इसरो प्रमुख एस सोमनाथ ने मंगलवार को दिल्ली में इसरो को प्लानिंग को लेकर बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि चंद्र मिशन की सफलता के बाद अब शुक्र ग्रह और सौरमंडल के बाहर के ग्रहों पर इसरो की नजर है।
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) इस महीने की शुरुआत में चंद्रयान-3 के विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर को स्लीप मोड में भेजने के बाद से उन्हें दोबारा से जगाने की कोशिश कर रहा है। हम आपको बताएंगे कि अगर चंद्रयान-3 का रोवर और लैंडर दोबारा नहीं जागे तो क्या होगा?
चांद पर चंद्रयान-3 की सॉफ्ट लैंडिंग के बाद लैंडर विक्रम और प्रज्ञान रोवर ने चांद पर एक दिन पूरा कर लिया है। इसरो का कहना है कि चंद्रयान-3 मिशन का उद्देश्य पूरा हो चुका है। हालांकि, प्रयास ये है कि उन्हें जगाकर अतिरिक्त जानकारियां जुटाई जाएं।
चंद्रमा की सतह पर पिछले दो हफ्ते से निष्क्रिय पड़े लैंडर विक्रम और रोवर प्रज्ञान को एक्टिव करने की कोशिश इसरो के वैज्ञानिकों ने शुरू कर दी है। फिलहाल लैंडर विक्रम और रोवर प्रज्ञान की तरफ से कोई सिग्नल नहीं मिला है।
चंद्रमा के दक्षिणी हिस्से में अब सूर्योदय हो गया है। ऐसे में इसरो की ओर से 22 सितंबर को चंद्रयान-3 के विक्रम लैंडर और प्रज्ञान रोवर से संपर्क करने की कोशिश की जाएगी। अगर ऐसा हो जाता है तो चांद से इसरो को और अधिक डेटा मिल सकता है।
चंद्रमा पर 14 दिनों तक धूप और 14 दिनों तक अंधेरा रहता है। चंद्रयान मिशन-3 का प्रज्ञान रोवर और विक्रम लैंडर अभी चांद के दक्षिणी ध्रुव पर मौजूद हैं और सूर्योदय होते ही इनके फिर से चार्ज होने की उम्मीद है।
राज्यसभा में आज चंद्रयान-3 की सफलता पर चर्चा हुई। इस दौरान विपक्षी पार्टियों ने इस सफलता का श्रेय वैज्ञानिकों को दिया। साथ ही विपक्षी दलों के सांसदों ने सरकार से रिसर्च पर खर्च बढ़ाने को भी कहा।
ISRO ने लोगों को चंद्रयान-3 के बारे में जानकारी देने व टेस्ट करने के लिए एक क्विज शुरू किया है। MyGov चंद्रयान-3 महा क्विज़ लिंक isro quiz.mygov.in पर उपलब्ध है। यहां पुरस्कार राशि, पात्रता, नियम और शर्तें और जानें।
चंद्रयान-3 ने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर सफल लैंडिंग कर कीर्तिमान रच दिया। चंद्रमा पर अभी रात का समय चल रहा है और 22 सितंबर को वहां सूरज की रौशनी होगी तो क्या फिर से रोवर एक्टिव हो जाएगा। कोरियाई मून मिशन ने तस्वीरें भेजी हैं।
Chandrayaan-3 का विक्रम लैंडर सोमवार को हा स्लीप मोड में चला गया था। अंधेरे में चांद पर अभी विक्रम लैंडर कैसा दिख रहा है। इसकी तस्वीर चंद्रयान-2 के ऑर्बिटर ने ली। जिसे ISRO ने सोशल मीडिया साइट X पर शेयर किया है।
भारत के ISRO की राह पर अमेरिका का NASA भी चलेगा। नासा चांद के दक्षिणी ध्रुव पर रोवर यान उतारेगा। इसके लिए टेस्टिंग शुरू हो गई है। 'नासा' द्वारा चांद पर अंतरिक्ष यान भेजने के लिए एक चंद्रमा रोवर बनाया जा रहा है।
दरभंगा जिले के गौरा बौराम प्रखंड के आसी पंचायत स्थित महुआर गांव के निवासी राजकुमार झा ने आरटीआई लगाते हुए भारत सरकार से जवाब मांगा है। अब देखना दिलचल्प होगा कि भारत सरकार सूचना अधिकार आवेदन का क्या जवाब देती है।
हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर फैक्ट्री लगाने की मांग कर रही महिला को दिए एक जवाब को लेकर विपक्षी पार्टी के निशाने पर आ गए हैं।
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान ने आज चंद्रमा की एक 3D तस्वीर जारी की है। चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर गए प्रज्ञान रोवर ने यह तस्वीर ली है। तस्वीर पोस्ट करते ही सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है।
इसरो प्रमुख एस सोमनाथ ने पहले कहा था कि चंद्र मिशन के रोवर और लैंडर चंद्रमा की रात में निष्क्रिय हो जाएंगे। इसके 14 दिनों बाद जब वहां उस्बह होगी तब इनके सक्रिय होने की उम्मीद है।
भारत का चंद्रयान-3 मिशन चांद पर अपनी सभी अपेक्षाओं पर खड़ा उतरा है। प्रज्ञान रोवर सभी अहम जानकारियों को ट्रांसफर कर के स्लीप मोड में जा चुका है। वहीं, विक्रम लैंडर ने एक और करतब दिखाया है।
इसरो की वैज्ञानिक एन वलरमती का दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया। वलरमति रॉकेट लॉन्चिंग के लिए काउंटडाउन का जिम्मा संभालती थीं। चंद्रयान- 3 की लॉन्चिंग के लिए भी काउंटडाउन वलरमती ने ही किया था।
भारत अब तक चांद पर तीन मिशन भेज चुका है। साल 2008 में चंद्रयान-1 को लॉन्च किया गया था। इसमें एक प्रोब की क्रैश लैंडिंग कराई गई थी जिससे चांद पर पानी के बारे में पता चला था। फिर 2019 में चंद्रयान-2 चांद के करीब पहुंचा, लेकिन लैंड नहीं कर पाया। 23 अगस्त 2023 को चंद्रयान-3 के चांद पर लैंड करते ही भारत ने रिकॉर्ड बना दिया।
Chandrayaan-3 के बाद अब ISRO ने सूरज के राज खोलने के लिए Aditya-L1 Mission लॉन्च किया है। इस मिशन के जरिए Sun के रहस्य खुलेंगे। देखिए कैसा है सूर्य, जिसमें समा सकती हैं 13 लाख Earth |
चंद्रयान-3 को लेकर बड़ा अपडेट सामने आया है। जानकारी मिली है कि रोवर, लैंडर से 100 मीटर दूर हो गया है। एक या दो दिन में इन्हें निष्क्रिय करने की प्रक्रिया शुरू होगी।
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