एनसीईआरटी को डीम्ड यूनिवर्सिटी का दर्जा मिलने जा रहा है। जिसके बाद एनसीईआरटी स्वंय की ग्रेजुएट, पोस्टग्रेजुएट और डॉक्टरेट डिग्री दे सकेगी। ये जानकारी केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने दी है।
भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी इसरो चांद के बाद अब सूर्य पर भी खोज करने के लिए मिशन लॉन्च करने जा रही है। इससे पहले इसरो के चीफ मंदिर पहुंचे।
चंद्रयान 3 की सफलता पर विपक्षी गठबंधन I.N.D.I.A ने इसरो को बधाई दी है। इसरो को बधाई देते हुए विपक्षी गठबंधन ने कहा कि चंद्रयान 3 की सफलता के बाद दुनिया की निगाहें अब आदित्य एल 1 के लॉन्च पर टिकी हैं।
चंद्रयान 3 ने चंद्रमा पर पहली बार प्राकृतिक भूकंपीय गतिविधियों के रिकॉर्ड किया है। इसरो के अनुसार चांद की सतह पर प्रज्ञान रोवर और लैंडर विक्रम ने भूकंपीय गतिविधियों को दर्ज किया है। इसरो ने कहा कि यह घटना प्राकृतिक प्रतीत होती है। इसके सभी स्रोतों की जांच की जा रही है।
23 अगस्त की शाम भारत के चंद्रयान-3 ने चांद के दक्षिणी हिस्से में लैंडिंग कर के इतिहास रच दिया था। इसके बाद से लगातार इसरो के वैज्ञानिकों का सम्मान किया जा रहा है।
भारत अब तक चांद पर तीन मिशन भेज चुका है। साल 2008 में चंद्रयान-1 को लॉन्च किया गया था। इसमें एक प्रोब की क्रैश लैंडिंग कराई गई थी जिससे चांद पर पानी के बारे में पता चला था। फिर 2019 में चंद्रयान-2 चांद के करीब पहुंचा, लेकिन लैंड नहीं कर पाया। 23 अगस्त 2023 को चंद्रयान-3 के चांद पर लैंड करते ही भारत ने रिकॉर्ड बना दिया।
इसरो द्वारा भेजे गए चंद्रयान-3 का लैंडर पूरी शान के साथ चांद की सतह पर खड़ा है। प्रज्ञान रोवर ने लैंडर विक्रम की एक और तस्वीर अपने कैमरे में कैद की है। इस तस्वीर को इसरो ने जारी किया है।
इसरो ने विक्रम लैंडर की तस्वीर जारी की है जिसे प्रज्ञान रोवर में लगे कैमरे ने क्लिक किया है। प्रज्ञान रोवर चंद्रमा की सतह पर चहलकदमी कर रहा है और कई नई जानकारियां भेज रहा है।
चंद्रयान-3 मिशन के जरिए भारत ने एक और ऐतिहासिक कामयाबी हासिल की है। इसरो ने बताया कि चंद्रयान-3 के रोवर प्रज्ञान ने चांद पर ऑक्सीजन का पता लगाया है।
मंगलवार को हुई केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में कई बड़े फैसले किए गए। इनमें चंद्रयान-3 की सफलता की सराहना से लेकर रसोई गैस की कीमतों में कटौती की घोषणा अहम रही।
चंद्रयान 3 की सफलता के बाद इसरो अब सूर्य के अध्ययन के लिए अपना मिशन भेजने वाला है। सूर्य का अध्ययन करने वाले Aditya L1 मिशन को 2 सितंबर को लॉन्च किया जाएगा।
चंद्रयान-3 का प्रज्ञान रोवर चांद पर नए-नए खोज कर रहा है। दूसरी ओर भारत में इसके लैंडिंग साइट के नामकरण को लेकर राजनीतिक दलों के बीच विवाद हो गया है।
इसरो ने रोवर प्रज्ञान की कुछ नई तस्वीरें जारी की है। दरअसल, रोवर चांद की सतह से सैंपल्स जुटाने में लगा है। इस बीच, रोवर प्रज्ञान चहलकदमी करते हुए एक बड़े गड्ढे के पास पहुंच गया।
मिशन चंद्रयान 3 को पूरा करने के बाद भारतीय स्पेस एजेंसी इसरो अब सूर्य तक अपनी पहुंच बनाने की तैयारियों में जुट चुका है। इसी कड़ी में आदित्य एल 1 मिशन को जल्द ही लॉन्च किया जाएगा।
आसमान में 30 अगस्त की रात अनोखी आकाशीय घटना होगी। इस दिन चांद सबसे ज्यादा चमकीला और बड़ा दिखाई देगा। क्या होता है सुपर ब्लू मून, आप कैसे और कब देख सकेंगे? जानिए पूरी डिटेल्स-
चंद्रयान-3 की सफलता के बाद रविवार को इसरो प्रमुख ने तिरुवनंतपुरम में मीडिया से बात करते हुए बताया कि चंद्रमा की सबसे अच्छी तस्वीर केवल हमारे पास है।
अखिल भारतीय हिंदू/संत महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी चक्रपाणि ने कहा है कि इससे पहले किसी अन्य विचारधारा के लोग चांद पर पहुंचे उससे पहले चांद को हिंदू राष्ट्र घोषित कर दिया जाए।
बीजेपी नेता सीपी जोशी ने कांग्रेस पर बड़ा आरोप लगाते हुए कहा कि इनके शासनकाल में वैज्ञानिकों के खिलाफ साजिश रची जाती थी। इसके साथ ही उन्होंने सीएम गहलोत के चंद्रयान-3 को लेकर दिए बयान पर हमला बोला।
Fatafat 50: कल नूंह में शोभायात्रा निकालने की तनातनी के बीच सुरक्षा कड़ी, ज़िले के बॉर्डर पर विशेष चौकसी
चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर चांद की सतह का तापमान क्या है और ये किस प्रकार बदलता है। इस बारे में अब तक दुनिया को कोई जानकारी नहीं है। मगर भारत द्वारा भेजे गए चंद्रयान 3 के पेलोड विक्रम लैंडर ने चांद की सतह का भ्रमण करके दिन भर चांद की मिट्टी के ताप का आकलन किया। अब इसे इसरो ने ग्राफ के तौर पर प्रस्तुत किया है।
संपादक की पसंद