नेवी चीफ ने पुलवामा में हुए आतंकवादी हमले का जिक्र किया और कहा कि इस हमले को पाकिस्तान ने अंजाम दिया। उन्होंने कहा कि एक राज्य द्वारा प्रायोजित इस हमले का मकसद भारत को अस्थिर करना था।
इस मीटिंग की अगुवाई खुद पीएम मोदी ने की। इस मीटिंग में नेशनल सिक्योरिटी एडवाइजर अजीत डोवल ने मसूद अजहर और पाकिस्तान में बैठे आतंकवादियों को लेकर पीएम मोदी को आगे का प्लान बताया।
कुरैशी ने एक निजी चैनल को दिये साक्षात्कार में कहा, ‘‘पाकिस्तान के लिए अपने खुद के हित में फैसला लेने का समय आ गया है।
पाकिस्तान के बालाकोट में घुसकर जैश-ए-मोहम्मद के ठिकाने पर वायुसेना के हमले को लेकर राजनीति शुरू हो गई है।
यह खबर सोशल मीडिया पर चल रही उन अटकलों के बीच आई है कि इस आतंकी संगठन के संस्थापक की मौत हो गई।
जैश-ए-मोहम्मद आतंकवादी संगठन के प्रमुख मसूद अजहर की पाकिस्तान में मौत के बारे में सोशल मीडिया पर चल रही खबरों के बारे में खुफिया एजेंसियां पता लगाने की कोशिश कर रही हैं।
पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के दुस्साहसिक आतंकवादी हमले उसके ‘गजवा-ए-हिंद’ (भारत के खिलाफ पवित्र युद्ध) का हिस्सा हैं।
पाकिस्तान की इमरान खान सरकार और आर्मी भले ही भारतीय वायु सेना के बालाकोट पर किए गए एयर स्ट्राइक से हुए नुकसान को नकार रही है, वहीं जैश-ए-मोहम्मद के एक मौलाना ने भारी तबाही की पुष्टि की है।
कांग्रेस के सदस्य टेड योहो ने भी पाकिस्तान से कहा कि वह आतंकवादी संगठनों से निपटने के लिए सार्थक कदम उठाए।
सरकार के पास ये तस्वीरें सिंथेटिक अपरचर रेडार के ज़रिए आई हैं। बालाकोट में जिस जगह की बिल्डिंग को उड़ाया है वहां पर जैश का टेरर कैंप था।
कुरैशी ने कहा कि हमने जैश से पूछा और उन्होंने अटैक की जिम्मेदारी से इनकार किया है। बता दें कि एक दिन पहले ही पाक विदेश मंत्री ने कहा था कि मसूद अजहर बहुत बीमार है और अस्पताल में हैं।
संसद की एक समिति ने शुक्रवार को सरकार से पाकिस्तान के अंदर जैश-ए-मोहम्मद के आतंकवादी शिविर पर हवाई हमला करने के भारत के फैसले के पीछे की वजहों से अंतरराष्ट्रीय समुदाय को अवगत कराने के लिए एक व्यापक मुहिम चलाने को कहा।
पाकिस्तान में आतंकवादी शिविरों पर हमले के बाद इस्लामाबाद ने प्रयास किया था कि OIC के लिए स्वराज का आमंत्रण रद्द हो जाए। गौरतलब है कि पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी भी इस बैठक में हिस्सा नहीं ले रहे हैं।
कुरैशी ने बताया कि पुलवामा और भारतीय संसद पर हमले का गुनहगार मसूद अजहर इतना बीमार है कि वो अपने घर से बाहर निकल भी नहीं सकता है।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि ऐसा पहली बार हुआ है कि भारत को इस्लामी सहयोग संगठन की बैठक में ‘गेस्ट ऑफ ऑनर’ के तौर पर आमंत्रित किया गया है।
पुलवामा हमले के बाद एक बार फिर मसूद अजहर को सुरक्षा परिषद में प्रतिबंधित किए जाने का मुद्दा उठा है और भारत को इस दिशा में बड़ी कूटनीतिक कामयाबी मिली है, जब सुरक्षा परिषद के तीन स्थाई सदस्यों ने मूसद अजहर को बैन करने के लिए नया प्रस्ताव लाया।
पुलवामा हमले को अंजाम देने वाले पाकिस्तान द्वारा समर्थित और पोषित आतंकवादी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के खिलाफ भारत को कूटनीतिक मोर्चे पर बड़ी सफलता मिलती नजर आ रही है।
राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने बुधवार को कहा कि उसने पुलवामा आतंकवादी हमले व आतंकी फंडिंग के संबंध में जैश-ए-मोहम्मद (जेईएम) आतंकवादियों व अलगाववादी नेताओं के 11 ठिकानों पर छापे मारे।
राजनयिकों ने यह भी कहा कि पुलवामा हमले के बाद हो सकता है कि चीन पाकिस्तान को किसी तरह की कोई सहायता ना दे।
बालाकोट शिविर जैशे मोहम्मद और अन्य आतंकवादी संगठनों का एक महत्वपूर्ण प्रशिक्षिण शिविर था और इसमें प्रशिक्षण लेने वाले आतंकवादियों के रहने और उनके प्रशिक्षिण के लिए सुविधाएं थीं।
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