अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत एक बार फिर से 122 डॉलर पार पहुंच गया है। यह तेजी यही थमने वाली नहीं है। अमेरिकी बहुराष्ट्रीय निवेश बैंक और वित्तीय सेवा कंपनी गोल्डमैन सैक्स के अनुसार, अगस्त से सितंबर महीने तक कच्चा तेल का भाव 140 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच सकता है।
अंतरराष्ट्रीय बाजार में सोने की कीमत में हल्की बढ़त देखने को मिली और कीमत 1930 डॉलर प्रति औंस के स्तर पर रहा। वहीं चांदी अपने पिछले स्तरों के करीब 26.45 डॉलर प्रति औंस पर रही
सरकारी बैंकों में आज के कारोबार के दौरान सबसे तेज बढ़त दर्ज
वित्त मंत्री ने मंगलवार को ही संकेत दिए हैं कि सरकार जल्द राहत पैकेज का ऐलान करेगी
अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के दामों में भारी उठापटक देखने को मिल रही है। गुरुवार को अंतरराष्ट्रीय बाजार में अमेरिकी कच्चा तेल यानी WTI क्रूड का भाव घटकर 20 डॉलर प्रति बैरल के करीब आ गया था जो लगभग 18 साल में सबसे कम भाव है।
अंतर्राष्ट्रीय बाजार में सोने की कीमत रिकॉर्ड ऊंचाई तक पहुंच गई हैं।
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के मीडिया को संबोधित करने के बाद विदेशी बाजार में कच्चे तेल और सोने की कीमतों में भारी गिरावत आई है।
वैश्विक मंदी की आशंकाओं के बीच पीली धातु यानी सोने की चमक इस महीने कुछ ज्यादा ही बढ़ गई है, क्योंकि निवेशकों के लिए यह सुरक्षित और पसंदीदा निवेश का सबसे बेहतर विकल्प बन गया है। ऐसे में त्योहारी सीजन में भारत में सोना 40,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के पार चला जाए तो इसमें कोई आश्चर्य नहीं होगा।
अंतरराष्ट्रीय बाजार में गैर-कोकिंग कोयले की कीमतों में नरमी के चलते जून में देश में कोयले का आयात 28.7 फीसदी बढ़कर 2.414 करोड़ टन रहा। एमजंक्शन सर्विसेज के अस्थायी आंकड़ों के मुताबिक देश में पिछले साल जून में 1.875 करोड़ टन कोयले का आयात हुआ था।
अंतर्राष्ट्रीय बाजार में पिछले दिनों कच्चे तेल में आई तेजी के बाद देश में पेट्रोल और डीजल के दाम में फिर रोजाना वृद्धि होने लगी है।
अंतर्राष्ट्रीय बाजार में बीते हफ्ते कच्चे तेल के दाम में फिर तेजी लौटी है। बेंचमार्क कच्चा तेल ब्रेंट क्रूड का भाव फिर 63 डॉलर प्रति बैरल से ऊपर चला गया है और आगे और तेजी रहने की संभावना जताई जा रही है।
रुपए में आई भारी गिरावट की वजह से भी भारतीय शेयर बाजार पर दबाव देखा जा रहा है। डॉलर के मुकाबले रुपए ने आज 72.73 का निचला स्तर छुआ है
अगर पेट्रोल और डीजल का मौजूदा बढ़ा हुआ भाव आपके लिए परेशानी पैदा कर रहा है तो आपकी परेशानी आने वाले दिनों में और बढ़ने वाली है क्योंकि अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चा तेल का भाव 80 डॉलर के पार चला गया है जिससे तेल कंपनियों की लागत बढ़ेगी और वह इस लागत को ग्राहकों से वसूलने के लिए पेट्रोल और डीजल के दाम और बढ़ा सकती हैं।
अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल के दाम 75 डॉलर प्रति बैरल के पार पहुंच गए हैं जो नवंबर 2014 के बाद सबसे अधिक कीमत है। कच्चे तेल की कीमतों में आई इस तेजी की वजह से ऑयल मार्केटिंग कंपनियों की लागत बढ़ेगी
घरेलू स्तर पर पेट्रोल और डीजल के और महंगा होने की आशंका भी बढ़ गई है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल का भाव 75 डॉलर प्रति बैरल के करीब पहुंच गया है, गुरुवार को ब्रेंट क्रूड के भाव ने 74.24 डॉलर प्रति बैरल का ऊपरी स्तर छुआ है जो 41 महीने में सबसे ज्यादा भाव है
महीनाभर पहले केंद्र ने जब एक्साइज में कटौती कर पेट्रोल और डीजल की कीमतों को कम किया था तो उस समय मुंबई में पेट्रोल 80 रुपए और दिल्ली में 70.88 रुपए लीटर था
भारतीय बास्केट के लिए कच्चा तेल 26 महीने के ऊपरी स्तर तक पहुंच गया है जिसके बाद ऑयल मार्केटिंग कंपनियां पेट्रोल और डीजल की कीमतों में और बढ़ोतरी कर सकती हैं
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