महाराष्ट्र के ठाणे जिले में एक आदिवासी महिला ने बुधवार को राष्ट्रीय वीरता पुरस्कार इसलिए लौटा दिया क्योंकि उसके परिवार को जन वितरण प्रणाली की दुकानों से राशन नहीं मिल रहा।
अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर यहां आयोजित एक समारोह में राष्ट्रीय वीरता पुरस्कार विजेता लड़की जेन सदावर्ते को शिवसेना के कार्यकर्ताओं ने मंच से बाहर कर दिया, जबकि वह आमंत्रित अतिथियों में से एक थी।
इस साल राष्ट्रीय वीरता पुरस्कार के लिए जो बच्चे चुने गए हैं उनमें जम्मू कश्मीर के दो किशोर भी शामिल हैं। इन्हीं में कर्नाटक का एक ऐसा लड़का भी शामिल है जिसने राज्य में बाढ़ के दौरान एक एंबुलेंस को रास्ता दिखाया था।
कर्नाटक के रायचूर जिले में हीरेरायनकुंपी गांव के वेंकटेश ने एक ऐम्बुलेंस को उस समय रास्ता दिखाया, जब पुल पूरी तरह पानी में डूब चुका था।
स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर हर साल दिये जाने वाले वीरता पुरस्कारों से सम्मानित जवानों में इस साल दिल्ली पुलिस के 21 जवान शामिल हैं।
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