वित्त वर्ष 2024-25 की अप्रैल-सितंबर छमाही में केंद्र सरकार के राजस्व-व्यय के आंकड़ों से पता चलता है कि चालू वित्त वर्ष के लिए नेट टैक्स रेवेन्यू 12.65 लाख करोड़ रुपये यानी बजट अनुमान का 49 प्रतिशत था। सितंबर, 2023 के अंत में नेट टैक्स रेवेन्यू कलेक्शन 49.8 प्रतिशत था।
कांग्रेस पार्टी ने लोकसभा चुनाव 2024 में हुए खर्च का ब्यौरा चुनाव आयोग को सौंप दिया है। पार्टी की ओर से यह जानकारी दी गई है कि किस उम्मीदवार को चुनाव लड़ने के लिए खर्च के तौर पर पार्टी की ओर से कितने पैसे दिए गए।
आपको इनकम का 50 से 60 फीसदी अपने परिवार की जरूरतों पर खर्च करना है जिससे आपका और परिवार का खर्च आसानी से पूरा हो सके।
Income and Expenditure: बजट के पेपर में सरकार की ओर से एक रुपये में केंद्र की कमाई का लेखा-जोखा बताया गया। सरकार के खजाने में आने वाले प्रत्येक एक रुपये में 58 पैसा प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष करों से आएगा।
मंत्रालयों को ओवरटाइम भत्ता, घरेलू और विदेश यात्रा, कार्यालय खर्च, किराया, दर और कर, रॉयल्टी जैसे खर्चो में कटौती का लक्ष्य दिया गया है।
नीति आयोग के सदस्य के मुताबिक 2018-19 में देश का स्वास्थ्य क्षेत्र पर खर्च सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) का 1.5 प्रतिशत था। यह पिछले दशक के मुकाबले कुछ हद तक बेहतर है। हालांकि कोविड 19 के बाद इस खर्च को बढ़ाकर 2025 तक जीडीपी का 3 फीसदी करने की जरूरत है।
मंत्रालय ने स्पष्ट किया है कि यदि एक जुलाई, 2020 के बाद कोई नया पद बनाया गया है, जिसके लिए व्यय विभाग की मंजूरी नहीं ली गई है, और इस पर नियुक्ति नहीं हुई है, तो इसे रिक्त ही रखा जाए।
स्वास्थ्य और जन कल्याण से जुड़े मंत्रालयों के खर्च में कटौती नहीं होगी
ऐसे समय जब मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल के दूसरे आम बजट की तैयारी का काम जोर पकड़ चुका है, वित्त मंत्रालय की बजट टीम में दो महत्वपूर्ण अधिकारियों की कमी बनी हुई है।
सरकार के खर्च को कम करने के मकसद से वित्त मंत्रालय केंद्र प्रायोजित कुछ योजनाओं का विलय करने और कुछ पर विराम लगाने पर विचार कर रहा है।
भारत को दुनिया का सबसे बड़ा लोकंतत्र कहा जाता है और यहां चुनाव करवाना अपने आप में ही एक चुनौती है। न केवल व्यवस्था की दृष्टि से बल्कि खर्च की दृष्टि से भी। और खर्च की बात करें तो यह लगातार बढ़ता ही जा रहा है...
भारतीय कंपनियों ने 2017-18 में कॉरपोरेट सामाजिक दायित्व (सीएसआर) गतिविधियों पर 7,536.3 करोड़ रुपए खर्च किए हैं।
माल एवं सेवाकर (जीएसटी) राजस्व प्राप्ति नवंबर माह में सबसे कम रहने के बीच सरकार ने चालू वित्त वर्ष के शेष तीन महीनों में बाजार से दिनांकित प्रतिभूतियों के जरिये 50,000 करोड़ रुपए की अतिरिक्त राशि जुटाने का फैसला किया है।
केंद्र सरकार ने अपने कार्यकाल के साढ़े तीन वर्ष के दौरान पीएम मोदी और उनकी योजनाओं के प्रचार-प्रसार के लिए विज्ञापनों पर लगभग 3,755 करोड़ रुपए खर्च किए हैं।
लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने 1 अप्रैल से पहले केंद्रीय बजट पारित करने की प्रक्रिया पूरी होने पर सदन के सदस्यों, मंत्रियों और सरकार को बुधवार को बधाई दी।
एक सर्वे में 20 प्रतिशत ने कहा कि नोटबंदी के बाद उनकी आमदनी प्रभावित हुई है, वहीं 48 प्रतिशत ने कहा कि नोटबंदी के बाद उनका खर्च घटा है।
पासपोर्ट, लाइसेंस, विभिन्न परीक्षाओं और सरकार की तरफ से उपलब्ध कराई जाने वाली बहुत सी अन्य सुविधाओं के ऑनलाइन आवेदन के लिए आपको ज्यादा फीस देनी होगी।
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