सूत्रों के मुताबिक, 2020-21 में बैंक अपने गैर प्रमुख कारोबार की बिक्री कर भी धन जुटा सकते हैं। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण मोदी 2.0 सरकार का आम बजट एक फरवरी को पेश कर सकती हैं।
वित्त मंत्री ने यह भी कहा कि एक जनवरी 2020 से भुगतान के कुछ चुनिंदा तरीकों में मर्चेंट डिस्काउंट रेट (एमडीआर) शुल्क लागू नहीं होगा।
संयुक्त राष्ट्र महासभा ने शुक्रवार को 2020 के लिए 3.07 अरब अमेरिकी डॉलर का अपना परिचालन बजट निर्धारित किया है।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण सरकारी बैंकों के वित्तीय प्रदर्शन तथा उनके कारोबार की वृद्धि की समीक्षा करने के लिये इन बैंकों के प्रबंध निदेशकों और मुख्य कार्यकारी अधिकारियों (सीईओ) के साथ शनिवार (28 दिसंबर 2019) को बैठक करेंगी।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण सोमवार से विभिन्न पक्षों के साथ के साथ बजट पूर्व बैठकों का सिलसिला शुरू करने जा रही हैं।
नए साल पर कुछ ऐसा कीजिए ताकि आप पैसा बचाना सीख सकें और आपका बैंक बैलेंस भी मजबूत हो जाए। बजट तो आप ही बनाएंगे, कैसे बनाना है यहां जानिए।
ऐसे समय जब मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल के दूसरे आम बजट की तैयारी का काम जोर पकड़ चुका है, वित्त मंत्रालय की बजट टीम में दो महत्वपूर्ण अधिकारियों की कमी बनी हुई है।
केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा है कि बीते बजट के दौरान सरकार द्वारा घोषित की गई तीन सरकारी सामान्य बीमा कंपनियों के विलय की दिशा में सरकार आगे बढ़ रही है।
आर्थिक सुस्ती और राजस्व प्राप्ति कम रहने की आशंकाओं के बीच वित्त मंत्रालय का कहना है कि कल्याणकारी योजनाओं के लिये आवंटित बजट में कमी नहीं होने दी जायेगी और उसने विभिन्न मंत्रालयों और विभागों से खर्च में तेजी लाने को कहा है।
11 नवंबर को जारी इस सर्कुलर में उद्योग और व्यापार संघों से शुल्क ढांचे, दरों में बदलाव और प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष करों के लिए कर दायरा बढ़ाने के बारे में सुझाव आमंत्रित किए गए हैं।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कंपनी अधिनियम में संशोधन किया जा रहा है ताकि यह दंडात्मक न लगे, सरकार बड़े सुधारों पर काम करती रहेगी।
वित्त मंत्रालय 2020-21 के सालाना बजट की तैयारी प्रक्रिया 14 अक्टूबर से शुरू करेगा। मंत्रालय को अन्य बातों के अलावा आर्थिक वृद्धि में नरमी और राजस्व संग्रह में कमी के महत्वपूर्ण मसलों का समाधान करना है।
राजस्थान में सरकारों द्वारा बजट भाषणों में जोर-शोर से की जाने वाली कई महत्वपूर्ण घोषणाएं जमीनी स्तर पर लागू नहीं हो पाई हैं।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को कहा कि वह इस बार बजट प्रस्तुत करने के दिन चमड़े के सूटकेस की जगह लाल रंग के कपड़े का बस्ता लेकर खास संदेश देने के लिए लेकर गयी थीं।
बजट 2019-20 के दस्तावेजों के अनुसार एक मार्च, 2017 तक विभिन्न सरकारी प्रतिष्ठानों में कर्मचारियों की संख्या 32,38,397 थी, जो एक मार्च, 2019 को बढ़कर 36,19,596 हो गई।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपना पहला बजट पेश करते हुये बजट दस्तावेज सूटकेस अथवा ब्रीफकेस में लाने के बजाय लाल कपड़े से बने बस्ते में लाकर सभी का ध्यान आकृष्ट किया। वित्त मंत्री ने खुलासा किया कि उनकी मामी ने उन्हें यह बस्ता बनाकर दिया।
यूएई के एनआरआई व्यवसायियों, पेशेवरों ने सर्वसम्मति से भारतीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के पहले बजट की सराहना करते हुए कहा कि यह सभी संदर्भों में बिल्कुल उपयुक्त है।
सरकारी खजाने में आने वाले प्रत्येक एक रुपये में 68 पैसे प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष करों से आयेगा जबकि खर्च के तौर पर करों और शुल्कों में राज्यों का हिस्से में सबसे ज्यादा 23 पैसे जायेंगे। बजट दस्तावेजों में यह बताया गया है।
Union Budget 2019-20: भारतीय युवाओं को अच्छी शिक्षा देने अपनी प्रतिबद्धता जाहिर करते हुए केंद्र सरकार ने देश में अधिक विश्व स्तरीय शैक्षिक संस्थान स्थापित करने पर ध्यान केंद्रित किया है।
मध्यम वर्ग को राहत देते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इस बजट में 45 लाख का घर खरीदने पर डेढ लाख की अतिरिक्त छूट देने की घोषणा की है। हाउसिंग लोन पर 3.5 लाख रुपए की छूट मिलेगी।
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