नई दिल्ली: भारत को दुनिया की सबसे तेज़ गति से बढ़ता मोबाइल बाज़ार बताया जाता है। मोबाइल हैंडसेट्स की बिक्री और मोबाइल सेवाओं का इस्तेमाल करने के मामले में सिर्फ चीन हमसे आगे है। लेकिन सरकार ने एक आश्चर्यजनक जानकारी दी है कि अभी भी भारत के 55,669 गांवों में मोबाइल टेलीफोन सेवाएं नहीं उपलब्ध नहीं हैं।
शहरी क्षेत्रों के लोगों के पास एक से ज़्यादा मोबाइल कनेक्शन्स
लोकसभा में कुछ सदस्यों के पूरक प्रश्नों के उत्तर में संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कल बताया था कि अभी ग्रामीण दूरसंचार सेवाओं का घनत्व 49.79 प्रतिशत और शहरी दूरसंचार घनत्व 152.36 प्रतिशत है।
भारत के करीब 10 फीसदी गांवों में मोबाइल सेवाएं नहीं
प्रसाद ने कहा, देश के 5,97,608 आबादी वाले गांवों में से 5,41,939 गांवों में मोबाइल दूरसंचार सेवाएं हैं और 55,669 गांवों में अभी भी मोबाइल दूरसंचार सेवा नहीं है। प्रसाद ने कहा कि इस प्रकार से 9.31 प्रतिशत गांव बिना मोबाइल दूरसंचार सेवाओं के हैं।
2020 तक सबको मोबाइल सेवाएं उपलब्ध कराने का लक्ष्य
मंत्री ने कहा कि सरकार ने ग्रामीण और शहरी क्षे़त्र में दूरसंचार घनत्व के अंतर कम करने के लिए कार्य तेजी से आगे बढ़ाया है। राष्ट्रीय दूरसंचार नीति में 2017 तक ग्रामीण दूरसंचार घनत्व को 70 प्रतिशत और 2020 तक इसे 100 प्रतिशत करने का लक्ष्य रखा गया है।