हाइपरलूप एक हाई-स्पीड ट्रेन है, जो एक ट्यूब में चलती है। ‘हाइपरलूप’ ट्रेन चुंबकीय तकनीक से लैस पॉड (ट्रैक) पर चलती है। हाईपरलूप तकनीक में खंभों के ऊपर (एलीवेटेड) ट्रांसपेरेंट ट्यूब बिछाई जाती है। इसी के चलते इसकी स्पीड 1000 से 1300 किमी प्रति घंटे तक होती है।
अभी भारत की निगाहें बुलट ट्रेन पर थीं, वहीं हाइपरलूप तकनीक की बात भी शुरू हो गई है। वैज्ञानिकों के अनुसार हाइपरलूप की मदद से आप 1000 किमी. प्रतिघंटे की रफ्तार से सफर कर सकते हैं।
भारत में हाइपरलूप यानी बुलट ट्रेन से भी ज्यादा तेज गति से दौड़ने वाली ट्रेन पर बड़ी खबर है। हाइपरलूप दुबई से पहले भारत में शुरु हो सकती है।
मुंबई और पुणे के बीच यात्रा 35 मिनटों में पूरा करने के सपने के साकार करने के लिए महाराष्ट्र सरकार ने वर्जिन हाइपरलूप वन-डीपी वर्ल्ड कंसोर्टियम को पुणे-मुंबई हाइपरलूप परियोजना के ऑरिजिनल प्रोजेक्ट प्रॉपनेंट (ओपीपी) के रूप में मंजूरी दे दी है।
अलशेही कंसल्टेंट फर्म नैशनल अडवाइज ब्यूरो लिमिटेड के फाउंडर हैं। उन्होंने कहा कि पानी के नीचे इस रेल नेटवर्क से यूएई-भारत के अलावा क्षेत्र के दूसरे देशों को भी फायदा होगा।
वर्जिन समूह ने आज महाराष्ट्र सरकार के साथ मुंबई और पुणे के बीच हाइपरलूप परिवहन प्रणाली के निर्माण के लिए ‘आशय पत्र’ पर दस्तखत किए हैं।
Maharashtra: Plans for high-speed hyperloop from Mumbai to Pune
रेल मंत्रालय 6 विदेशी कंपनियों के साथ बातचीत कर रहा है और बातचीत काफी आगे बढ़ चुकी है। ये ट्रेनें 600 किलोमीटर प्रति घंटे तक की रफ्तार से चल सकती हैं।
संपादक की पसंद