परिवार से मिलने पहुंचे और अपना समर्थन जताया।
बाल कृष्ण को श्रीनगर के आर्मी हॉस्पिटल में एडमिट किया गया है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, बाल कृष्ण के 3 गोलियां लगी हैं और उनकी हालत नाजुक है। बीते साल अक्टूबर से लेकर अब तक ये दूसरी बार हुआ है, जब किसी कश्मीरी पंडित पर आतंकियों ने हमला किया हो।
दरअसल, अगस्त 2019 में जम्मू कश्मीर पुनर्गठन बिल पर चर्चा के दौरान लोकसभा में गृह मंत्री अमित शाह और कांग्रेस संसदीय दल के नेता अधीर रंजन चौधरी के बीच तीखी बहस हुई थी। इस दौरान अधीर रंजन चौधरी के एक कथन पर गुस्सा जाहिर करते हुए शाह ने आक्रामक अंदाज में कहा था कि कश्मीर के लिए जान भी दे देंगे।
कश्मीर में 1990 के बाद पहली बार इतनी संख्या में कश्मीरी पंडित नवरेह का पर्व मनाने के लिए कश्मीर पहुंचे हैं। 32 साल बाद आज उस माहौल को देखकर कश्मीरी पंडितों की उम्मीदें जाग उठी है और यह यकीन हुआ है कि वह दिन अब दूर नहीं जब एक बार फिर कश्मीर में हिंदू, मुस्लिम और सिख एक साथ रहकर यहां की परंपरा और भाईचारे को फिर से कायम करने में सफल हो जाएंगे।
क्या कश्मीर फाइल्स पर उंगली उठाकर कुछ लोग अपना एजेंडा सेट करना चाहते हैं? कश्मीर फाइल्स पर सवाल उठ रहा है कि क्या मुस्लिम वोट बैंक को खुश करने की कोशिश हो रही है?
हजारों वर्षो तक एक स्वदेशी धार्मिक अल्पसंख्यक के रूप में शांतिपूर्वक रहने के बाद, इन कश्मीरी हिंदुओं से मदद की गुहार विश्व स्तर पर बहरे कानों पर पड़ी। आईसीएचआरएफ ने कश्मीरी पंडितों पर हुए जुल्म को नरसंहार माना है और इसमें शामिल दोषियों को सख्त सजा देने का आह्वान किया है।
मनीष सिसोदिया ने कहा कि बीजेपी को केवल 'कश्मीर फाइल्स' की चिंता है न कि कश्मीरी पंडितों की। सिसोदिया ने आगे कहा कि दिल्ली के सीएम केजरीवाल ने कश्मीरी पंडितों के लिए बहुत कुछ किया है।
केजरीवाल ने कहा, ‘‘पिछले 25 वर्षों में कश्मीरी पंडितों के पलायन के बाद से, पिछले आठ वर्ष समेत 13 वर्ष में केंद्र में भाजपा की सरकारें रही हैं। क्या इस अवधि में किसी कश्मीरी पंडित परिवार का पुनर्वास हुआ है?
फारूक ने कहा, कश्मीरी पंडितों के नरसंहार की जांच के लिए वह आयोग का सामना करने को तैयार। OIC में पाक ने कश्मीर का राग अलापा, लेकिन जम्मू के इन्वेस्टर्स समिट में पहुंचे खाड़ी मुल्कों के कारोबारी। देखिए आज की बात रजत शर्मा के साथ।
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