इस संघर्ष के बाद दोनों सेनाओं के बीच मेजर जनरल लेवल टॉक्स सुबह से शुरू हुई, जो तीन दिन तक चलने के बाद फिर स्थिति सामान्य हुई, लेकिन अभी भी पेट्रोलिंग पॉइंट 14 पर तनाव बरकरार है।
दो दिन पहले ही नेपाल सरकार ने संविधान संशोधन के माध्यम से अपने देश के राजनीतिक मानचित्र को बदलने की प्रक्रिया पूरी की थी जिसमें रणनीतिक महत्व वाले भारत के तीन क्षेत्रों- लिपुलेख, कालापानी और लिंपियाधुरा को दर्शाया गया है।
एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि सुबह हुसैन को करगिल में एक घर से गिरफ्तार किया गया और उनसे पूछताछ की जा रही है जबकि फोन पर हुई इस बातचीत में शामिल उनके दोस्त को पकड़ने के प्रयास किये जा रहे है।
पूर्वी लद्दाख के गलवान घाटी में चीनी सैनिकों के साथ हुई खूनी झड़प के मुद्दे पर पीएम द्वारा बुलाई गई सर्वदलीय बैठक में सोनिया गांधी के अलावा किसी पार्टी ने सरकार को घेरने की कोशिश नहीं की।
सरकार ने कहा, "भारत-चीन सीमा पर अभूतपूर्व घटना हुई है। वहां 20 भारतीय सैनिक शहीद हुए हैं। हम उन्हें श्रद्धांजलि देते हैं और उनके परिजन के प्रति संवेदनाएं व्यक्त करते हैं।"
संपादकीय में यह भी कहा गया कि देश ने 1962 की गलतियों से कोई सबक नहीं सीखा। इसमें कहा गया, “हम 1962 की तुलना में आज ज्यादा मजबूत हैं। अगर (तत्कालीन प्रधानमंत्री) नेहरू को दोषी ठहराने वाले लोग आत्मावलोकन करें, तो 20 जवानों की शहादत व्यर्थ नहीं जाएगी।”
भारतीय सेना ने कहा कि भारतीय सैनिक उस स्थान पर गए थे, जहां तनाव हुआ था। भारतीय जवान वहां बिना किसी दुश्मनी के चीनी पक्ष के साथ मैत्रीपूर्ण व्यवहार के साथ केवल यह जांचने के लिए गए थे कि क्या वे वादे के अनुसार डी-एस्केलेशन समझौते का पालन कर रहे हैं या नहीं।
राजद प्रमुख लालू प्रसाद की सबसे बड़ी पुत्री और राज्यसभा सदस्य मीसा भारती ने एक ट्वीट साझा किया, "जो सवाल दागेंगे, साहब उससे भागेंगे।"
राहुल गांधी ने ट्वीट कर सरकार पर गंभीर पर आरोप लगाए हैं। राहुल ने ट्वीट कर कहा कि यह बात साफ हो चुकी है कि चीन गलवान घटना से पहले पूरी तरह तैयार था।
लद्दाख की गलवान घाटी में 15 जून को भारतीय और चीनी सैनिकों की खूनी मुठभेड़ को लेकर बड़ा खुलासा हुआ है।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इस घटना में जख्मी हुए भारत के सभी जवान की हालत में सुधार है।
आपको बता दें कि गलवान घाटी में सोमवार की शाम भारतीय और चीनी सैनिकों के बीच हुई हिंसक झड़प में 20 भारतीय सैन्यकर्मी शहीद हो गये थे। इस झड़प में भारतीय सेना के लगभग 18 जवान गंभीर रूप से घायल हो गये थे।
भारत और चीन के बीच डिवीजनल कमांडर लेवल की बातचीत आज एक बार फिर होने जा रही है।
लद्दाख की गलवान घाटी में चीनी सेना के साथ झड़प में प्राण न्यौछावर करने वाले सैनिकों के पार्थिव शरीर उनके गृह राज्यों में लाए जाने के बीच बुधवार को देश भर में शोक की लहर छा गयी ।
पूर्वी लद्दाख में चीनी सैनिकों के साथ हुई हिंसक झड़प में बीस भारतीय सैन्य कर्मियों के शहीद होने पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) ने “चीनी सरकार और उसकी सेना के आक्रामक और हिंसक कार्य” की बुधवार को कड़ी निंदा की।
इंडिया TV को मिली एक्सक्लूसिव जानकारी के मुताबिक़ लद्दाख के गलवान घाटी में भारतीय सेना और चीन की पीएलए के बीच हुई हिंसक झड़प के बाद कल एक बार फिर से मेजर जनरल रैंक के अफसरों की बातचीत होगी।
कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAIT) ने वास्तविक नियंत्रण रेखा पर चीनी सेना की आक्रामकता की निंदा करते हुए चीनी सामनों के बहिष्कार का आह्वान किया है।
कयास लगाए जा रहे हैं कि प्रधानमंत्री मोदी इस बैठक के जरिए विपक्ष की ओर से उठाए जाने वाले सारे सवालों का जवाब दे सकते हैं। ताकि चीन से विवाद के मसले पर किसी तरह का किसी को भ्रम न हो।
लद्दाख की गलवान घाटी में चीन के सैनिकों के साथ हिंसक झड़प में 20 भारतीय सैनिकों के मारे जाने के विरोध में मध्यप्रदेश की आर्थिक राजधानी इंदौर के ट्रांसपोर्टरों ने बुधवार को घोषणा की कि वे बृहस्पतिवार से चीनी कम्पनियों के माल की बुकिंग नहीं करेंगे।
चीनी पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) ने सोमवार रात लगभग 120 भारतीय सैनिकों (करीबन एक पूरी कंपनी) को घेर लिया और उन पर कपटपूर्ण तरीके से बर्बरतापूर्ण हमले किए।
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