एलकेपी सिक्योरिटीज के वाइस प्रेसिडेंट (रिसर्च एनालिस्ट कमोडिटी और करेंसी) जतिन त्रिवेदी ने कहा, ‘‘भू-राजनीतिक तनाव ने सुरक्षित निवेश विकल्प के रूप में सोने की मांग को एक बार फिर बढ़ा दिया है। इसके साथ ही रूस-यूक्रेन संघर्ष में परमाणु जोखिमों पर नई चिंताएं भी पैदा हो गईं।’
कमोडिटी एक्सपर्ट के अनुसार, अमेरिकी फेडरल रिजर्व द्वारा कम आक्रामक मौद्रिक नीति में ढील की उम्मीदों के कारण यूरोपीय सेशन के पहले हिस्से में सोने की कीमत में गिरावट आई। उन्होंने कहा कि रूस और यूक्रेन के बीच बिगड़ते हालातों से सोने को कुछ सपोर्ट मिल सकता है और कुछ नुकसान कम हो सकता है।
एचडीएफसी सिक्योरिटीज के सीनियर ऐनालिस्ट (कमोडिटी) सौमिल गांधी के अनुसार, अमेरिकी बॉन्ड यील्ड, डॉलर और सुरक्षित निवेश की मांग में गिरावट के कारण मंगलवार को सोना एक हफ्ते के उच्चस्तर 2,615 डॉलर प्रति औंस के पार निकल गया।
अखिल भारतीय सर्राफा संघ ने कहा कि शादी के त्योहारों के लिए स्थानीय आभूषण विक्रेताओं और खुदरा विक्रेताओं की ताजा खरीदारी के बीच कीमती धातुओं के दाम में उछाल देखने को मिला। व्यापारियों ने कहा कि शादी के मौसम के लिए स्थानीय आभूषण कारोबारियों की मांग बढ़ गई है।
व्यापारियों ने कहा कि कीमतों में गिरावट का मुख्य कारण विदेशों में कमजोर रुख के बीच स्थानीय आभूषण विक्रेताओं की सुस्त मांग है। औद्योगिक इकाइयों और सिक्का निर्माताओं की तरफ से कमजोर उठान के कारण चांदी की कीमत भी गिर गई है।
एलकेपी सिक्योरिटीज के वाइस प्रेसिडेंट रिसर्च ऐनालिस्ट (कमोडिटी और करेंसी) जतिन त्रिवेदी ने कहा, ‘‘अमेरिकी चुनाव के नतीजों से डॉलर इंडेक्स में मजबूती आने के कारण सोने की कीमतों में भारी उतार-चढ़ाव देखने को मिल रहा है, जिसमें 78,500 रुपये और 77,500 रुपये के बीच तेजी से उतार-चढ़ाव आया।’’
मंगलवार को सोने के साथ ही चांदी की कीमत भी 1800 रुपये के उछाल के साथ 96,700 रुपये प्रति किलोग्राम पर पहुंच गई। जबकि सोमवार को चांदी की कीमत 4600 रुपये की बड़ी गिरावट के बाद 94,900 रुपये प्रति किलो के भाव पर बंद हुई थी।
सोने के साथ-साथ चांदी की कीमत भी बिकवाली के दबाव में रही और ये 95,000 से नीचे आ गई। आज चांदी की कीमत 4600 रुपये की जोरदार गिरावट के साथ 94,900 रुपये प्रति किलो पर आ गई, जबकि पिछले कारोबारी सत्र में गुरुवार को एक किलो चांदी का भाव 99,500 रुपये पर बंद हुआ था।
एलकेपी सिक्योरिटीज में जिंस और मुद्रा शोध के उपाध्यक्ष जतिन त्रिवेदी ने बताया, संवत 2081 में सोने के लिए संभावनाएं सकारात्मक बनी हुई हैं। हमें उम्मीद है कि कम से कम 10 प्रतिशत की तेजी तो रहेगी और अगर आयात शुल्क में कटौती से खरीदारी में तेजी जारी रहती है तो सोना 15-18 प्रतिशत तक महंगा हो सकता है।
