नयी दिल्ली: भारतीय कुश्ती महासंघ (WFI) ने आज कहा कि घुटने की चोट के कारण लास वेगास में चल रही विश्व कुश्ती चैंपियनशिप से हटने वाले आधे फिट योगेश्वर दत्त ने महासंघ को अमेरिका रवाना होने से पहले पूरी तरह फिट होने का आश्वासन दिया था।
चैंपियनशिप के चिकित्सकों ने योगेश्वर को शत प्रतिशत फिट नहीं पाया और इसके बाद उन्हें पुरूषों के 65 किग्रा से हटने की सलाह दी गयी। डब्ल्यूएफआई ऐसा कोई जोखिम नहीं लेना चाहता है जिससे उनकी चोट बढ़े।
डब्ल्यूएफआई के एक शीर्ष अधिकारी ने कहा, उसे गंभीर चोट नहीं थी। यह मामूली चोट है लेकिन ऐहतियात के तौर पर उसे विश्व चैंपियनशिप में भाग नहीं लेने की सलाह दी गयी है। उसकी चोट बढ़नी नहीं चाहिए। ओलंपिक से पहले अभी चार और क्वालिफिकेशन टूर्नामेंट हैं इसलिए जोखिम लेना समझदारी भरा कदम नहीं होता।
लंदन ओलंपिक के कांस्य पदक विजेता को कुछ समय पहले घुटने में चोट लगी थी लेकिन उन्होंने जरूरी उपचार कराने और विश्व चैंपियनशिप में भाग लेने के लिये पूरी तरह से फिट होने का दावा किया था।
उन्हें पूर्ण विश्राम और घुटने का एक और आपरेशन करवाने के लिये कहा गया था।
अधिकारी से पूछा गया कि जब योगेश्वर शत प्रतिशत फिट नहीं थे तो उन्हें अमेरिका क्यों भेजा गया, उन्होंने कहा कि इस 32 वर्षीय पहलवान ने महासंघ को आश्वासन दिया था कि वह अच्छी स्थिति में है और टूर्नामेंट में भाग लेने में उन्हें कोई परेशानी नहीं होगी।
अधिकारी ने कहा, अमेरिका रवाना होने से पहले वह घुटने की अपनी चोट से उबर गया था और 90 प्रतिशत से भी अधिक फिट था। दस सितंबर को होने वाले मुकाबले से पहले उसके पूरी तरह फिट होने की संभावना थी। लेकिन यदि वह इसमें हिस्सा लेता तो उसके घुटने को और नुकसान पहुंचने की संभावना थी इसलिए उसे टूर्नामेंट से हटाने का फैसला किया गया।
उन्होंने इसके साथ ही कहा कि डब्ल्यूएफआई अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह चाहते थे कि योगेश्वर के हटने पर 65 किग्रा में किसी और पहलवान को चुना जाए लेकिन अब समय पर्याप्त नहीं है। अमेरिकी दूतावास ने दूसरे पहलवान के वीसा साक्षात्कार के लिये कोई तिथि तय नहीं की है।
अधिकारी ने कहा, योगेश्वर के स्थान पर अमित धनकड़ 65 किग्रा में भारत का प्रतिनिधित्व कर सकता था लेकिन दूतावास ने पहलवान को वीसा साक्षात्कार के लिये कोइ तिथि नहीं दी है क्योंकि अब समय काफी कम है।
पता चला है कि धनकड़ ने इससे पहले शिकायत की थी योगेश्वर पूरी तरह फिट नहीं हैं।
इस बीच डब्ल्यूएफआई के एक अधिकारी ने कहा कि यह चिंता की बात नहीं है क्योंकि पिछले ओलंपिक में भी भारतीय पहलवानों ंने विश्व चैंपियनशिप से नहीं बल्कि बाद की प्रतियोगिताओं से क्वालीफाई किया था।
उन्होंने कहा, योगेश्वर को पहले चोट से उबरने पर ध्यान देना चाहिए। उसे ओलंपिक के लिये क्वालीफाई करने को कई टूर्नामेंट में मिलेंगे। पिछले कुछ ओलंपिक में भी हमारे पहलवान पहले क्वालीफिकेशन से नहीं बल्कि बाद की प्रतियोगिताओं से कोटा हासिल करते रहे हैं। हमारे पास क्वालीफाई करने के लिये पर्याप्त समय है।
भारत के फ्रीस्टाइल के मुख्य कोच कुलदीप मलिक को हालांकि आशा है कि योगेश्वर गुरूवार को होने वाले मुकाबले से पहले फिट हो जाएंगे।
मलिक ने पीटीआई से कहा, हम अब भी योगेश्वर को दस सितंबर को होने वाले उसके मुकाबले से पहले फिट करने की कोशिश में जुटे हैं। इन रिपोर्टों में सच्चाई नहीं है कि उन्हें मुकाबले में नहीं उतरने की सलाह दी गयी है।
उन्होंने कहा, अब तक वजन भी नहीं किये गये हैं। यहां तक कि चिकित्सा परीक्षण भी कल या परसों होगा और उसके बाद ही हमें स्पष्ट स्थिति का पता चलेगा।