अंतर बैंक विदेशी विनिमय बाजार में डॉलर के मुकाबले रुपया सोमवार को 28 पैसे की जोरदार गिरावट के साथ 68.88 प्रति डॉलर पर आ गया।
गातार 16 दिन तक पेट्रोल और डीजल के भाव में कटौती या स्थिरता रहने के बाद फिर से तेल कंपनियों ने दाम बढ़ा दिए हैं। सोमवार को पेट्रोल की कीमतों में 9 पैसे प्रति लीटर और डीजल की कीमतों में 13-14 पैसे प्रति लीटर की बढ़ोतरी की गई है
देश का विदेशी पूंजी भंडार 20 जुलाई को समाप्त सप्ताह में 6.77 करोड़ डॉलर बढ़कर 405.14 अरब डॉलर हो गया, जो 27,873.0 अरब रुपए के बराबर है।
Rupee Vs Dollar : अमेरिकी करेंसी डॉलर के मुकाबले भारतीय करेंसी रुपए ने इस हफ्ते मजबूती के साथ शुरुआत की है। डॉलर के मुकाबले रुपया 14 पैसे की मजबूती के साथ खुला है और धीरे-धीरे और मजबूत हो रहा है। फिलहाल डॉलर का भाव घटकर 68.66 रुपए तक आ गया है। रुपए में आई इस रिकवरी के फायदे भी हैं और नुकसान भी।
मुद्रा बाजार में जारी उथल-पुथल पर लगाम लगाने के उद्देश्य से किए गए रिजर्व बैंक के अनुमानित दखल से आज अंतरबैंकिंग मुद्रा बाजार में रुपया सर्वकालिक निचले स्तर से ऊपर उठ गया और 21 पैसे की मजबूती लेकर 68.84 रुपए प्रति डॉलर पर बंद हुआ।
डॉलर के मुकाबले रुपया शुक्रवार के शुरुआती कारोबार के दौरान 69.12 के स्तर तक चला गया। यह रुपए का अबतक का निम्नतम स्तर है। बैंकों और आयातकों ने डॉलर की बिकवाली की जिससे यह स्थिति बनी है।
वैश्विक बाजारों में कमजोर रुख तथा स्थानीय आभूषण विक्रेताओं की कमजोर मांग के कारण दिल्ली के सर्राफा बाजार में बीते सप्ताह सोने की चमक कम हुई और इसकी कीमत 560 रुपए की हानि दर्शाती 31,090 रुपए प्रति 10 ग्राम पर बंद हुई।
शेयर बाजार में भारी तेजी और कच्चे तेल की कीमतों में भारी गिरावट से रुपए की विनिमय दर आज 20 पैसे की तेजी के साथ एक सप्ताह के उच्च स्तर 68.57 रुपए प्रति डॉलर पर बंद हुई।
डॉलर की लगातार मजबूती, विदेशी निवेश प्रवाह में कमी तथा कच्चे तेल की बढ़ती कीमतों को लेकर चिंता की वजह से रुपए पर अभी दबाव बना रहेगा। बैंकरों का कहना है कि इस सप्ताह रुपया और टूटकर 70 रुपए प्रति डॉलर तक पहुंच जाएगा।
वैश्विक बाजारों में मजबूती के रुख और स्थानीय आभूषण विक्रेताओं की लिवाली बढ़ने के कारण दिल्ली के सर्राफा बाजार में बीते सप्ताहांत सोने में फिर से चमक लौट आई और इसकी कीमत 230 रुपए की तेजी दर्शाती 31,650 रुपए प्रति 10 ग्राम पर बंद हुई।
Petrol-Diesel: लगभग 5 हफ्ते तक पेट्रोल और डीजल की कीमतों में कटौती या स्थिरता के बाद तेल कंपनियों ने गुरुवार को फिर से दाम बढ़ा दिए हैं। 29 मई के बाद तेल कंपनियां या तो लगातार दाम घटा रही थीं या फिर भाव स्थिर बने हुए थे लेकिन अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतों में फिर से आई तेजी और घरेलू स्तर पर डॉलर के मुकाबले रुपए में आए दबाव की वजह से गुरुवरा को तेल कंपनियों ने फिर से दाम बढ़ाने का फैसला किया है।
