ओवैसी ने ट्वीट किया- मैं कर्नाटक हाईकोर्ट के फैसले से सहमत नहीं हूं, फैसले से असहमत होना मेरा हक है। मुझे उम्मीद है कि याचिकाकर्ता सुप्रीम कोर्ट जाएंगे।
ये पूरा विवाद 1 जनवरी से शुरू हुआ था जब उडुपी कॉलेज की 6 छात्राओं ने प्रशासन के खिलाफ आवाज उठाई थी। उनका कहना था कि कॉलेज प्रशासन ने उन्हें हिजाब में एंट्री देने से मना कर दिया था।
आज कर्नाटक हाई कोर्ट ने हिजाब विवाद पर ऐतिहासिक फैसला सुना दिया। इसे लेकर कर्नाटक के शिक्षामंत्री बीसी नागेश ने इंडिया टीवी से एक्सक्लूसिव बातचीत की।
हिजाब विवाद पर हाईकोर्ट के फैसले से पहले राज्य सरकार ने राजधानी बेंगलुरु में सार्वजनिक शांति और व्यवस्था बनाए रखने के लिए बड़ी सभाओं पर एक हफ्ते के लिए प्रतिबंध लगा दिया है।
कर्नाटक हाईकोर्ट ने शैक्षणिक संस्थानों में हिजाब पर बैन को चुनौती देने वाली याचिकाओं को खारिज कर दिया है। कोर्ट ने याचिकाओं को खारिज करते हुए कहा कि हिजाब धर्म का अनिवार्य हिस्सा नहीं है। कोर्ट ने कर्नाटक सरकार के आदेश को संवैधानिक बताया है।
कर्नाटक हाईकोर्ट ने कर्नाटक सरकार के आदेश को संवैधानिक बताया है।
बेंगलुरु के पुलिस आयुक्त ने सोमवार को निषेधाज्ञा जारी करते हुए 21 मार्च तक किसी भी सार्वजनिक स्थान पर किसी भी तरह के समारोहों, प्रदर्शनों और सभाओं पर प्रतिबंध लगा दिया है।
हिजाब विवाद पर आज कर्नाटक हाई कोर्ट में फैसला सुनाया जाएगा। इसे लेकर बैंगलोर समेत कई ज़िलों में धारा 144 लागू कर दिया गया है।
हिजाब विवाद पर सीएम योगी ने कहा कि न्यायालयों ने इस बारे में बहुत स्पष्ट रूप से कहा है कि कहीं भी हम अपने फोर्स में ऐसे ड्रेस की अनुमति नहीं दे सकते जिससे वह एक समुदाय विशेष का प्रतिनिधित्व करता हो। सही मायने में एक सेक्यूलर स्टेट की भावना को हमें सम्मान देना ही होगा। अनुशासन को तार-तार करने की, अनुशासनहीनता को फैलाने की जरूरत नहीं है।
एसएसएलसी (कक्षा 10) और 2 पीयूसी (कक्षा 12) के लिए वार्षिक परीक्षाएं अप्रैल में आयोजित होने वाली हैं। अधिकारियों ने छात्रों को हॉल टिकट जारी करना शुरू कर दिया है। हालांकि, कुछ प्रदर्शनकारी छात्र अपने हॉल टिकट लेने से इनकार कर रहे हैं।
पुलिस अधीक्षक ने कहा, सभी की उम्र 20 से 22 वर्ष के बीच है, सिवाय कासिफ के जिसकी उम्र 32 वर्ष है।
कर्नाटक के महाधिवक्ता प्रभुलिंग नवदगी ने कहा कि वर्तमान मामले में संस्थागत प्रतिबंध केवल शिक्षण संस्थानों के अंदर है और कहीं नहीं है।
Mehjabi Siddiqui: हिजाब को लेकर देशभर में माहौल गरमाया हुआ है। इसी बीच फिल्म इंडस्ट्री की एक एक्ट्रेस ने ग्लैमर की दुनिया को छोड़ने का फैसला किया है।
हिजाब का विवाद कर्नाटक में शुरू हुआ। जनवरी की शुरुआत में नेशनल मीडिया में ये विवाद ख़बरों में आने लगा। और अब फरवरी का महीना ख़त्म होने जा रहा है। लेकिन हिजाब का मुद्दा और तेज़ हो गया है। दो महीनों के अंदर ये मुद्दा इतना बड़ा बन चुका है कि अब उत्तर प्रदेश का चुनाव भी हिजाब के मुद्दे पर लड़ा जा रहा है। उत्तर प्रदेश जहां की आबादी क़रीब 24 करोड़ है। जहां के मुद्दे अपने आप में इतने बड़े हैं। कि देश के बाक़ी मसले छोटे पड़ जाते हैं। ऐसे में जब यूपी में हिजाब के नाम पर वोट मांगे जा रहे हैं। और इसके समर्थकों की रेस में असदुद्दीन ओवैसी सबसे आगे हैं।
मुख्य न्यायाधीश रितु राज अवस्थी की अध्यक्षता वाली पीठ दिन-प्रतिदिन के आधार पर मामले की सुनवाई कर रही है, मगर इसके बावजूद राज्य में हिजाब विवाद जारी है, जिससे कानून और व्यवस्था की स्थिति पर चिंता बढ़ रही है।
घटना शनिवार की है जब युवती बेगूसराय के मंसूर चौक शाखा के यूको बैंक में पैसे निकालने गई थी। वीडियो के अनुसार, तीन से चार बैंक कर्मचारियों ने उसे हिजाब हटाने के लिए कहा और उसके बाद ही पैसे निकालने के लिए आवेदन किया।
Hijab Controversy: देशभर में हिजाब पहनने को लेकर विवाद छिड़ा हुआ है। आम लोग से लेकर सेलेब्स तक अपनी राय रख रहे हैं। अब इस्लाम के लिए फिल्मी दुनिया को अलविदा कहने वाली जायरा वसीम ने देखिये क्या लिखा है।
प्रिंसिपल ने शनिवार को पुलिस के समक्ष शिकायत दर्ज कराते हुए आरोप लगाया है कि एक व्यक्ति ने उन्हें जान से मारने की धमकी दी है। मदिकेरी जूनियर कॉलेज के प्रिंसिपल विजय की शिकायत के आधार पर साइबर क्राइम पुलिस ने मामले की जांच शुरू की है।
कॉलेज प्रबंधन, विकास समिति ने हिजाब पहनकर कक्षाओं में जाने की जिद करने वाली छात्राओं को उच्च न्यायालय के अंतरिम आदेश के बारे में समझाने की कोशिश की, लेकिन उन्होंने नहीं सुना और हिजाब पहनने के लिए दबाव डाला। इसलिए, उन्हें अस्थायी रूप से कॉलेज से निलंबित कर दिया गया है।
कर्नाटक हाई कोर्ट के अंतरिम आदेश और राज्य सरकार के आदेश के अनुसार हिजाब और भगवा शॉल के उपयोग को प्रतिबंधित कर दिया गया है।
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