धारा 220(2ए) के तहत देय ब्याज में कटौती या छूट तीन निर्दिष्ट शर्तों के पूरा होने पर मिलेगी। ये शर्ते हैं, ऐसी राशि के भुगतान से करदाता को वास्तविक कठिनाई हुई है या होगी। ब्याज भुगतान में चूक करदाता के नियंत्रण से परे परिस्थितियों के कारण हुई थी।
भारत में इनकम टैक्स डिपार्टमेंट के 165 साल पूरे होने पर आयोजित एक खास कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री ने ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर में इनकम टैक्स जांच के प्रमुख निदेशक एस. के. झा और अतिरिक्त निदेशक गुरप्रीत सिंह के नेतृत्व वाली इनकम टैक्स टीम को 'सीबीडीटी उत्कृष्टता प्रमाणपत्र' से सम्मानित किया।
आयकर अधिनियम, 1961 की समीक्षा का मकसद मुकदमेबाजी को कम करना और करदाताओं को टैक्स निश्चितता प्रदान करना है। आयकर रिटर्न (आईटीआर) दाखिल करने की नई व्यवस्था को व्यापक स्वीकृति मिल रही है।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बीते मंगलवार को अपने बजट भाषण में लंबित अपीलों के निपटान के लिए योजना शुरू करने का प्रस्ताव रखा। टैक्स चुकाने वालों के लिए यह योजना राहत लेकर आएगी।
आयकर विभाग विभिन्न स्रोतों से करदाताओं के निर्दिष्ट वित्तीय लेनदेन की जानकारी प्राप्त करता है। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने कहा कि आयकर विभाग को वित्त वर्ष 2023-24 के दौरान व्यक्तियों/इकाइयों द्वारा किए गए विशिष्ट वित्तीय लेनदेन पर कुछ जानकारी प्राप्त हुई है।
केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने 2024-25 के अंतरिम बजट में की गई घोषणा को अमल में लाने के लिए यह आदेश जारी किया। एक लाख रुपये की लिमिट में टैक्स डिमांड की मूल राशि, ब्याज, जुर्माना या शुल्क, उपकर, अधिभार शामिल है।
चालू वित्त वर्ष में 9 अक्टूबर तक भारत का सालाना आधार पर डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन 21.82 प्रतिशत बढ़कर 9.57 लाख करोड़ रुपये हो गया। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने इसके आंकड़े जारी किए हैं।
5 सितंबर 2023 तक, एसेसमेंट ईयर (निर्धारण वर्ष) 2023-24 के लिए 6.98 करोड़ आईटीआर फाइल किए गए। इनमें 6.84 करोड़ का वेरिफिकेशन किया जा चुका है।
सीबीडीटी में चेयरमैन के अलावा छह सदस्य होते हैं। सभी सदस्य विशेष सचिव के स्तर के होते हैं।
वित्त वर्ष 2020-21 के लिए अब तक 2. 38 करोड़ से अधिक आयकर रिटर्न दाखिल किए जा चुके हैं। इसमें से 1. 68 करोड़ से अधिक आयकर रिटर्न (आईटीआर) संसाधित किए गए हैं,
केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने ऐसे वरिष्ठ नागरिकों के लिए नियमों और घोषणा फॉर्म को अधिसूचित कर दिया है। वरिष्ठ नागरिकों को यह फॉर्म बैंक में जमा कराना होगा, जो पेंशन और ब्याज आय पर कर काटकर उसे सरकार के पास जमा कराएंगे।
आयकर कानून नियम, 1962 में नियम 9डी जोड़ा गया है। इसमें स्पष्ट किया गया है कि पीएफ खातों में अलग से खाते बनाने होंगे। इसमें भविष्य निधि में कर योग्य और गैर-कर योग्य योगदान और उस पर मिलने वाले ब्याज को अलग-अलग दिखाना होगा।
25 जून 2021 की नवीनतम अधिसूचना के अनुसार, रकम के भुगतान की अंतिम तारीख (बिना किसी अतिरिक्त रकम के) 31 अगस्त 2021 अधिसूचित की गई है।
केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने करदाताओं और अन्य हितधारकों द्वारा बताई गई कठिनाइयों को देखते हुए कर फॉर्मों की इलेक्ट्रॉनिक फाइलिंग के लिए नियत तारीखों को और बढ़ाने का फैसला किया है।
रियल एस्टेट और अपशिष्ट प्रबंधन में लगी हैदराबाद की एक कंपनी के परिसरों पर छापा मारने के बाद आयकर विभाग ने 300 करोड़ रुपये की बिना हिसाब की आय का पता लगाया।
सीबीडीटी ने कहा कि नए ई-फाइलिंग पोर्टल पर डॉक्यूमेंट आइडेंटिफिकेशन नंबर उत्पन्न करने के उद्देश्य के लिए इन फॉर्म को अपलोड करने की सुविधा बाद में उपलब्ध कराई जाएगी।
कंपनियों द्वारा टीडीएस काटने संबंधित धारा 194 क्यू को 2021-22 के बजट में पेश किया गया था। यह प्रावधान एक जुलाई, 2021 से लागू हुआ है।
आयकर विभाग ने गुरुवार को बताया कि उसने छत्तीसगढ़ के राजधानी शहर रायपुर में हाल ही में छापेमारी के बाद करीब 100 करोड़ रुपये के एक कथित हवाला रैकेट का भंडाफोड़ किया है।
यदि अगले दो हफ्तों में कोविड की स्थिति में सुधार नहीं हुआ तो सरकार को इन समयसीमाओं को आगे और बढ़ाना होगा।
सीबीडीटी ने कहा कहा कि पिछले साल की तुलना में इस साल आईटीआर फॉर्म्स फाइल करने के तरीके में भी कोई विशेष बदलाव नहीं किया गया है।
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