Indian Hockey Team: भारत के अनुभवी गोलकीपर और हॉकी टीम के पूर्व कप्तान पीआर श्रीजेश ने कहा है कि पेरिस ओलंपिक उनका आखिरी इंटरनेशनल टूर्नामेंट होगा। भारतीय हॉकी टीम ने टोक्यो ओलंपिक में ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया था। तब श्रीजेश ने मेडल दिलाने में अहम भूमिका निभाई थी। भारत ने 41 साल बाद पदक के सूखे को खत्म किया था। इस बार हरमनप्रीत सिंह की अगुवाई वाली हॉकी टीम से मेडल की आस है।
पेरिस ओलंपिक में पदक का रंग बदलना चाहते हैं पीआर श्रीजेश
स्टार गोलकीपर पीआर श्रीजेश ने हॉकी इंडिया से जारी विज्ञप्ति में कहा कि मैं पेरिस में अपने आखिरी टूर्नामेंट की तैयारी कर रहा हूं। मुझे अपने करियर पर बहुत गर्व है और उम्मीद के साथ आगे बढ़ रहा हूं। मेरा अब तक का सफर अच्छा रहा है और मैं अपने परिवार, टीम के साथियों, सभी कोच, फैंस और हॉकी इंडिया के प्यार और समर्थन के लिए हमेशा आभारी हूं। मुझ पर विश्वास करने के लिए धन्यवाद। मेरे टीम के साथी मुश्किल समय में मेरे साथ खड़े रहे हैं। हम सभी यहां पेरिस में अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करना चाहते हैं। निश्चित रूप से अपने पदक का रंग बदलना चाहते है।
हॉकी इंडिया ने श्रीजेश को दी बधाई
पीआर श्रीजेश ने अभी तक कुल 328 मैच खेले हैं। हॉकी इंडिया ने पीआर श्रीजेश को उनके शानदार करियर के लिए बधाई दी। हॉकी इंडिया ने नेशनल टीम के लिए ‘विन इट फॉर श्रीजेश’ का अभियान शुरू किया है जो खिलाड़ियों को फिर से पोडियम पर खड़े होने के लिए प्रेरित करेगा। श्रीजेश ने भारतीय टीम के लिए 2010 में डेब्यू किया था। वह 2014 एशियाई खेलों में स्वर्ण पदक और 2018 एशियाई खेलों में कांस्य पदक जीतने वाले भारतीय टीम के सदस्य रहे है। वह 2018 में एशियाई चैंपियंस ट्रॉफी की संयुक्त विजेता टीम , भुवनेश्वर में 2019 एफआईएच पुरुष सीरीज फाइनल की स्वर्ण पदक विजेता टीम और बर्मिंघम 2022 राष्ट्रमंडल खेलों में रजत पदक विजेता टीम के सदस्य रह चुके है।
श्रीजेश को मिल चुका है मेजर ध्यानचंद खेल रत्न अवॉर्ड
पीआर श्रीजेश ने एफआईएच हॉकी प्रो लीग 2021-22 में भारत को तीसरे स्थान पर पहुंचाने में अहम भूमिका निभाई। श्रीजेश को 2021 में मेजर ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार से सम्मानित किया गया था और वह ‘वर्ल्ड गेम्स एथलीट ऑफ द ईयर ’ 2021 का पुरस्कार जीतने वाले भारत के केवल दूसरे खिलाड़ी हैं। उन्होंने 2021 और 2022 में में लगातार दो बार एफआईएच ‘गोलकीपर ऑफ द ईयर ’ का पुरस्कार जीता।
हॉकी इंडिया के अध्यक्ष डॉ. दिलीप तिर्की ने श्रीजेश को उनके शानदार करियर के लिए बधाई देते हुए कहा कि श्रीजेश मुश्किल से 18 या 19 साल के थे जब मैंने उन्हें पहली बार भारतीय शिविर में देखा था और अगर मुझे सही याद है , तो जब मैं कप्तानी कर रहा था तब उन्होंने इंटरनेशनल हॉकी में डेब्यू किया था। वह एक बहुत ही विशेष खिलाड़ी हैं और भारतीय हॉकी में उनके अनुकरणीय योगदान के लिए मेरा दिल खुशी से भर गया है।
(Input: PTI)
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