देश की राजधानी दिल्ली प्रदूषण के कारण पूरी तरह गैस चैंबर में तब्दील हो चुकी है। बीते कई दिनों से दिल्ली की आबो हवा में सांस लेना एक बार फिर दूभर हो गया है। गुरुवार को भी क्षेत्र में AQI का लेवल एक बार फिर से गंभीर कैटेगरी में जा पहुंचा है।
लंबे समय तक हानिकारक प्रदूषण के संपर्क में रहने से फेफड़े डैमेज होने लगते है। जिस वजह से हमारा शरीर अस्थमा, क्रॉनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिजीज और लंग कैंसर जैसी बीमारियों की चपेट में आ सकता है। ऐसे में इन योगसन को अपनी लाइफ में शामिल कर खुद को हेल्दी रखें।
दिवाली के बीतते ही दिल्ली प्रदूषण के मामले में दुनिया में पहले नंबर पर आ गया है। अब सोशल मीडिया पर इससे जुड़ा एक गाना वायरल हो रहा है, जिसे लोग काफी रिलेट कर पा रहे हैं।
ये सोचकर भी अजीब लगता है कि दिल्ली का प्रदूषण सियासी टकराव का मसला बन गया है। दिल्ली में रहने वाले दो करोड़ लोग ज़हरीली हवा में सांस लेने को मजबूर हैं और दिल्ली की सरकार के मंत्री इसका हल निकालने की बजाय ये बताने में लगे हैं कि दिवाली की रात पटाखे बीजेपी वालों ने चलाए।
दिल्ली में AQI का लेवल एक बार फिर चढ़ना शुरू हो गया है। सोमवार के बाद आज भी दिल्ली जहरीले घने कोहरे से ढ़की नजर आ रही है। धुंध इतनी ज़्यादा है कि कुछ सौ मीटर के बाद ही विजिबिलिटी खत्म हो रही है।
Delhi Air Pollution: दिवाली के बाद दिल्ली में हवा की कॉलिटी फिर से खराब हो गई है। दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति के एक रिपोर्ट के मुताबिक, पिछले साल की तुलना में PM 2.5 कणों का लेवल 45 प्रतिशत और PM10 कणों का स्तर 33 प्रतिशत बढ़ा है।
हाल ही में हुए एक सर्वे से पता चला है कि बढ़ते प्रदूषण से टाइप 2 डायबिटीज का खतरा बढ़ रहा है। इस स्टडी में पाया गया कि वायु प्रदूषण डायबिटीज की वजह बन सकता है।
दिल्ली में पराली और अन्य वजहों से वैसे ही हवा में जहर घुला हुआ था, दिवाली के दिन हुई आतिशबाजी ने हवा को और जहरीला बना दिया। आइए, जानते हैं दिल्ली में प्रदूषण के मुद्दे पर जनता की राय।
बिहार के कई शहरों में वायु गुणवत्ता 'बहुत खराब' श्रेणी में दर्ज किया गया। देश के 243 शहरों में बिहार का बेगुसराय 382 AQI के साथ पहले स्थान पर रहा।
दिल्ली में वायु प्रदूषण के स्तर में कमी आई है। लेकिन आशंका जताई जा रही है कि दिवाली के बाद प्रदूषण का स्तर बढ़ सकता है। इस बीच दिल्ली सरकार के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने जनता से पटाखे न फोड़ने व दीये जलाने की मांग की है।
अस्थमा के मरीज कुछ आसान उपायों की मदद से दीवाली-पराली के धुएं से अपना बचाव कर सकते हैं। जानिए इसके बारे में।
दिल्ली में वायु प्रदूषण का स्तर गिर गया है। शुक्रवार को हुई बारिश ने दिल्ली की हवा को साफ कर दिया। हालांकि आशंका है कि दिवाली के बाद एक्यूआई में फिर वृद्धि होगी और लोगों का सांस लेना मुश्किल हो सकता है। बता दें कि एक्यूआई वर्तमान में 200-300 के बीच बना हुआ है।
World Pneumonia Day 2023: दिवाली आने के साथ दिल्ली की हवा और जहरीली होती जा रही है। ऐसे में निमोनिया का खतरा सबसे ज्यादा है। लेकिन, क्यों और क्या इससे कोई बचाव है। जानते हैं डॉक्टर से इसका कारण और फिर जानेंगे निमोनिया से बचने के उपाय।
दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने यूपी के परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह को एक पत्र लिखा है। गोपाल राय ने यह पत्र वायु प्रदूषण के मद्देनजर यूपी सरकार के मंत्री को लिखी है। इस खत में यूपी से आने वाले कुछ वाहनों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई है।
दिल्ली में वायु प्रदूषण का स्तर एक बार फिर बढ़ने लगा है। यहां आईटीओ पर वायु गुणवत्ता सूचकांक 200 से अधिक दर्ज किया है। बता दें कि बीते कल बारिश के कारण एक्यूआई लेवल में गिरावट आई थी। लेकिन एक बार फिर यह बढ़ने लगा है।
दिल्ली में बारिश के कारण एक्यूआई के स्तर में गिरावट देखने को मिली है। अधिकांश स्थानों पर एक्यूआई का लेवल 100 से कम हो गया है। इस बीच दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा है कि ऑड-ईवन के कार्यान्वयन पर की गई स्टडी को सुप्रीम कोर्ट के सामने रखने जा रहे हैं।
दिल्ली-एनसीआर में आधी रात के बाद झमाझम बारिश देखने को मिली। इस कारण दिल्ली के एक्यूआई लेवल में गिरावट दर्ज की गई है। इस दौरान एक्यूआईर गंभीर श्रेणी से गिरकर बहुत खराब की कैटेगरी में आ गया है। दिल्ली-एनसीआर में लोगों को इससे राहत मिलेगी।
सबसे ज्यादा एक्यूआई के मामले में ग्रेटर नोएडा पहले, हरियाणा का कैथल दूसरे और देश की राजधानी दिल्ली तीसरे नंबर पर है। मांग उठ रही है कि पॉल्यूशन से प्रभावित गाजियाबाद-नोएडा में भी कृत्रिम बारिश कराई जाए।
महाराष्ट्र की राजधानी में बारिश के बाद भी लोगों को राहत नहीं मिल रही है। मामले को गंभीर होता देख सूबे के मुख्यमंत्री ने आज पॉल्यूशन कंट्रोल की मीटिंग बुलाई है।
दिल्ली में वायु प्रदूषण की गंभीर स्थिति को देखते हुए सरकार कृत्रिम बारिश करवाने के विकल्प पर विचार कर रही है लेकिन यह काम इतना आसान भी नहीं है।
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