भारत निर्वाचन आयोग (Election Commission of India) ने शनिवार को चुनावी राज्यों में रैलियों और रोड शो पर लगी रोक को 31 जनवरी तक के लिए बढ़ा दिया है। हालांकि, भारत निर्वाचन आयोग ने पहले चरण के उम्मीदवारों को थोड़ी राहत दी है।
चुनाव आयोग ने शनिवार को प्रत्यक्ष रैलियों और रोडशो पर रोक 22 जनवरी तक बढ़ा दी है। चुनाव आयोग ने राजनीतिक दलों को अधिकतम 300 व्यक्तियों या 50 प्रतिशत हॉल की क्षमता के साथ इनडोर बैठकें आयोजित करने की अनुमति दी है।
देश के प्रमुख मुस्लिम संगठन जमीयत उलेमा-ए-हिंद ने भारत निर्वाचन आयोग से आग्रह किया कि उत्तर प्रदेश के अलीगढ़ में अगले सप्ताह प्रस्तावित ‘धर्म संसद’ पर रोक लगाई जाए क्योंकि ‘इस आयोजन का मकसद चुनावों के सांप्रदायिक आरोप-प्रत्यारोप को सार्वजनिक विमर्श में लाना है।’
उत्तर प्रदेश चुनाव आयोग ने घर बैठे वोट डालने की सुविधा को लेकर जानकारी शेयर की है। अगर आप मतदाता हैं और घर से मतदान करना चाहते हैं तो ये जानकारी पढ़ें।
मुख्य चुनाव आयुक्त सुशील चंद्रा ने कहा कि निर्वाचन आयोग केंद्रीय बजट पेश किए जाने में दखल नहीं देना चाहेगा। उन्होंने जोर देकर कहा कि बजट पेश किए जाने की वार्षिक प्रक्रिया से पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव में सभी राजनीतिक दलों के लिए समान अवसर की स्थिति प्रभावित नहीं होगी।
मुख्य चुनाव आयुक्त सुशील चंद्रा ने शनिवार को नई दिल्ली में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर चुनाव की तारीखों के साथ ही सुविधा कैंडिडेट ऐप, know your candidate ऐप और C-vigil ऐप का जिक्र किया, जिससे वोटरों को काफी मदद मिलेगी।
मणिपुर में 60 विधानसभा सीटें हैं और 16 जिले हैं। यहां विधानसभा का कार्यकाल 19 मार्च 2022 को समाप्त हो रहा है। इस समय राज्य में NDA गठबंधन की सरकार है और भाजपा के मुख्यमंत्री एन बिरेन सिंह हैं।
गोवा में 40 विधानसभा सीटें हैं और 2 जिले हैं। यहां विधानसभा का कार्यकाल 15 मार्च को समाप्त हो रहा है। राज्य में पिछला विधानसभा चुनाव फरवरी 2017 में हुआ था। कांग्रेस 15 सीटें जीतकर सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी थी लेकिन वो सरकार नहीं बना सकी। गोवा के मुख्यमंत्री के रूप में मनोहर पर्रिकर ने शपथ ली थी लेकिन 17 मार्च 2019 को मनोहर पर्रिकर के निधन के बाद डॉ. प्रमोद सावंत को राज्य का मुख्यमंत्री बनाया गया।
भारत निर्वाचन आयोग (Election Commission of India) ने उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव (Uttar Pradesh Vidhan Sabha Chunav 2022) की तारीखों (UP Election Date) का ऐलान कर दिया है।
कुछ महीनों में उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, गोवा, मणिपुर में विधानसभा चुनाव होने हैं। वहीं, देश में ओमिक्रॉन संक्रमितों के बढ़ते मामले की वजह से स्वास्थ्य विभाग और चुनाव आयोग के लिए समय पर चुनाव कराना चुनौती भरा हो सकता है।
भारत निर्वाचन आयोग ने बताया कि चुनाव आचार संहिता लगने के बाद से लोग सी-विजिल (cVIGIL) ऐप का इस्तेमाल कर सकेंगे। अगर चुनाव में कहीं धांधली हो रही है तो लोग इसके जरिए शिकायत कर सकते हैं और आयोग इस पर एक्शन लेगा।
28 दिसंबर को 3 दिवसीय दौरे पर यूपी पहुंच रही भारत निर्वाचन आयोग की टीम यहां पुलिस के आला अफसरों और सभी 75 जिलाधिकारियों के साथ मीटिंग करेगी। भारत निर्वाचन आयोग इस मीटिंग के जरिए अधिकारियों से चुनाव संबंधी फीडबैक लेगा।
निर्वाचन आयोग ने सोमवार को केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव के साथ बैठक की। इस बैठक में उन राज्यों की कोविड-19 की स्थिति की समीक्षा की गई, जहां पर अगले साल यानी 2022 में विधानसभा चुनाव होने हैं। इस क्रम में आयोग ने कोरोना की वर्तमान की स्थिति की भी समीक्षा की।
सूत्रों ने बताया कि समिति के सदस्यों के साथ चर्चा के बाद सुशील मोदी ने आयोग के शीर्ष अधिकारियों को बुलाने और सुदूर क्षेत्र से मतदान के विषय पर चर्चा करने का निर्णय लिया। सुदूर क्षेत्र से मतदान से लोगों को अपने निर्वाचन क्षेत्र से बाहर से मतदान करने की सुविधा प्राप्त हो सकती है।
विधानसभा चुनाव से पहले पांचों राज्यों में पिछले तीन साल से एक ही जगह में तैनात अधिकारियों के ट्रांसफर के आदेश दिए गए हैं
चुनाव आयोग ने राजनीतिक दलों के इन खर्चों का विवरण अपनी वेबसाइट पर सार्वजनिक किया है। चुनाव से पहले तमिलनाडु में सत्ता पर काबिज अन्नाद्रमुक ने विधानसभा चुनावों में प्रचार पर 57.33 करोड़ (57,33,86,773) रुपये खर्च किये। इसमें पुडुचेरी में विधानसभा चुनाव में प्रचार पर किये गये खर्च भी शामिल हैं।
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने शनिवार को कहा कि वह चाहेंगी कि चुनाव आयोग 10 अक्टूबर से 10 दिनों तक उपचुनाव के लिए प्रचार अभियान को स्थगित कर दे क्योंकि इस अवधि के दौरान लोग साल का सबसे बड़ा त्योहार मनाने में व्यस्त रहेंगे।
महाराष्ट्र में अगले हफ्ते होने वाले राज्यसभा उप चुनाव के लिए भारतीय जनता पार्टी को चुनाव आयोग से राहत मिली है। चुनाव आयोग ने 12 निलंबित विधायकों को उप चुनाव में मतदान का अधिकार दे दिया है।
सहारनपुर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक एस. चेन्नपा ने बताया कि आरोपी विपुल सैनी ने यहां के नकुड़ इलाके में अपनी कम्प्यूटर की दुकान में कथित तौर पर हजारों की संख्या में मतदाता पहचान पत्र बनाए थे। पुलिस अधिकारी ने बताया कि सैनी आयोग की वेबसाइट में उसी पासवर्
पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के राजनीतिक रणनीतिकार रहे प्रशांत किशोर ने रविवार को बड़ा ऐलान किया है।
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