अंतर बैंकिग विदेशी मुद्रा विनिमय कारोबार में रुपए में मंगलवार की तेजी के बाद बुधवार को अंतिम दौर में रुख पलट गया। खरीफ फसलों के न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) में वृद्धि के बाद मुद्रास्फीति को लेकर चिंता बढ़ने और कच्चे तेल की बढ़ती कीमतों के बीच रुपया 17 पैसे गिरकर 68.74 रुपये प्रति डॉलर पर बंद हुआ।
बढ़ते वैश्विक जोखिम से अल्पावधि में अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया गिरकर 68 से 72 रुपए प्रति डॉलर के दायरे में पहुंच सकता है लेकिन इसके बाद रिजर्व बैंक (RBI) स्थिति नियंत्रण में लाने के लिये बाजार में हस्तक्षेप कर सकता है। यूबीएस की एक रिपोर्ट में यह कहा गया है।
भारत का विदेशी मुद्रा भंडार (फॉरेक्स रिजर्व) 22 जून को समाप्त सप्ताह के दौरान 2.25 अरब डॉलर घटकर 407.81 अरब डॉलर रह गया। मुद्रा भंडार का यह सात महीने का सबसे निचला स्तर है।
मुद्रास्फीति और कमजोर वैश्विक रुख से गुरुवार को रुपया 68.79 प्रति डॉलर के सर्वकालिक निचले स्तर पर बंद हुआ था।
रुपए के अबतक के सबसे निचले स्तर पर पहुंचने के बीच स्थानीय जौहरियों की खरीद से दिल्ली सर्राफा बाजार में सोना आज 80 रुपए सुधरकर 31,650 रुपए प्रति दस ग्राम पर पहुंच गया। कारोबारियों ने कहा कि आभूषण विक्रेताओं की लिवाली के अलावा आज कारोबार के दौरान रुपया टूटकर अपने सर्वकालिक निचले स्तर 69.10 प्रति डॉलर पर आ गया।
भारत उन पांच देशों में शुमार है जो डॉलर के मजबूत होने से सबसे कम जोखिम की स्थिति में हैं। मूडीज इन्वेस्टर सर्विस ने गुरुवार एक रिपोर्ट में कहा कि डॉलर के मजबूत होने से अन्य मुद्राओं पर दबाव बढ़ रहा है, लेकिन भारत सबसे कम जोखिम वाले देशों में है।
डॉलर के मुकाबले भारतीय करेंसी रुपए में लगातार गिरावट के पीछे बड़ी वजह देश के विदेशी मुद्रा भंडार में लगातार आ रही गिरावट भी है, भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के आंकड़ों के मुताबिक 15 जून को खत्म हफ्ते के दौरान देश का विदेशी मुद्रा भंडार 410.07 अरब डॉलर दर्ज किया गया है जो 2018 में सबसे कम स्तर है और रिकॉर्ड स्तर से करीब 16 अरब डॉलर कम है
डॉलर के मुकाबले रुपये में लगातार कमजोरी देखी जा रही है। गुरुवार को भारतीय मुद्रा अमेरिकी डॉलर के मुकाबले अपने सबसे निचले स्तर पर आ गई। गुरुवार की सुबह रुपया 28 पैसे की गिरावट के साथ रुपए के मुकाबले 68.89 के स्तर पर खुला। हालांकि, खबर लिखे जाते समय यह और कमजोर होकर 69 के निचले स्तर पर चल रहा था।
अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतों में आई तेजी और घरेलू स्तर पर रुपए में भारी गिरावट की वजह से बुधवार को भारतीय शेयर बाजार पर एक बार फिर से दबाव देखने को मिला है। बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज का सेंसेक्स और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी भारी गिरावट के साथ बंद हुए हैं, सेंसेक्स 272.93 प्वाइंट घटकर 35217.11 और निफ्टी 97.75 प्वाइंट की गिरावट के साथ 10671.40 पर बंद हुआ है
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