नेपाल में भूकंप की वजह से धरती कांपी है। रिक्टर पैमाने पर इसकी तीव्रता 4.3 मापी गई है। ये भूकंप नेपाल में शाम 5 बजकर 18 मिनट पर महसूस किया गया है।
नेपाल में भूकंप आने का क्रम जारी है। अक्टूबर महीने में अब तक कई बार भूकंप आ चुका है। हालांकि इन झटकों की वजह से अभी तक किसी बड़े नुकसान की खबर नहीं आई है।
भारत के बाद पड़ोसी देश नेपाल में भी भूकंप का तेज झटका महसूस किया गया है। जानकारी के अनुसार नेपाल के सुदूरपश्चिम प्रांत में सोमवार को सुबह 9 बजकर 26 मिनट पर धरती हिलने लगी। इससे लोग घबराकर बाहर की ओर भागने लगे। इससे एक दिन पहले रविवार को भारत की राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली क्षेत्र में भूकंप आया था।
उत्तराखंड के पिथोरागढ़ जिले में तेज भूकंप के झटके महसूस किए गए। राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र के अनुसार, रिक्टर स्केल पर इस भूकंप की तीव्रता 4 दर्ज की गई। बता दें कि रविवार को दिल्ली-एनसीआर के कई हिस्सों में भूकंप आया था।
दिल्ली-एनसीआर में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए हैं। ये झटके इतने तेज थे कि लोग अपने घरों और ऑफिसों से बाहर निकल आए। भूकंप की तेजी का अंदाजा इस बात से लगा सकते हैं कि लोगों ने अपने घरों और ऑफिसों में चीजों को हिलते हुए देखा।
अफगानिस्तान में रविवार की सुबह एक बार फिर से भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए हैं। भूकंप की तीव्रता 6.5 बताई जा रही है। भूकंप महसूस होते ही लोग घरों से बाहर निकल भागे।
अफगानिस्तान में इस हफ्ते यह दूसरी बार भूकंप आया है। इससे पहले बुधवार 11 अक्टूबर को भी भूकंप के झटके महसूस किए गए थे। वहीं कुछ दिनों पहले ही आए भूकंप में हजारों लोगों की जान चली गई थी।
अफगानिस्तान में बुधवार को फिर भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए हैं। उत्तर पश्चिमी क्षेत्र में आए भूकंप की तीव्रता 6.1 बताई जा रही है। बता दें कि इससे कुछ दिनों पहले ही आए भूकंप में हजारों लोगों की जान चली गई थी।
पूर्वी अफगानिस्तान में साल 2022 में आए भूकंप के जख्म अभी हरे ही थे कि कल पश्चिमी अफगानिस्तान में शक्तिशाली झटकों ने पूरे देश में त्राहिमाम मचा दिया। तालिबान के एक प्रवक्ता ने अपने बयान में कहा है कि कल आए भूकंप में मरने वालों का आंकड़ा बढ़कर 2,000 तक पहुंच गया है।
अफगानिस्तान में शनिवार को भूकंप के तेज झटके से धरती कांपी, जिससे जान-माल का काफी नुकसान हुआ है। वहीं रविवार के तड़के तीन बजकर 20 मिनट पर अंडमान में भूकंप के झटके महसूस किए गए। भूकंप की तीव्रता 4.3 मापी गई है।
अफगानिस्तान में आए भीषण भूकंप की वजह से भारी तबाही मची है। रिक्टर स्केल पर इस भूकंप की तीव्रता 6.3 मापी गई है जोकि एक तेज भूकंप माना जाता है। इस भूकंप की वजह से अभी तक 320 लोगों की मौत हो चुकी है। मरने वालों का आंकड़ा बढ़ सकता है।
जापान दुनिया के सबसे ज्यादा भूकंप के संवेदनशील इलाकों में से एक है। यहां एक बार फिर भूकंप आया। रिक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 6.6 बताई जा रही है। इसके चलते सुनामी को लेकर भी चेतावनी जारी कर दी गई है।
मंगलवार 3 अक्टूबर को दिल्ली-एनसीआर समेत कई राज्यों में भूकंप के झटके महसूस किए गए थे। इस भूकंप का केंद्र नेपाल था, जहां इसकी वजह से कुछ घर भी गिर गए थे। रिक्टर स्केल पर भूकंप की तीव्रता 6.2 मापी गई थी।
भूगर्भ विशेषज्ञों के अनुसार, भारत के कुल भूभाग के लगभग 59 फीसदी हिस्से को भूकंप के लिहाज से संवेदनशील माना जाता है। हमारी धरती के भीतर 7 टेक्टोनिक प्लेट्स हैं। ये प्लेट्स लगातार अपने स्थान पर घूमते रहती हैं। हालांकि, कभी-कभी इनमें टकराव या घर्षण भी होता है। इस कारण भूकंप आता है।
मंगलवार के दिन नेपाल और भारत के कई इलाकों में भूकंप महसूस किया गया। नेपाल में मंगलवार को आधे घंटे में दो बार भूकंप के झटके महसूस किए गए। पहला 2:25, दूसरा 2:51 बजे आया। नेपाल में भूकंप से कई इमारतें क्षतिग्रस्त हुई हैं। इसका वीडियो भी सामने आया है।
दिल्ली-NCR में भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। उत्तराखंड में भी भूकंप आया। नेशनल सेंटर फोर सिस्मोलॉजी के अनुसार, इस भूकंप का केंद्र नेपाल में बताया गया है। इसकी तीव्रता 6.2 थी।
एक विदेशी साइंटिस्ट ने दावा किया कि पाकिस्तान में तेज गति का भूकंप आ सकता है। इसके बाद से पड़ोसी देश में लोगों के बीच डर का माहौल व्यापत हो गया है। हालांकि पाकिस्तान के सुनामी सेंटर ने इस दावे को गलत कहा है।
असम, मेघालय और त्रिपुरा में भूकंप की वजह से धरती कांपी है। ये झटके इतने तेज थे कि लोग अपने घरों से बाहर निकल आए। रिक्टर स्केल पर भूकंप की तीव्रता 5.2 दर्ज की गई है। इस तीव्रता के भूकंप के दौरान भारी सामान और फर्नीचर हिलता हुआ दिखाई दे सकता है।
असम के धुबरी इलाके में भूकंप की खबर है। हालांकि भूकंप से किसी तरह के जान-माल के नुकसान की खबर नहीं है। जानिए क्या रही भूकंप की तीव्रता।
सूर्य, जिसके बिना जीवन की कल्पना नहीं की जा सकती है। हिंदू शास्त्र- पुराणों और वेदों में इसे देवता माना गया है। प्रातःकाल में उगते सूरज की उपासना करना और इसके साथ ही डूबते सूर्य को भी अर्घ्य देने की परंपरा रही है। जानिए सूरज के बारे में कुछ रोचक तथ्य-
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