दिल्ली पुलिस ने केंद्र के तीन कृषि कानूनों के विरोध में 27 सितंबर को किसान यूनियन द्वारा आहूत 'भारत बंद' से पहले राष्ट्रीय राजधानी के सीमावर्ती इलाकों में गश्त बढ़ा दी है और अतिरिक्त कर्मियों को तैनात किया है। अधिकारियों ने रविवार को यह जानकारी दी। किसानों के आंदोलन की अगुवाई कर रहे 40 से अधिक कृषि यूनियन के निकाय संयुक्त किसान मोर्चा ने इससे पहले लोगों से बंद में शामिल होने की अपील की थी।
संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) के नेतृत्व में तीन कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन करने वाले किसानों द्वारा सोमवार को आहूत 10 घंटे के राष्ट्रव्यापी बंद को कई गैर-राजग दलों ने समर्थन दिया है। एसकेएम ने रविवार को बंद के दौरान पूर्ण शांति की अपील की और सभी भारतीयों से हड़ताल में शामिल होने का आग्रह किया।
उन्होंने कहा कि तीन कृषि कानूनों को निरस्त करने, सभी फसलों के एमएसपी के लिए कानूनी गारंटी, बिजली विधेयक, 2021 को निरस्त करने और 'एनसीआर और आस-पास के क्षेत्रों में एक्यू प्रबंधन आयोग विधेयक 2021' के तहत किसानों पर मुकदमा नहीं चलाने की उनकी मांगों पर भी सम्मेलन के दौरान चर्चा की गई।
भारतीय रेल ने शुक्रवार को कहा कि केन्द्र के नए कृषि कानूनों के खिलाफ किसान संगठनों द्वारा आहूत भारत बंद का पंजाब और हरियाणा में कुछ जगहों को छोड़कर देशभर में ट्रेन सेवा पर लगभग शून्य असर रहा है।
तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ किसान संगठनों द्वारा आज बुलाए गए भारत बंद का असर रेल सेवाओं पर भी पड़ा है। देशव्यापी बंद और प्रदर्शन की वजह से सड़कों पर कई जगह यातायात बाधित हुआ है तो वहीं दूसरी ओर कई ट्रेनें भी हड़ताल की वजह से कैंसिल हो गई हैं। पंजाब, हरियाणा, अंबाला की ओर से आने वाली ट्रेनों पर इसका खासा असर पड़ा है।
तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ किसान संगठनों द्वारा आज बुलाए गए भारत बंद का असर रेल सेवाओं पर भी पड़ा है। देशव्यापी बंद और प्रदर्शन की वजह से सड़कों पर कई जगह यातायात बाधित हुआ है तो वहीं दूसरी ओर कई ट्रेनें भी हड़ताल की वजह से कैंसिल हो गई हैं।
पार्टी और ट्रेड यूनियनों से ऊपर उठकर शुक्रवार को किसानों द्वारा किए जा रहे 12 घंटे लंबे राज्यव्यापी विरोध प्रदर्शन को पंजाब और हरियाणा में अच्छी खासी प्रतिक्रिया मिली है।
तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ कुछ किसान संगठनों ने आज शुक्रवार यानी 26 मार्च को भारत बंद बुलाया है। इस दौरान रेल और सड़क परिवहन सेवाएं प्रभावित होने की संभावना है। इसके अलावा देश के कुछ हिस्सों में शुक्रवार को बाजार बंद रह सकते हैं और कुछ जगहों पर आवाजाही प्रभावित हो सकती है।
तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ कुछ किसान संगठनों ने आज शुक्रवार यानी 26 मार्च को भारत बंद बुलाया है। इस दौरान रेल और सड़क परिवहन सेवाएं प्रभावित होने की संभावना है।
कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन कर रहे किसान संगठनों ने 26 मार्च (शुक्रवार) को 'भारत बंद' का अह्वान किया है। संयुक्त किसान मोर्चा के मुताबिक, किसान आंदोलन के 4 महीने (120 दिन) पूरे होने पर 'भारत बंद' किया जा रहा है।
"भारत बंद" का मध्यप्रदेश की वाणिज्यिक राजधानी कहे जाने वाले इंदौर में कुछ भी असर नजर नहीं आया
देश भर में पेट्रोल डीजल की महंगाई और वस्तु एवं सेवा कर यानि जीएसटी के प्रावधानों का विरोध कर रहे कारोबारियों ने शुक्रवार को ‘भारत बंद’ (Bharat Bandh) का आयोजन किया है।
माल एवं सेवा कर (जीएसटी) तथा ई-कॉमर्स के मुद्दे पर शुक्रवार के ‘भारत व्यापार बंद’ को लेकर व्यापारी संगठन बंटे दिखाई दे रहे हैं। व्यापारियों के संगठन कनफेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने राष्ट्रव्यापी बंद का आह्वान किया है।
AITWA और CAIT जीएसटी को सरल बनाने और नए ई-वे बिल को पूरी तरह से खत्म करने या इसके कुछ नियमों में संशोधन की मांग को लेकर शुक्रवार को भारत बंद कर रहे हैं।
कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (CAITIndia) ने वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी/GST) में आने वाली जटिलताओं को लेकर आगामी 26 फरवरी (शुक्रवार) को 'भारत व्यापार बंद' (Bharat Band) की घोषणा की है।
80 साल के सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने गुरुवार को कृषि कानूनों के विरोध में जारी किसान आंदोलन के समर्थन में केंद्र सरकार को चेतावनी दी है।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कृषि कानूनों पर गतिरोध को समाप्त करने के लिए सरकार के छठे दौर की बातचीत से एक दिन पहले मंगलवार को किसानों को बातचीत के लिए बुलाया।
कृषि कानून के विरोध में किसानों द्वारा किए जा रहे आंदोलन के समर्थन में मंगलवार को किए गए भारत बंद का जिलेभर में मिला-जुला असर रहा। कई क्षेत्रों में रोजमर्रा की तरह बाजार खुले तो कई क्षेत्रों में कुछ घंटे बाजार बंद रखे गए।
नए कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग को लेकर किसान संगठनों के ‘भारत बंद’ का ज्यादा असर देखने को नही मिला। भारत बंद को 22 विपक्षी दलों ने अपना समर्थन दिया था।
किसानों के भारत बंद का देश के विभिन्न हिस्सों में अलग-अलग असर पड़ा है। कहीं यातायात बाधित हुई तो कहीं प्रदर्शनकारियों और पुलिस के बीच छोटी-छोटी झड़पें भी हुईं।
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