कांग्रेस अध्यक्ष के आरोपों का जवाब देते हुए भाजपा ने आज कहा कि आपकी विरासत के कारण ही चीन सुरक्षा परिषद का सदस्य है।
मतलब 50 साल के मसूद अज़हर को कोई बीमारी नहीं है। पाकिस्तानी हुकुमत और उसकी सेना इसे खिलाती-पिलाती है और आतंक की फैक्ट्री चलाने के लिए अपनी ज़मीन देती है क्योंकि इन्हीं दहशतगर्दों के रहमोकरम पर पाकिस्तान ख़ुद भी पलता है।
सुरक्षा परिषद के सदस्यों ने चीन को चेतावनी दे दी है। चीन से कहा गया है कि अगर वो मसूद अज़हर को लेकर अपने रुख को नहीं बदलेगा तो दूसरी कार्रवाई के विकल्प खुले हैं।
चीन भले ही खुद को दुनिया का सबसे शक्तिशाली देश बनाने की तरफ आगे बढ़ रहा हो, भले ही चीन अपनी आर्थिक ताकत का डंका पीटने में लगा हो लेकिन सच ये है कि उसकी ये ताकत दुनिया के आतंकियों की मोहताज बन गई है।
चीन संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में वीटो की शक्ति रखनेवाला सदस्य है और सबकी निगाहें चीन पर हैं जो पूर्व में अजहर को संयुक्त राष्ट्र से वैश्विक आतंकवादी घोषित कराने के भारत के प्रयासों में अड़ंगा डाल चुका है।
एक्टिविस्ट ने उर्दू मीडिया के हवाले से दावा किया है कि एयर स्ट्राइक के बाद आतंकियों के शवों को बालाकोट से खैबर पख्तूनख्वा के इलाकों में ले जाया गया।
जैश-ए-मोहम्मद सरगना मसूद पर फैसले में सबसे बड़ा अड़ंगा चीन लगाता रहा है। इससे पहले कम से कम तीन बार चीन मसूद अजहर को ग्लोबल टेररिस्ट घोषित किए जाने और उस पर बैन लगाने की कोशिशों पर ब्रेक लगा चुका है।
अमेरिका के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जॉन बोल्टन ने कहा कि पाकिस्तान ने सभी आतंकी संगठनों से दृढ़ता से निपटने और भारत के साथ तनाव कम करने के लिए कदम उठाने का अमेरिका को आश्वासन दिया है।
जम्मू-कश्मीर में सेना जैश-ए-मोहम्मद के सभी आतंकियों का खात्मा करने के करीब पहुच गई है। सोमवार को भारतीय सेना की तरफ से दी गई जानकारी के मुताबिक पिछले 21 दिन में जैश के 18 आतंकवादियों का खात्मा किया जा चुका है।
पाकिस्तान आतंक के खिलाफ कैसा झूठा एक्शन ले रहा है इसका एक और सबूत बहावलपुर में आतंक के ठिकाने से चंद कदमों पर कैमरे में कैद हुआ।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कहा कि दुनिया भर की मांग के बाद पाकिस्तान आतंकियों पर नए एक्शन का दावा कर रहा है।
पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ ने स्वीकार किया है कि उनके कार्यकाल के दौरान मसूद अजहर के आतंकवादी संगठन जैश-ए-मोहम्मद ने खुफिया एजेंसियों के निर्देशों पर भारत में हमले किए थे।
मुंबई आतंकी हमलों और पठानकोट एयर बेस पर टेरर अटैक के बाद भी पाकिस्तान ने आतंकी संगठनों के खिलाफ इसी तरह की कार्रवाई की थी। लेकिन जल्द ही ये आतंकी मास्टरमाइंड और उनके गुर्गे फिर से खुली हवा में न सिर्फ सांस लेने लगे बल्कि अपनी नापाक आतंकी गतिविधियों को भी अंजाम दिया।
पाकिस्तानी चैनल हम टीवी से बात करते हुए मुशर्रफ ने बताया कि जैश-ए-मोहम्मद और पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी के बीच गहरा संबंध था।
भारतीय वायुसेना द्वारा पाकिस्तान के बालाकोट में घुसकर जैश-ए-मोहम्मद के कैंप को तबाह करने के बाद से ही इस मामले पर सियासत जारी है।
पाकिस्तान के बालाकोट में स्थित जैश-ए-मोहम्मद के ठिकाने पर वायुसेना द्वारा किए गए हवाई हमले पर भारत में राजनीति शुरू हो गई है।
भारतीय वायुसेना द्वारा बालाकोट में जैश-ए-मोहम्मद के ठिकाने पर की गई एयर स्ट्राइक के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव बढ़ा हुआ है।
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने जमात-उद-दावा प्रमुख हाफिज सईद और जैश-ए-मोहम्मद के चीफ मसूद अजहर के आतंकवादी कैंपों में हथियार चलाने की ट्रेनिंग ले रहे दहशतगर्दों को अब मुख्यधारा में शामिल करने के नाम पर एक गजब का प्लान तैयार किया है।
अमेरिका की केंद्रिय जांच एजेंसी (CIA) के दस्तावेजों में यह खुलासा हुआ है कि जैश-ए-मोहम्मद के पूर्ववर्ती संगठनों को पाकिस्तान की खुफिया एजेंसियों के जरिए फंडिंग प्राप्त हुई थी।
सरकार ने हवाई हमलों में मारे गए लोगों का आधिकारिक आंकड़ा अब तक नहीं दिया है लेकिन कुछ विपक्ष पार्टियां लगातार इसके सबूत मांग रही है।
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