नए नियमों के तहत, अगर कोई व्यक्ति किसी भी नॉन-फाइनेंशियल ऐसेट को खरीदने के दो साल से ज्यादा समय बाद बेचता है तो उस पर इंडेक्सेशन के बिना 12.5 प्रतिशत की दर से कैपिटल गेन्स टैक्स चुकाना होता है।
आभूषण विक्रेताओं तथा खुदरा विक्रेताओं की ओर से धनतेरस की भारी मांग के बीच मंगलवार को राष्ट्रीय राजधानी में सोने की कीमत 300 रुपये बढ़कर 81,400 रुपये प्रति 10 ग्राम हो गई, जो अब तक का रिकॉर्ड उच्च स्तर है।
आभूषण विक्रेताओं और खुदरा विक्रेताओं की ओर से धनतेरस की भारी मांग और औद्योगिक इकाइयों और सिक्का निर्माताओं की ओर से बढ़ती मांग के चलते सोने और चांदी की कीमतों में मजबूती देखने को मिली।
डिजिटल गोल्ड को ऑनलाइन प्लेटफॉर्म से डिजिटली खरीदा जा सकता है। ये 24 कैरेट गोल्ड का एक इलेक्ट्रॉनिक फॉर्म है, जो आपके डिजिटल गोल्ड वॉलेट में रहता है।
वैश्विक अर्थव्यवस्थाओं में जारी भू-राजनीतिक तनाव और आर्थिक अस्थिरता का जोखिम भी निवेशकों को चांदी जैसी कीमती धातुओं की ओर आकर्षित कर रहा है।
जुलाई में, सरकार द्वारा सोने और अन्य धातुओं पर मूल सीमा शुल्क में कटौती के बाद स्थानीय बाजारों में सोने और चांदी की कीमतों में 7 प्रतिशत की तेज गिरावट आई। हालांकि, भारतीय उपभोक्ताओं की मांग बढ़ने से सर्राफा की कीमतों में तेजी जारी है।
सर्राफा व्यापारियों ने सोने की कीमतों में उछाल का श्रेय त्योहारी और शादी-ब्याह के मौसम में बढ़ी मांग को पूरा करने के लिए स्थानीय आभूषण विक्रेताओं की खरीदारी में तेजी को दिया, जिससे पीली धातु की कीमतों में तेजी को समर्थन मिला।
वायदा कारोबार में, मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (एमसीएक्स) में दिसंबर डिलीवरी वाले सोने का भाव 77,620 रुपये प्रति 10 ग्राम पर रहा। कारोबार के दौरान सोना वायदा 77,667 रुपये प्रति 10 ग्राम के सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंच गया था।
सोने की कीमत बीते कुछ दिनों से लगातार बढ़ रही है। चांदी भी इसी ट्रेंड पर आगे बढ़ रही है। प्रति 10 ग्राम सोना खरीदना अब काफी महंगा हो गया है। फेस्टिवल सीजन में ज्यादा प्राइस का असर भी देखने को मिल सकता है।
इक्विटी बाजारों में गिरावट ने भी पीली धातु में तेजी को बढ़ावा दिया क्योंकि निवेशक सोने जैसी सुरक्षित निवेश परिसंपत्तियों की ओर बढ़ रहे हैं। व्यापारियों ने स्थानीय आभूषण विक्रेताओं की मजबूत मांग के कारण सोने की कीमतों में तेजी का श्रेय दिया।
व्यापारियों ने स्थानीय आभूषण विक्रेताओं की कमजोर मांग के कारण पीली धातु की कीमतों में गिरावट को जिम्मेदार ठहराया। सोमवार को सोना 78,300 रुपये प्रति 10 ग्राम पर बंद हुआ था।
संपादक की पसंद