सूत्रों के अनुसार यूपी, महाराष्ट्र, पंजाब सहित देश में बिजली उत्पादन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले दस राज्यों में कोयले की भारी किल्लत हो गई है।
राजधानी दिल्ली में तापमान चढ़ने के साथ बिजली की मांग सोमवार दोपहर 5,460 मेगावॉट पर पहुंच गई। यह अप्रैल में अबतक की सबसे ऊंची बिजली की मांग है। बिजली वितरण कंपनियों (डिस्कॉम) के अधिकारियों ने यह जानकारी दी।
ऑडियो क्लिप में लोनिकर को कथित तौर पर अधिकारी को यह कहते सुना जा सकता है कि वह उन झुग्गियों की बिजली क्यों नहीं काट रहे हैं, जहां लोग बिजली चोरी कर रहे हैं।
दिल्लीवासियों ने शनिवार को ‘अर्थ आवर’ अभियान के तहत रात साढ़े बजे से एक घंटे के लिए बिजली के गैर जरूरी उपकरणों को बंद करके करीब 171 मेगावाट बिजली की बचत की।
बैटरी के बिना आधुनिक जीवन की कल्पना संभव नहीं है। रोजमर्रा के काम में तरह तरह की बैटरियों का इस्तेमाल किया जाता है। बैटरी से जुड़े इतिहास की बात करें तो इटली के महान वैज्ञानिक अलेसांद्रो वोल्टा ने 20 मार्च के दिन ही विश्व समुदाय को बैटरी के विकास से जुड़ी इस खोज के बारे में पहली बार बताया।
राज्य के 52वें स्थापना दिवस पर यह घोषणा करते हुए कुछ अन्य श्रेणियों की शुल्क दरों में भी कटौती का ऐलान किया।
मंत्री ने कहा कि सरकार ने 1.59 लाख किलोमीटर बिजली ग्रिड बनाई है और लेह, लद्दाख तक हर घर में बिजली पहुंचाई है तथा आज प्रतिदिन 1.12 लाख मेगावॉट बिजली हस्तांतरण की क्षमता है।
राजस्थान में बिजली महंगी हो गई है। कोयले ने उपभोक्ताओं पर आर्थिक भार बढ़ा दिया है। राज्य में डिस्कॉम के फ्यूल सरचार्ज लगाने के बाद कीमतों में वृद्धि हुई है।
केंद्रीय विद्युत प्राधिकरण के आंकड़ों के मुताबिक चालू वित्त वर्ष में 13 अक्टूबर तक पूर्वी क्षेत्र में बिजली उत्पादन 8.48 प्रतिशत की दर से बढ़ा, जबकि इस दौरान अन्य क्षेत्रों में लगभग पांच प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई है।
13 अक्टूबर की रिपोर्ट के मुताबिक खानों से दूर स्थित ऐसे संयंत्र जिनके पास चार दिन से कम का कोयला स्टॉक था, उनकी संख्या घटकर 64 रह गई है। आठ अक्टूबर को यह संख्या 69 थी।
मंत्रालय ने कहा कि दिल्ली बिजली वितरण कंपनियों को 14 अक्टूबर 2021 को दादरी स्टेज-I से भी 756 मेगावाट बिजली का आवंटन किया गया।
इंडियन एनर्जी एक्सचेंज के जरिये निजी कंपनियों ने सिर्फ तीन दिन के अंदर देश भर में मनमानी दरों पर बिजली बेचकर 840 करोड़ रुपये का मुनाफा कमाया है।
अगले 5 से 7 दिन में 20 लाख टन कोयला प्रतिदिन की सप्लाई शुरू हो जायेगी। वही कोयले की आपूर्ति बढ़ाने के लिये रेलवे की साढ़े तीन सौ रैक की उपलब्धता कर दी गयी है।
राज्यों को लिखे पत्र में केंद्र ने कहा है कि केंद्रीय बिजली संयंत्रों से राज्यों के हिस्से की बिजली के कोटे का राज्य अपने उपभोक्ताओं की जरूरत के लिए ही इस्तेमाल करें
कोयले की कमी की वजह से एमएसईडीसीएल को बिजली की आपूर्ति करने वाले 13 थर्मल पावर प्लांट में उत्पादन ठप हो गया है, इसकी वजह से 3300 मेगावाट से ज्यादा बिजली की आपूर्ति पर असर पड़ा है।
त्योहारी सीजन से पहले भारत में बड़ा संकट पैदा होने का खतरा मंडरा रहा है। अगर सरकार ने इसे लेकर जल्द कदम नही उठाए तो इसका असर बड़े स्तर पर देखने को मिल सकता है।
मांग बढ़ने से बिजली की कीमतें ऊंची रहने की उम्मीद है। इंडिया रेटिंग्स एंड रिसर्च (इंड-रा) के अनुसार, अगस्त 2021 में अखिल भारतीय ऊर्जा मांग में 17.8 प्रतिशत सालाना की वृद्धि के साथ 129.4 अरब यूनिट (बीयू) तक सुधार जारी रहा।
पुलिस के एक अधिकारी ने बताया, "जांच के दौरान यह पाया गया कि महेंद्र अपने घर के पास एक बिजली के खंभे के संपर्क में आने के बाद करंट की चपेट में आ गया। उसे एम्स ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।"
एनटीपीसी ने बताया कि दारलीपल्ली यूनिट 2 (800 मेगावाट) को चालू कर दिया गया था, और इस इकाई का वाणिज्यिक संचालन एक सितंबर 2021 से चालू हो जाएगा। एनटीपीसी अपने सभी कैप्टिव खानों से कोयला उत्पादन बढ़ा रही है।
अगस्त के महीने में 15 अगस्त तक मांग और उत्पादन में सालाना आधार पर 15 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई है। इससे पहले जुलाई में देश की बिजली की खपत महामारी के पहले के स्तर पर पहुंच गयी थी
संपादक की पसंद