बिहार की राजनीति कभी भी स्थिर नहीं रहती है। यहां की राजनीति में ज्वार-भाटे आते ही रहते हैं। यहां कब कसी दल के साथ मिल जाए और कब सरकार में बैठा हुआ कोई दल विपक्ष में पहुंच जाए, इसका कोई भी अंदाजा नहीं लगा सकता है।
प्रशांत किशोर 2 अक्तूबर 2022 से लगातार बिहार के गांवों का दौरा कर रहे हैं। उनकी पदयात्रा अबतक 2 हजार किमी से अधिक की दूरी तय कर चुकी है। पश्चिम चंपारण से शुरू हुई पदयात्रा शिवहर, पूर्वी चंपारण, गोपालगंज, सिवान होते हुए इस समय सारण जिले में है।
महागठबंधन में शामिल राजद, कांग्रेस और भाकपा माले सहित अन्य घटकदलों के विधायकों ने विधानसभा परिसर में मार्च निकालकर केंद्र सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। इस प्रदर्शन से हालांकि नीतीश कुमार की पार्टी जदयू अलग रही।
बता दें कि पिछले कुछ महीनों से JDU में काफी उथल-पुथल मची हुई थी, ऐसे में पार्टी उम्मीद कर रही होगी कि नई टीम थोड़ी स्थिरता लेकर आएगी।
सूत्रों के अनुसार, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह सम्राट अशोक की जयंती पर बिहार जा रहे हैं। सासाराम और नवादा में उनकी रैली होगी। कहा जा रहा है कि इस दौरे पर शाह की नजर कुशवाहा वोटों पर है।
जेडीयू अध्यक्ष ललन सिंह ने कहा कि उत्तर प्रदेश में जेडीयू अपनी कार्यसमिति को मजबूत करेगी और आगामी लोकसभा चुनावों के लिए पार्टी को मजबूत करने के लिए काम करेगी।
नागालैंड में अपने एकमात्र विधायक के पार्टी से बिना परामर्श किए भाजपा गठबंधन वाली सरकार को बगैर शर्त समर्थन देने के बाद JDU ने अपनी नागालैंड इकाई को तत्काल प्रभाव से भंग कर दिया।
जमीन के बदले नौकरी घोटाले में कल सीबीआई ने रावादी देवी से पूछताछ की थी, जिसके बाद आज जांच एजेंसी लालू यादव से पूछताछ करने उनकी बेटी मीसा भारती के घर पहुंची है। जहां उनसे सवा दो घंटे की पूछताछ की गयी।
प्रशांत किशोर ने कहा कि मैं कोई नेता नहीं हूं और आगे भविष्य में न ही नेता बनना चाहता हूं। जनसुराज यात्रा के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि यह यात्रा किसी भी दल, व्यक्ति के खिलाफ अभियान नहीं है।
आरा से पूर्व सांसद और भोजपुर की चर्चित नेता मीना सिंह ने जदयू का साथ छोड़ दिया है। जदयू छोड़ने के साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि जनता दल यूनाइटेड को मजबूत करने के लिए हमने हर संभव प्रयास किए। जहां पार्टी को जरूरत पड़ी वहां मौके पर खड़ी रही।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि जो लोग जहरीली शराब पीकर मर रहे हैं, उनके परिजनों को मुआवजा नहीं मिलेगा। मैं बार बार बोल रहा कि शराब मत पियो।
बलियावी ने मुसलमानों से अपील करते हुए कहा कि अगर अब मुसलमान नहीं जागे तो दूसरी कौम शान से जिएगी, और उनकी औलादें अपना नाम भी नहीं बता पाएंगी।
उपेंद्र कुशवाहा ने इस्तीफा देने के बाद अपने अधिकारिक ट्विटर हैंडल से ट्वीट कर लिखा- मुख्यमंत्री जी 'त्वदीयं वस्तु तुभ्यमेव समर्पये। आज मैंने विधान परिषद् की सदस्यता से इस्तीफा सौंप दिया। मन अब हल्का है। चक्रव्यूह से बाहर आ जाने की सुखद अनुभूति हो रही है।
इससे पहले उपेंद्र कुशवाहा ने जेडीयू छोड़ने के बाद कहा था कि पार्टी में कुछ भी संगठनात्मक रूप से ठीक नहीं चल रहा है। उन्होंने कहा कि अब जेडीयू में कुछ भी नहीं है। वह शून्य हो चुकी है। शून्य को तोड़िएगा तो उसमें से क्या निकलेगा।
उपेंद्र कुशवाहा ने जेडीयू नेताओं के तरफ से पहले से ही भाजपा से एलाइनमेंट होने के सवाल पर कहा कि यह सब भी हमने अपने बड़े भाई नीतीश कुमार से सीखा है। जिनको मेरा फैसला ठीक लग रहा है वह मुझसे मिलकर यदि मुझे धन्यवाद दे रहे हैं और मैं उनका आभार प्रकट कर रहा हूं।
उपेंद्र कुशवाहा ने जदयू से दिया इस्तीफा, बनाएंगे नई पार्टी। इसका ऐलान करते हुए उन्होंने नीतीश कुमार पर बड़ा आरोप लगाया है।
शिक्षामंत्री ने ट्वीट कर लिखा- जिनके पुरखों ने फिरंगियों के साथ मिलकर हमारे देश के गरीबों पर जुल्म ढाया। क्या वह हम पर राज करेंगे। उन्होंने आगे लिखा कि हम एकलव्य की संतान हैं। हम अंगूठा देना नहीं, बल्कि जवाब देना जानते हैं।
अखिलेश प्रसाद सिंह साफ तौर पर कहा है कि जिसका जो हक है उसे मिलना चाहिए। उन्होंने साफ लहजे में कहा कि कैबिनेट विस्तार तो होगा और जिसका जो हक है वह मुख्यमंत्री नीतीश कुमार देंगे।
जेडीयू नेता गुलाम रसूल बलयावी ने कहा, "बीजेपी हमेशा हमारे आर्म्ड फोर्सेज का इस्तेमाल अपने क्राइम को छिपाने के लिए करती है। उन्होंने हमारी सेनाओं के बलिदान, शौर्य और शहादत का फयदा उठाया है।
वहीं पशुपति कुमार पारस के इस दावे पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी अपनी प्रतिक्रिया दी है। नीतीश कुमार ने कहा, "जाओ और जश्न मनाओ। मैं इन नेताओं का ध्यान नहीं रखता।"
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