सरकारी एवं निजी क्षेत्र में नौकरीपेशा लोगों की भविष्य की सुरक्षा के लिए सरकार ने कर्मचारी भविष्य निधि यानी EPF को अनिवार्य बनाया है।
ईपीएफओ ने मंगलवार को कर्मचारियों के भविष्य निधि कोष के सार्वभौमिक खाता नंबर (यूएएन) को आधार नंबर के साथ सत्यापित करते हुये भविष्य निधि (पीएफ) रिटर्न दाखिल करने के आदेश पर अमल को एक सितंबर 2021 तक के लिये टाल दिया है
नए वित्त वर्ष की पहली तिमाही यानी अप्रैल जून के बीच पीएफ खाताधारकों के खाते में ब्याज का पैसा ट्रांसफर किया जाता है।
देश के करीब 8 करोड़ कर्मचारी अपने भविष्य को सुरक्षित बनाने के लिए कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) की ओर से दी जाने वाली भविष्य निधि (PF) निवेश करते हैं।
कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने कोविड-19 महामारी की दूसरी लहर के दौरान अपने ग्राहकों को सहयोग देने के लिए अपने सदस्यों को दूसरे नोन-रिफंडेबल (गैर-वापसी) कोविड-19 एडवांस (अग्रिम) का लाभ उठाने की अनुमति दी है।
अब तक 76.31 लाख कर्मचारियों ने एडवांस के तौर पर 18,698.15 करोड़ रुपए की राशि की निकासी की है। इस रकम को वापस जमा नहीं करना है।
श्रम एवं रोजगार मंत्रालय ने कोविड-19 महामारी की वजह से बढ़ती मौत की घटनाओं को देखते हुए कर्माचारियों में अपने परिवार के लोगों की सलामती को लेकर भय एवं चिंता से निपटने के लिए ईएसआईसी और ईपीएफओ योजनाओं के जरिये कर्मचारियों के लिए अतिरिक्त लाभों की घोषण
1 जून 2021 से अगर किसी मेंबर का खाता आधार से लिंक नहीं होगा तो ECR फाइल करने की इजाजत नहीं होगी
मौत की यह संख्या उस परिवार के लिए एक आंकड़े से कहीं ज्यादा होता है, जिसके लिए वह परिवार की कमाई का एक मात्र जरिया था।
पीएफ खाते से पैन को लिंक न करने पर पीएफ से पैसा निकालने के वक्त अधिकतम टीडीएस काटा जाएगा। जो कि पैन के लिंक होने पर बच सकता है
सरकारी एवं निजी क्षेत्र में नौकरीपेशा लोगों की भविष्य की सुरक्षा के लिए सरकार ने कर्मचारी भविष्य निधि यानी ईपीएफ को अनिवार्य बनाया है।
अगर आपको अपना यूएएन याद नहीं है तो आपको परेशान होने की जरूरत नहीं है। आप इन तरीकों से फटाफट अपना यूएएन पता कर सकते हैं।
देश में सभी नौकरीपेशा लोगों के भविष्य की सुरक्षा के लिए सरकार ने भविष्य निधि यानि पीएफ खाते को अनिवार्य बनाया है।
कोरोना संकट के बीच नौकरी पेशा लोगों पर बढ़त जोखिम के बीच सरकार ने .ये फैसला लिया। जिसकी अधिसूचना 28 अप्रैल को जारी हो गयी है, जिसके साथ ही बढ़ी हुई लिमिट का फायदा मिलने लगा है।
भले ही आपने कितनी भी कंपनियां क्यों न बदली हों, पुरानी कंपनी से EPF बैलेंस अपनी मौजूदा कंपनी के PF अकाउंट में ट्रांसफर करना बेहद आसान है, जिसे आप घर बैठे बैठे भी बड़े आराम से कर सकते हैं।
श्रम एवं रोजगार मंत्रालय ने 28 अप्रैल को ईडीएलआई योजना के तहत अधिकतम बीमा राशि बढ़ाकर 7 लाख रुपये करने के फैसले को लागू करने के लिए अधिसूचना जारी कर दी।
मंत्रालय के अनुसार सालाना आधार पर फरवरी 2021 में ईपीएफओ से जुड़ने वाले अंशधारकों की संख्या में 19.63 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।
देश के करीब 8 करोड़ कर्मचारी अपने भविष्य को सुरक्षित बनाने के लिए कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) की ओर से दी जाने वाली भविष्य निधि (PF) निवेश करते हैं।
सीतारमण ने पीएफ खाते में जमा की जाने वाली राशि की सीमा को 5 लाख रुपये तक बढ़ाने की घोषणा करते हुए कहा कि यह नियम केवल उन मामलों पर ही लागू होगा, जहां नियोक्ता द्वारा कर्मचारी के पीएफ खाते में कोई अंशदान नहीं किया जाता है।
कर्मचारी पेंशन स्कीम (ईपीएस) 1995 एक निर्धारित अंशदान-निर्धारित लाभ वाली सामाजिक सुरक्षा योजना है।
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