एसएंडपी ग्लोबल ने कहा कि अधिक मांग के साथ-साथ मजबूत बैंक पूंजीकरण से बैंक ऋण वृद्धि को बढ़ावा मिलेगा, लेकिन जमा वृद्धि में कमी आएगी। स्वस्थ कॉर्पोरेट बैलेंस शीट, सख्त अंडरराइटिंग मानक और बेहतर जोखिम प्रबंधन प्रथाएं एसेट क्वालिटी को और स्थिर करेंगी।
देश की श्रम शक्ति में महिलाओं की कम भागीदारी तथा युवाओं में व्याप्त बेरोजगारी पर भी चिंता व्यक्त की। उन्होंने कहा, पहली तो यह कि भारत में रोजगार सृजन को लेकर कई सवाल खड़े हैं।
एसएंडपी ने कहा कि हम उम्मीद करते हैं कि आरबीआई जल्द से जल्द अक्टूबर में दरों में कटौती शुरू कर देगा और चालू वित्त वर्ष (मार्च 2025 में समाप्त होने वाले) में दो बार दरों में कटौती की योजना बनाएगा।
विश्व बैंक ने कहा कि दक्षिण एशिया क्षेत्र के बड़े हिस्से के लिए जिम्मेदार भारत की वृद्धि दर वित्त वर्ष 2024-25 में 7 प्रतिशत पर मजबूत रहने की उम्मीद है। सेवाएं मजबूत बनी रहेंगी। कृषि में अपेक्षित सुधार के कारण ग्रामीण निजी खपत में सुधार होगा।
भारत सबसे तेजी से बढ़ने वाली प्रमुख अर्थव्यवस्था बना हुआ है, क्योंकि अप्रैल-जून तिमाही में चीन की जीडीपी वृद्धि 4.7 प्रतिशत रही।
रेटिंग एजेंसी का अनुमान है कि मौजूदा साल में भारत की जीडीपी वृद्धि 7.2 प्रतिशत होगी, जबकि पहले इसका अनुमान 6.8 प्रतिशत रहने का था।
India Q1FY25 GDP Growth Rate : अप्रैल से जून 2024 में भारत की जीडीपी ग्रोथ रेट 6 फीसदी रहने का अनुमान है। रेटिंग एजेंसी इक्रा ने यह अनुमान लगाया है। यह ग्रोथ रेट 6 तिमाहियों में सबसे कम है।
आईएमएफ के एग्जिक्यूटिव डायरेक्टर कृष्णमूर्ति सुब्रमण्यन ने कहा कि भारत की अर्थव्यवस्था का आकार हर छह साल में दोगुना हो जाएगा। यह 2047 तक 55,000 अरब डॉलर की इकोनॉमी होगी।
भारतीय पूंजी बाजार का प्रदर्शन बीते वित्त वर्ष में दूसरे उभरते बाजारों में सबसे बेहतर रहा है। आज भारतीय बाजार वैश्विक भू-राजनीतिक और आर्थिक झटकों को झेलने में अधिक सक्षम हैं।
मुद्रा कोष ने यह भी कहा कि बढ़ती कीमतों के खिलाफ दुनियाभर में प्रगति धीमी हुई है। इसका कारण हवाई यात्रा से लेकर रेस्तरां में भोजन करने जैसी सेवाओं की महंगाई है।
भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने पिछले महीने वित्त वर्ष 2024-25 के लिए सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था।
दिग्गज अर्थशास्त्री एनके सिंह ने कहा कि भारत की जीडीपी ग्रोथ रेट उसे 2047 तक विकसित देश की तरफ ले जा रही है। उन्होंने कहा कि दुनिया भारतीय युग की दहलीज पर है।
4 Trillion Dollar Economy : भारत की अर्थव्यवस्था 3,942 बिलियन डॉलर पर पहुंच चुकी है। जल्द ही हम जीडीपी के मामले में जापान को पीछे छोड़ देंगे।
फिच का अनुमान आरबीआई के अनुमान के अनुरूप है। भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने इस महीने की शुरुआत में अनुमान लगाया था कि ग्रामीण मांग में सुधार और मुद्रास्फीति में नरमी से चालू वित्त वर्ष में भारतीय अर्थव्यवस्था 7.2 प्रतिशत की दर से बढ़ेगी।
वित्त वर्ष 2024-25 के लिए जीडीपी वृद्धि अनुमान को बढ़ाकर 7.2 प्रतिशत करने से पता चलता है कि अर्थव्यवस्था की वृद्धि संभावनाओं में केंद्रीय बैंक का भरोसा बढ़ा है।
बीते वित्त वर्ष की चौथी तिमाही यानी जनवरी 2024 से मार्च 2024 के बीच भारत की जीडीपी ग्रोथ रेट 7.8 फीसदी रही। मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर की मजबूत ग्रोथ इसके पीछे एक बड़ी वजह रही।
राजकोषीय समेकन के रोडमैप के अनुसार, राजकोषीय घाटे को 2025-26 तक 4.5 प्रतिशत तक कम किया जाएगा।
India GDP growth rate : जीडीपी एक निश्चित अवधि में उत्पादित वस्तुओं और सेवाओं का कुल मूल्य होता है। वहीं, जीडीपी में शुद्ध करों (कुल कर संग्रह में से सब्सिडी हटाकर) को हटाने पर जीवीए निकलता है।
GDP Growth Rate : श्रम सुधारों को साल 2020 में संसद से मंजूरी मिल चुकी है, लेकिन इसे लागू नहीं किया जा सका है।
इस हफ्ते शेयर बाजार के निवेशकों की नजर ईरान-इजराइल के बीच चल रहे संघर्ष, कंपनियों के तिमाही नजीते, क्रूड ऑयल की कीमतों और वैश्विक बाजारों के रुख पर रहेगी।
संपादक की पसंद
लेटेस्ट न्यूज़