Asaduddin Owaisi: असदुद्दीन ओवैसी ने भी अपनी पार्टी के गुजरात विधानसभा चुनाव में लड़ने का ऐलान किया है।
ओवैसी पर गोलियां पूरी प्लानिंग के साथ चलाईं गईं। उन पर हमला करने वाले घात लगाकर बैठे थे।
AIMIM के प्रमुख एवं लोकसभा सदस्य असदुद्दीन ओवैसी की कार पर गोलीबारी के मामले में गिरफ्तार दोनों आरोपी पिछले कई दिनों से ओवैसी का पीछा कर रहे थे और उनकी सभाओं में मौजूद रहते थे।
ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन पार्टी ने अपनी पहली लिस्ट जारी कर दी है। इस लिस्ट में नौ नेताओं के नाम शामिल हैं जो यूपी के अलग-अलग विधानसभा क्षेत्रों से चुनाव लड़ने जा रहे हैं।
असदुद्दीन ओवैसी ने बताया कि उनकी पार्टी एक-दो और पार्टियों के साथ बात कर रही है और समय आने पर ये बताया जाएगा कि वो किसी के साथ गठबंधन करके चुनाव लड़ेंगे या फिर अकेले ही। ओवैसी ने दावा किया कि वो चुनाव जीतने की स्थिति में हैं।
असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि हमारा मुकाम एक बैंड बाजे की पार्टी की तरह होकर रह गया है। जब इलेक्शन आता है तो हमसे कहते हैं कि बैंड बजाओ, सेकुलरिज्म को बचाओ, जब इलेक्शन आता है तो मुसलमानों से कहा जाता है कि पुंगी बजाओ और सेकुलरिज्म को बचाओ।
उत्तर प्रदेश की आबादी में अपेक्षाकृत कम हिस्सेदारी रखने वाली जाटव, यादव, राजभर और निषाद समेत विभिन्न जातियों का कमोबेश अपना-अपना नेतृत्व है, मगर जनसंख्या में 19 प्रतिशत से ज्यादा भागीदारी रखने वाले मुसलमानों का कोई सर्वमान्य नेतृत्व नजर नहीं आता।
शनिवार को ओवैसी ने प्रयागराज में जनसभा को संबोधित किया। उनकी इस जनसभा में उमड़ी भीड़ को देखकर जहां AIMIM उत्साहित है, वहीं यूपी की सत्ता में वापसी की राह देख रहीं सपा और बसपा की टेंशन बढ़ गई है।
AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने दावा किया है कि पिछले दरवाजे से राष्ट्रीय नागरिकता रजिस्टर (NRC) को लागू करने का प्रयास किया गया था। क्या वह जानबूझकर मुसलमानों में डर की भावना पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं? मुक़ाबला शो पर बहस देखें।
ओवैसी ने साफ किया कि इसका मतलब है कि यादवों ने सपा के मुस्लिम उम्मीदवार को वोट नहीं दिया। उन्होंने कहा कि पूरी दुनिया ने देखा कि छह दिसंबर 1992 को अयोध्या में क्या हुआ था लेकिन आज धर्मनिरपेक्ष दल इसका उल्लेख करने से डरते हैं, उन्हें डर है कि वे वोट खो देंगे।
ओवैसी ने कहा कि हम चुनाव लड़ेंगे और जीतेंगे, उत्तर प्रदेश के मुस्लिम चुनाव जीतेंगे। उन्होंने कहा कि हमारा लक्ष्य यूपी में भाजपा को हराया है।
तपस्वी मंदिर के महंत परमहंस दास ने इसे ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) का "हिंदुत्व विरोधी" कदम बताया। उन्होंने कहा कि अगर फैजाबाद नाम वाले पोस्टर नहीं हटाए गए तो पार्टी को जिले में जनसभा नहीं करने दी जाएगी।
ओवैसी देश भर में अपनी पार्टी का विस्तार करने के प्रयास कर रहे हैं और उन्हें महाराष्ट्र और बिहार में उचित सफलता मिली है। हालांकि, पार्टी पश्चिम बंगाल में बढ़त नहीं बना सकी।
इस कानून से मुस्लिम महिलाओं का और अधिक शोषण होगा और उनकी समस्याओं में इजाफा होगा। केवल मामले दर्ज किए जाएंगे और कोई न्याय नहीं दिया जाएगा। AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी का कहना है कि मुसलमानों ने इसे जमीन पर स्वीकार नहीं किया है |
आवेदन पत्र के साथ जो शपथ पत्र भरना है, उसके चौथे बिंदू में कहा गया है, "मैं इस बात का विश्वास दिलाता हूं और वायदा करता हूं कि टिकट न मिलने की सूरत में भी पार्टी की सेवा करता रहूंगा/करती रहूंगी।"
भारत में कोरोना की दूसरी लहर के बेकाबू हो जाने पर ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) प्रमुख और हैदराबाद से सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने मोदी सरकार पर जमकर निशाना साधा है।
AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने यूपी में मुठभेड़ों को लेकर योगी सरकार पर निशाना साधा | एक रैली को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में 6475 मुठभेड़ हुई हैं और उन 37% में मुसलमानों की हत्या शामिल है। AIMIM प्रमुख ने कहा कि यूपी में डर का शासन है और इसे रोका जाना चाहिए।
ओवैसी ने कहा कि चार साल से बीजेपी की सरकार है और यूपी रियासत के चीफ मिनिस्टर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कोई कसर बाकी नहीं रखी की भारत के संविधान की धज्जियां उड़ाई जाएं।
जहां जमीर और मोहतेसिन को गोलियां लगी हैं, वहीं मन्नान को चाकू के घाव लगे हैं। चूंकि जमीर की हालत सबसे ज्यादा गंभीर थी, तो उसे उपचार के लिए हैदराबाद में ले जाया गया।
राजनीतिक विशेषज्ञों की मानें तो ओवैसी के यूपी में चुनाव लड़ने से सपा के लिए मुश्किलें खड़ी हो सकती हैं। क्योंकि यहां पर सपा को हर पार्टियों की अपेक्षा मुस्लिम मतदाताओं का करीब 50 से 60 प्रतिशत वोट मिलता रहा है। ऐसे में ओवैसी जातीय समीकरण के साथ मुस्लिम वोट बैंक में सेंधमारी कर सकते हैं।
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